RERA Order : इंदौर के बिल्डरों, कॉलोनाइजरों पर ‘रेरा’ से नकेल कसने के आदेश  

- अप्राधिकृत दस्तावेजों जैसे डायरी आदि पर बुकिंग या आवंटन अवैधानिक - रियल एस्टेट प्रोजेक्ट का 'रेरा' में पंजीयन होने पर ही बुकिंग और आवंटन 

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RERA Order : इंदौर के बिल्डरों, कॉलोनाइजरों पर ‘रेरा’ से नकेल कसने के आदेश  

Indore : शहर और जिले के कॉलोनाइजर, बिल्डर, ब्रोकर अपने रियल एस्टेट प्रोजेक्ट अवैध दस्तावेजों जैसे डायरी आदि पर नहीं कर सकेंगे। विक्रय, सौदो से खरीदारों के हितों पर पड़ने वाले विपरीत प्रभाव के बारे में कलेक्टर मनीष सिंह ने ‘रियल एस्टेट (रेग्युलेशन एंड डेवलपमेंट) अधिनियम 2016’ तथा ‘मप्र रियल एस्टेट (रेग्युलेशन एंड डेवलपमेंट) नियम 2017 के तहत प्रतिबंधात्मक आदेश जारी किए हैं।

आदेश में कहा गया है कि इंदौर शहर और जिले के अन्य क्षेत्रों में स्वयं के उपयोग के मकान की इच्छा रखने वाले नागरिकों के द्वारा बडी संख्या में भूखण्ड (भूमि/मकान) का क्रय एवं विक्रय किया जा रहा है। यह क्रय/विक्रय कॉलोनाइजर/डेवलपर/ बिल्डर और ब्रोकर्स के माध्यम से किया जाता है। सभी कॉलोनाइजर, डेवलपर आदि नियम प्रक्रिया के तहत कार्य करें। इन अधिनियम में जहां एक और कालोनाईजर, प्रमोटर एवं बिल्डर्स के लिए विभिन्न अनुमति लेने के प्रावधान वर्णित है, वहीं ब्रोकर/एजेंट आदि के लिए भी पंजीयन एवं उनके दायित्वों के बारे में प्रावधान उल्लेखित है।

किसी भी रियल एस्टेट एजेंट अर्थात ब्रोकर आदि के लिए यह बंधनकारी है कि वह रियल एस्टेट रेगुलेटरी अथॉरिटी में अपना पंजीयन कराने के उपरांत ही उन्हें अधिनियम में दी गई जिम्मेदारी के दायरों के तहत कार्य करें। कॉलोनाइजर, प्रमोटर रियल एस्टेट एजेंट आदि के लिए यह सभी नियम प्रक्रिया बनाए जाने का तात्पर्य यह भी है कि वे अधिनियम एवं नियम के अधीनस्थ सभी अनुमतियां प्राप्त करें।

सभी प्रकार के दस्तावेजों का संधारण करें तथा केवल ‘रेरा’ (Real Estate Regulatory Authority) से अनुमति प्राप्त नवीन प्रोजेक्ट्स में ही व्यवहार करें। गत माह की जांच में यह देखने में आया कि कॉलोनाइजर, प्रमोटर, रियल एस्टेट एजेंट ब्रोकर्स आदि उनके दायित्वों के निर्धारण के लिए बनाए गए ‘रेरा’ (RERA) संबंधी प्रावधानों का उल्लंघन कर रहे हैं। उल्लंघन करने से जनहित प्रभावित हो रहे है।

सभी खरीदारों के लिए बाध्यकारी होगा कि वे जब भूखण्ड अथवा प्रकोष्ठ आदि क्रय करने के लिए अनुबंध करते हैं, तब वे अनुबंध अनुसार कॉलोनाइजर, बिल्डर प्रमोटर को निर्धारित समय पर किस्तों की राशि अदा करें तथा विलंब होने पर अनुबंध अनुसार ब्याज की राशि उन पर देय होगी। भूखण्ड/भवन/ प्रकोष्ठ आवंटितों के लिए यह भी बाध्यकारी  होगा कि वे रहवासी संघ जिस भी नियमों के स्वरूप में गठित हो रहा है, उसमें भाग लेंगे तथा सदस्य बनेंगे।

यह भी देखने में आया है कि कुछ कॉलोनाइजर जिस साईज के भूखण्ड के सौदे आवंटितियों से किए हैं, उसमें कुछ समय व्यतीत हो जाने के उपरांत कम साइज के भूखण्डों पर रजिस्ट्री कराने का दबाव आवंटियों पर डाला जाता है। यह प्रयास किया जाता है कि आवंटित इसे स्वीकार कर लें। यह पूर्ण रूप से अवैधानिक एवं अनुचित है। इसलिए आवश्यक है कि नागरिक कोई भी भूखण्ड/प्रकोष्ठ खरीदने करने के पूर्व वैधानिक अनुमतियां जैसे खसरा, बही, डायवर्सन आदेश, नगर तथा ग्राम निवेश विकास स्थल अभिन्यास अनुमोदन, विकास अनुमति/भवन अनुज्ञा, रेरा पंजीयन (RERA Registration) आदि स्वयं देख लें तथा मांगे जाने पर यह अनुमतियां विक्रय करने के पूर्व दिखाने के लिए कॉलोनाइजर और बिल्डर बाध्य रहेंगे।