Dog Bite Case : डॉग बाइट मामले की हाईकोर्ट में 19 को सुनवाई, एक साल में 55 हजार लोग कुत्तों के शिकार!

नगर निगम सिर्फ कुत्तों की नसबंदी करने और रैबीज इंजेक्शन के इंतजाम तक सीमित!

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Dog Bite Case : डॉग बाइट मामले की हाईकोर्ट में 19 को सुनवाई, एक साल में 55 हजार लोग कुत्तों के शिकार!

Indore : आवारा कुत्तों के काटने से परेशान लोगों ने पिछले दिनों हाईकोर्ट में दो याचिकाएं लगाई गई थी। इसमें नगर निगम ने अपना पक्ष रखते हुए बताया था कि एक साल में 55 हजार लोग शिकार हुए। जबकि, पांच साल में 24 हजार को रेबीज का टीका लगाया गया।

याचिकाओं पर सुनवाई में कोर्ट ने कहा कि स्थिति खतरनाक है। याचिकाकर्ताओं ने इस रिपोर्ट पर आपत्ति ली और कहा कि यह 2001 के नियमों के अनुसार तैयार की गई है। जबकि, वर्ष 2023 में नए नियम आ चुके हैं। कोर्ट ने कहा कि दो सप्ताह में आपत्तियां प्रस्तुत कर दें। पूर्व पार्षद महेश गर्ग ने एडवोकेट प्रतीक माहेश्वरी तथा दूसरी याचिका वंदना जैन ने लगाई है। इसमें कहा है कि सूचना के अधिकार की जानकारी बताती है कि हर माह 4 हजार लोगों को कुत्ते काट रहे हैं।

हर महीने 4 हजार कुत्ते काटने की घटनाएं

इंदौर में स्ट्रीट डॉग बाइट (आवारा कुत्तों) के मामले लगातार बढ़ते जा रहे हैं। इंदौर में हर महीने एवरेज 3600 से 4000 लोगों को आवारा कुत्ते अपना शिकार बना रहे हैं। इस हिसाब से देखें तो इंदौर में रोजाना 120 लोगों को यानी हर घंटे 5 लोगों पर स्ट्रीट डॉग हमला कर रहे हैं। हुकुमचंद पॉलि क्लिनिक (लाल अस्पताल) से मिले आंकड़ों के अनुसार इंदौर में 2023 में कुत्तों ने 44 हजार 016 लोगों को काटा था। वहीं 2022 में यह संख्या 40 हजार 249 थी। यह आंकड़ा सिर्फ सरकारी अस्पताल में कुत्तों के काटने का प्राथमिक इलाज कराने आए लोगों का है। निजी अस्पताल के आंकड़े इसमें शामिल नहीं हैं।

कुत्ते काटने की घटनाएं 8 साल में दोगुनी

8 साल में इंदौर में डॉग बाइट के केस डबल हो गए हैं। जबकि हर साल इन केसों में 15 से 20 प्रतिशत की वृद्धि हो रही है। हुकुम चंद पॉलि क्लिनिक में रोजाना 100 से 120 लोग डॉग बाइट कर इलाज कराने पहुंच रहे हैं। विशेषज्ञों की माने तो शहर के विभिन्न निजी अस्पतालों में भी रोजाना 55 से 60 लोग कुत्तों के काटने का इलाज कराने पहुंचते हैं। इस लिहाज से देखा जाए तो इंदौर में रोजाना लगभग 200 लोग आवारा कुत्तों के हमले का शिकार हो रहे हैं। बता दें कि हुकुम चंद पॉलि क्लिनिक (लाल अस्पताल) में कुत्ते के काटने का वैक्सीन 50 रुपए में लगाया जाता है।

शहर के सिर्फ शासकीय अस्पताल में टीका लगाने की व्यवस्था है। शेल्टर होम नहीं होने के कारण कुत्ते सड़कों पर घुमते रहते हैं। मंगलवार को भागीरथपुरा क्षेत्र में बाइक के सामने आवारा कुत्ता आने से बाइक फिसलने से एक की मौत हो गई थी। कुत्तों को काटने की घटना को लेकर कई लोग निगम से शिकायत कर चुके हैं, लेकिन निगम नसबंदी के अलावा कोई ठोस कदम नहीं उठा रहा।