मृतक भाई की अस्थियां देख, बही अश्रुधारा भाई की बोले- शुक्रगुजार हूँ समाजसेवियों का!

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मृतक भाई की अस्थियां देख, बही अश्रुधारा भाई की बोले- शुक्रगुजार हूँ समाजसेवियों का!

जानिए क्या है मामला?

Ratlam : शहर के दोबत्ती क्षेत्र में सड़क पर अस्वस्थ अवस्था और लावारिस हालत में पड़े 1 व्यक्ति को देखकर शहर के समाजसेवी स्वदेश शर्मा ने उनसे पूछताछ की जो अस्वस्थता की वजह से बोल नहीं पा रहे थे। मीडियाकर्मी तथा समाजसेवी स्वदेश शर्मा ने गोविन्द काकानी के सहयोग से वृद्ध को 108 के माध्यम से जिला चिकित्सालय के आइसोलेशन वार्ड में पहुंचाते हुए भर्ती कराया था। यह वाक्या 20 अप्रैल का था और अंततः उपाध्याय ने 21 अप्रैल की सुबह उपचार के दौरान जिला चिकित्सालय में दम तोड़ दिया था।

इसके बाद समाजसेवी गोविन्द काकानी ने मीडिया, सोशल मीडिया के सभी प्लेटफार्म पर मृतक के बारे में जानकारी प्रेषित की थी और इन माध्यमों से उन्हें सफलता हाथ लगी और महाराष्ट्र के अमरावती निवासी मृतक के काका जगदीश उपाध्याय ने गोविन्द काकानी को मोबाइल लगाकर बताया कि, मैं सत्यनारायण उपाध्याय को पहचानता हूँ। जिनका भाई रतलाम के सिखवाल नगर क्षेत्र में रहता है। उन्होंने मृतक के भाई शरद उपाध्याय के मोबाइल नंबर दिए तब गोविन्द काकानी ने शरद को मोबाइल लगाकर बताया कि हम लोगों ने सत्यनारायण उपाध्याय को जिला चिकित्सालय में भर्ती कराया था जहां उपचार के दौरान उन्होंने दम तोड़ दिया था। तब हमने उनका अंतिम संस्कार कर दिया है।

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इस पर मृतक के भाई शरद उपाध्याय ने बताया कि मेरे भाई सत्यनारायण का उपचार बहुत लंबे समय से चल रहा था, थोड़े दिन पहले उसे रतलाम मेडिकल कॉलेज से तबियत बिगड़ने पर इंदौर उपचार के लिए रेफर किया गया था जहां उसे शरीर के सभी अंग खराब होने की वजह से घर पर ही सेवा करने का बोलकर वापस रतलाम भेज दिया था और वह रतलाम के घर से 16 अप्रैल को बिना कुछ बोले निकल गया था।

इस मामले में समाजसेवी गोविन्द काकानी ने मीडियावाला के रमेश सोनी से दूरभाष पर चर्चा करते हुए बताया कि, मैं एक समाजसेवी के अंतिम संस्कार में शहर के जवाहर नगर मुक्तिधाम से वापस बाहर निकल रहा था कि अकस्मात मुझे 1 पुलिसकर्मी द्वारा 1 लावारिस लाश को सहयोगियों के माध्यम से मुक्तिधाम में लेकर जाते दिखाई देने पर मैंने पुलिसकर्मी से पूछा तो उन्होंने कहा कि यह लावारिस है और हम इन्हें जमीन में गाड़ रहे हैं।

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इस पर मैंने उन्हें पूरा घटनाक्रम बताया और उनके विधिविधान से सनातन संस्कृति से अंतिम संस्कार की जवाबदारी ली और अंतिम संस्कार किया।

मृतक के भाई शरद ने कहा कि मेरे भाई की सहायता करने में सभी समाचार पत्र, मीडिया, समाजसेवी स्वदेश शर्मा, नरेंद्र जोशी, विजय थापा, गोपालकृष्ण, मांगीलाल मुंदड़ा, मुबारिक शाह, काकानी सोशल वेलफेयर फाउंडेशन, पुलिस प्रशासन तथा जिला चिकित्सालय प्रशासन का, मैं हृदय से आभार व्यक्त करता हूँ, जिनके प्रयासों से मुझे अपने भाई की अस्थियां मिली जिसे मैं विसर्जन एवं अन्य विधि-विधान कर्म कर सकूँगा।