Accusations Against Collector & SDM : महिला तहसीलदार ने कलेक्टर और SDM पर प्रताड़ना का आरोप लगाया, अफसरों ने इसे गलत बताया!
Bhind : जिले की मौ तहसील की तहसीलदार माला शर्मा ने कलेक्टर संजीव श्रीवास्तव और एसडीएम पराग जैन पर प्रताड़ित करने का आरोप लगाते हुए कहा कि उन्हें मेंटल टॉर्चर किया जा रहा है। उनका कहना है कि मेरा 6 साल का बेटा बीमार है। ग्वालियर में भर्ती है। इस हालत में भी उसके साथ नहीं रह पा रही हूं। मुझे मुख्यालय छोड़ने को मना किया गया। मैं ग्वालियर जाना चाहूं तो कई सवाल किए जाते हैं। किसी काम की परमिशन मांगती हूं तो जवाब नहीं मिलता है।
जबकि, तहसीलदार माला शर्मा खुद लंबे समय से विवादों में हैं। उन पर जमीन खरीद-फरोख्त करने और जब्त की गई सरसों की ऑफर तफरी करने के आरोप हैं। किंतु, तहसीलदार ने इन आरोपों को निराधार बताया और कहा कि मेरे खिलाफ कलेक्टर और एसडीएम षड्यंत्र रच रहे हैं। मुझे अपमानित करते हैं। मेरी बात नहीं सुनते। मैं मिलने जाती हूं तो मुझे चार-चार घंटे इंतजार कराते हैं।
तहसीलदार ने महिला आयोग को लिखा
तहसीलदार माला शर्मा ने 18 सितंबर को राज्य महिला आयोग को इस बारे में पत्र भी लिखा है। उन्होंने लिखा कि भिंड कलेक्टर संजीव श्रीवास्तव लगातार प्रताड़ित कर रहे हैं। मुझे 4 महीने में 10 से ज्यादा नोटिस थमाए गए । जमीन खरीदने का आरोप लगाया जा रहा है। मैंने या मेरे पति ने कोई जमीन नहीं खरीदी। जिस जमीन की बात की जा रही है, वो किसी दूसरे व्यक्ति ने खरीदी है। उसका नाम मेरे पति से मिलता है, लेकिन पिता के नाम अलग हैं। मैं पति का आधार कार्ड भी दे चुकी हूं। तहसीलदार का यह भी कहना है कि एसडीएम पराग जैन जबरन मुझ पर दबाव बनाते हैं। वे कलेक्टर को मेरे खिलाफ गलत जानकारी देते हैं। दोनों अधिकारियों ने मिलकर मुझे हटा दिया था। कोर्ट से मुझे स्टे मिला है।
तहसीलदार का आरोप है कि मेरे अधिकार छीनकर किसी और को दिए गए। अब मुझे प्रताड़ित किया जा रहा है। मौ तहसील में दो सर्कल हैं। एक मौ, दूसरा देहगांव। मौ में मैं पदस्थ थी और देहगांव में रामलोचन तिवारी। बाढ़ प्रभावित एरिया का सर्वे कराने एसडीएम और कलेक्टर ने नायब तहसीलदार उदय सिंह जाटव को मौ सर्कल में भेजा। तहसीलदार ने कहा कि मुझसे राजस्व भू-अभिलेख के अधिकार छीन लिए गए हैं। यह अधिकार जाटव को देते हुए प्रभारी बनाया है। इस वजह से मेरी राजस्व की आईडी बंद करा दी गई।
इस मामले में कलेक्टर ने क्या कहा
इस मामले में कलेक्टर का कहना है कि तहसीलदार माला शर्मा पर लोगों से पैसे लेने का आरोप है। कलेक्टर संजीव श्रीवास्तव का कहना है कि मैं शासन का काम कर रहा हूं। तहसीलदार माला शर्मा ने गड़बड़ी की है। लोगों से पैसा लेने का आरोप है, ऐसे मामलों में स्पष्टीकरण मांगा जाता है। माला शर्मा से राजस्व भू अभिलेख की आईडी का अधिकार छीनकर देहगांव सर्कल के तहसीलदार उदय जाटव को दिया है। दोनों तहसीलदार के कामों का क्लासीफिकेशन किया गया है। उन्होंने महिला आयोग से शिकायत की है, लेकिन मुझे आयोग से कोई पत्र नहीं मिला है।