MP govt’s initiative in Ukraine crisis : यूक्रेन में फंसे लोगों की जानकारी परिजनों को दी गई
Bhopal : युद्धग्रस्त यूक्रेन से प्रदेश के 46 स्टूडेंट्स और नागरिक सुरक्षित भारत लाए जा चुके हैं। बचे हुए नागरिकों और स्टूडेंट्स को वापस लाने हरसंभव कोशिशें की जा रही है। मुख्यमंत्री के निर्देश पर अभी तक यूक्रेन से नहीं लौट सके लोगों से फ़ोन पर गृह विभाग द्वारा फोन पर सम्पर्क किया गया और उनके सुरक्षित होने की जानकारी परिजनों को दी गई। उन्हें भारत लाने के बारे में विदेश मंत्रालय के प्रयासों से भी अवगत कराया गया।
मध्यप्रदेश के 150 लोगों के परिजनों के परिवार के सदस्य यूक्रेन में फंसे हैं। प्रभावित परिवारों को पुलिस के अधिकारियों ने 1 मार्च को उनके निवास पर जाकर अवगत कराया। उन्होंने मुख्यमंत्री के निर्देश पर गृह विभाग द्वारा विदेश मंत्रालय और भारत सरकार से सम्पर्क कर वहां फंसे लोगों को जल्द से जल्द वापस लाने के बारे में किए प्रयासों की जानकारी भी दी। शेष परिवारों से व्यक्तिगत सम्पर्क भी किया जा रहा है।
डिंडोरी जिले से खारकोव शहर में फंसे स्टूडेंट सबुज विश्वास के परिजन डॉ एसके विश्वास से मुलाकात कर उन्हें सांत्वना दी गई। शासन-प्रशासन के सहयोग तथा किए जा रहे प्रयासों की जानकारी दी गई। SDOP (डिंडोरी) रवि प्रकाश और उप निरीक्षक राहुल तिवारी ने समस्या के निराकरण के लिए संयम रखने और सहयोग की सलाह भी दी गई।
छात्रा तन्वी शर्मा यूक्रेन से 17 फ़रवरी को ही ग्वालियर पहुँच गई थी। उनके परिजनों ने बताया कि युद्ध का आभास होने से पहले ही हमने अपनी बेटी को बुला लिया गया था। गुना जिले का छात्र कुलदीप धाकड़ राधोगढ क्षेत्र के बड़ा अमिलिया गांव का निवासी है। वो यूक्रेन से निकलकर हंगरी आ गया है। उसके परिजनों से थाना प्रभारी (राघोगढ़) अवनी शर्मा ने मुलाकात की और स्थिति से अवगत कराया। गुना जिले का ही अनिल धाकड पहरवा (आरोन) का है। इसके परिजनों से थाना प्रभारी विनोद राठौर ने चर्चा की और आश्वासन दिया कि उनका बेटा सुरक्षित है।
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मलाझखंड के थाना प्रभारी डीएस मरावी और सब इंस्पेक्टर जितेंद्र जादौन ने बालाघाट जिले के मलाजखंड से यूक्रेन में अध्ययनरत प्रगति ठाकरे के पिता मिलाप सिंह ठाकरे और अन्य परिजनों से मंगलवार को मुलाकात कर उन्हें सरकार के प्रयासों की जानकारी दी।