MPIDC Negligence: कैसे पनपी ड्रग्स की अवैध फैक्ट्री, कभी नही किया वेरिफिकशन

391

MPIDC Negligence: कैसे पनपी ड्रग्स की अवैध फैक्ट्री, कभी नही किया वेरिफिकशन

भोपाल। राजधानी में बगरोदा में नशीले पदार्थ एमडी की फैक्ट्री पकड़े जाने के बाद यह तथ्य उजागर हुआ है कि MPIDC ने यहां औद्योगिक गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए करीब 400 प्लॉट उद्योगपतियों को आवंटित किए गए थे लेकिन उनमें यह देखने की तकलीफ नहीं की कि उनमें क्या हो रहा है। वह निर्धारित मापदंडों को पूरा कर भी रहे हैं या नहीं। जबकि नियमानुसार विभाग को उस जगह और उस फैक्ट्री का वेरिफिकशन करना चाहिए था ताकि पता चल पता कि वहां पर क्या हो रहा है।

 *हालत अब भी अच्छी नहीं* 

बगरोदा में अब तक करीब 125 फैक्ट्रियां चालू हो गई हैं। जबकि 275 प्लॉट खाली ही हैं। इनमें से कुछ में आधे-अधूरे निर्माण हुए हैं। बगरौदा इलाके में इंडस्ट्री जरूर डेवलप की जा रही है, लेकिन यहां सुविधा और सुरक्षा का ख्याल नहीं रखा जा रहा है। इंडस्ट्रियल कॉम्प्लेक्स तक पहुंचने के लिए न तो बेहतर सड़कें हैं और न ही सुरक्षा की पुख्ता व्यवस्था। क्षेत्रीय कटारा हिल्स थाने की दूरी ज्यादा होने के चलते उद्यमी हमेशा असुरक्षा में रहते हैं। सड़कें भी बदहाल हैं और इसी बात का ड्रग्स बनाने वालों ने फायदा उठाया था।

*_गोविंदपुरा औद्योगिक क्षेत्र का भी यही हाल_* 

गोविंदपुरा औद्योगिक क्षेत्र का भी यही हाल है। वहां पर 11 सौ छोटी बड़ी इंडस्ट्री हैं लेकिन यहां पर भी अधिकांश किराये परचल रही हैं और किसी ने भी इस तरफ ध्यान नहीं दिया है कि किस उद्योग को जगह किस लिये दी गयी थी और वहां पर अब क्या चल रहा है। इसी तरह से जेके रोड पर भी जो जगह और प्लाट उद्योगों के लिये दिये गये थे उनमें भी अब कई जगह पर गाड़ियों के शोरूम चल रहे हैं। सवाल यह उठता हैकि अगर डीआईसी ही उद्योगों को दिये जाने वाले प्लाटों का समय समय पर वेरीफिकेशन नहीं करेगा तो फिर वहां पर क्या हो रहा है यह कौन देखेगा। बगरोदा कांड सामने आने के बाद अब इस एरिया के उद्योगों की जांच की तैयारी की जा रही है।

*जब जागे तब सबेरा*

एमपीआईडीसी के क्षेत्र में बगरौदा औद्योगिक क्षेत्र आता है। वहां पर अब ड्रग्स कांड उजागर होने के बाद अब विभाग जागा है और उसने औद्योगिक प्लॉट की लीज को निरस्त करने की तैयारी की है। विभाग से जुड़े सूत्रों का कहना है कि लीज निरस्त करने के लिये नोटिस भेज दिया गया है। अब वहां पर भी चलने वाली सभी फैक्ट्रियों का वैरिफिकेशन भी शुरू किया जाएगा।