Kissa A IAS: एक ताने ने बदली जिंदगी, डॉक्टरी छोड़ IAS बनी प्रियंका शुक्ला
: IAS बनने वाले हर अभ्यर्थी के पीछे कोई न कोई कहानी जुड़ी होती है! ऐसे बहुत कम लोग होते हैं, जिन्होंने IAS बनने का प्रण किया हो और लक्ष्य फतह कर लिया हो! जबकि, किसी से प्रेरित होकर या किसी घटना विशेष के कारण IAS बने लोगों की संख्या ज्यादा है।
कई लोग ऐसे भी होते हैं, जो जीवन की शुरुआत किसी और पेशे से करते हैं, पर किसी घटना विशेष से प्रेरणा लेकर UPSC का मैदान फतह करते हैं।
सभी की कहानियां भले अलग हों! पर, उनकी मंजिल एक ही होती है। डॉ प्रियंका शुक्ला की कहानी भी कुछ ऐसी ही है! वरना वे तो पेशे से डॉक्टर थीं और सफलता से अपना काम कर रही थीं! अचानक एक दिन कुछ ऐसा हुआ कि उन्होंने डॉक्टरी छोड़कर सिविल सर्विस का लक्ष्य साधा और उसे पा भी लिया।
प्रियंका शुक्ला ने लखनऊ के किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी से एमबीबीएस की पढ़ाई की! प्रियंका डॉक्टर बनने के बाद अपने काम में रम गई थीं। लेकिन, शुरू में परिवार चाहता था कि वे बड़ी होकर IAS अधिकारी बने। उनके पिता हरिद्वार कलेक्ट्रेट में काम करते थे, तो उन्हें पता था कि DM (कलेक्टर) का दबदबा क्या होता है। इसलिए उनके पिता चाहते थे कि घर के बाहर प्रियंका की कलेक्टर वाली नेम प्लेट देखना चाहते थे! आखिर वह सच भी हो गया।
एमबीबीएस करने के बाद उन्होंने लखनऊ में ही प्रैक्टिस शुरू कर दी। डॉक्टर बनकर प्रियंका बेहद खुश भी थी। लेकिन, इस दौरान हुई एक घटना ने उनके जीवन का लक्ष्य बदलकर रख दिया।
डॉ प्रियंका एक झोपड़पट्टी वाले एरिया में लोगों के स्वास्थ्य परीक्षण के लिए गई थी। वहां प्रियंका ने देखा कि एक महिला खुद गंदा पानी पी रही थी और बच्चे को भी पिला रही थी।
प्रियंका ने उस महिला को ऐसा पानी पीने से मना किया! लेकिन, उस महिला ने पलटकर जवाब दिया ‘क्या तुम कहीं की कलेक्टर हो!’
यह बात सुनकर प्रियंका सन्न रह गई और अंदर तक हिल गई! उसे लगा कि वो तो डॉक्टर है इलाज कर सकती है किसी की समस्या हल नहीं कर सकती! इस एक घटना के बाद डॉ प्रियंका शुक्ला का नजरिया बदल गया। उन्होंने वहीं कलेक्टर बनने का फैसला कर लिया। लेकिन,जीवन में बड़ी सफलताएं आसानी से नहीं मिलती।
प्रियंका ने UPSC की परीक्षा की परीक्षा दी, पर उसमें सफलता नहीं मिली। लेकिन, कुछ करने की जिद ने उन्हें लगातार कोशिश के लिए प्रेरित किया और प्रियंका भी पीछे नहीं हटी। 2009 में आखिरकार उन्होंने UPSC की परीक्षा पास कर ही ली। उस महिला के तंज ने प्रियंका को जिस तरह उद्वेलित किया, उसी का नतीजा था कि एक डॉक्टर IAS बन गई!
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प्रियंका की गिनती देश के बेहतरीन और परिणाम देने वाले IAS अफसरों में होती हैं। प्रियंका को अपने उत्कृष्ट कार्य के लिए राष्ट्रपति द्वारा पुरस्कार से भी सम्मानित किया जा चुका है। इसके अलावा वे बहुमुखी प्रतिभा की धनी हैं। उन्हें कविता लिखने और कंटेम्परेरी डांस का भी शौक है। वे पेंटिंग भी करती हैं और गाने का भी शौक हैं।
डॉ प्रियंका शुक्ला फिलहाल छत्तीसगढ़ कैडर में हैं और विशेष सचिव, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग तथा अतिरिक्त प्रभार मिशन संचालक राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन, आयुष संचालक को उनके वर्तमान कर्तव्यों के साथ-साथ संचालक, नगरीय प्रशासन एवं विकास का अतिरिक्त प्रभार सौंपा गया। उन्हें जितने प्रभार दिए गए, उससे समझा जा सकता है, कि सरकार को उनके कामकाज पर कितना भरोसा है।
IAS बनने के बाद प्रियंका शुक्ला ने आम लोगों की जिंदगी बदलने को ही अपना लक्ष्य बनाया! क्योंकि, वे उस कटाक्ष को कभी नहीं भूलती जो उस औरत ने उन्हें कहा था। वे छत्तीसगढ़ के कई जिलों में कलेक्टर पद पर काम कर चुकी हैं। उन्हें राष्ट्रपति से कई सम्मान भी मिले। वे एक रोल मॉडल भी बन चुकी हैं।
प्रियंका की सोशल मीडिया पर फॉलोअर्स की भी संख्या लाखों में है। ट्विटर पर उनके तीन लाख से ज्यादा फॉलोवर है। वे ट्विटर पर अपने काम का अपडेट देते रहती हैं। वे युवाओं और UPSC के लिए मेहनत करने वाले उम्मीदवारों को मोटिवेट करती रहती हैं।
उन्होंने अपनी एक पोस्ट में यूपीएससी की तैयारी के दिनों को याद करते हुए लिखा था ‘मेरे जीवन की सबसे अविस्मरणीय तिथियों में से एक! न केवल इसलिए क्योंकि इसी दिन सिविल सेवा परीक्षा 2008, #UPSC का परिणाम घोषित हुआ था, बल्कि इसलिए भी क्योंकि इस दिन ने मुझे पुनः आश्वस्त किया कि दृढ़ निश्चय, अथक परिश्रम और लगन से हर लक्ष्य पाया जा सकता है।
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