
Badwani News: एम्बुलेंस खराब होने के चलते 29 दिन की बच्ची की मौत का आरोप, जिला प्रशासन ने कार्रवाई के लिए पत्र लिखा
बड़वानी: मध्य प्रदेश के बड़वानी स्थित जिला महिला अस्पताल से इंदौर रेफर किए जाने के दौरान एंबुलेंस खराब होने के चलते निजी एंबुलेंस से 29 दिन की बच्ची को इंदौर ले जाना पड़ा. परिजनों का आरोप है कि 2 घंटे के डिले होने के चलते उनकी 5 साल बाद पैदा हुई बच्ची की मौत हो गई. बड़वानी जिला कलेक्टर जयति सिंह ने सख्त कदम उठाते हुए नेशनल हेल्थ मिशन की मैनेजिंग डायरेक्टर को पत्र लिख मामले से अवगत कराया है और वेंडर को बदले जाने का निवेदन किया है.

बड़वानी जिले के तलवाड़ा डेब के हरिओम कर्मा ने बताया कि 5 साल बाद उनकी पत्नी को एक सीजर ऑपरेशन से एक बच्ची हुई थी। उसे किसी तकलीफ के चलते बड़वानी के जिला महिला अस्पताल में भर्ती कराया गया था, उसे यहां से इंदौर के एमटीएच रेफर किया गया। उन्होंने बताया कि एंबुलेंस काफी देर से आई, और जब वे बच्ची को लेकर एंबुलेंस से निकले तो रास्ते में धामनोद के पास एंबुलेंस खराब हो गई। एंबुलेंस चालक और स्टाफ ने दुर्व्यवहार भी किया। करीब डेढ़ घण्टे तक दूसरी एंबुलेंस नहीं आने पर उसे निजी एंबुलेंस करके इंदौर ले जाया गया, लेकिन इंदौर पहुंचने के पूर्व वह जीवित नहीं रही । उसने और उसकी पत्नी नविता कर्मा ने आरोप लगाया कि यदि 2 घंटे के समय की बर्बादी नहीं होती तो आज उनकी बच्ची जीवित होती ।
बड़वानी की सीएमएचओ डॉक्टर सुरेखा जमरे ने बताया कि जननी सुरक्षा से जुड़ी 38 गाड़ियां जिले में संचालित है लेकिन अधिकांश या तो समय पर नहीं पहुंचती है या खराब हो जाती है, और हमने कई बार कंप्लेंट की है। उन्होंने बताया कि प्राइवेट हॉस्पिटल में जन्मी बच्ची को हृदय से संबंधित दिक्कत थी और वह पूर्व में कुछ दिन MYH में भी भरती रही थी। उन्होंने कल इस मामले को कलेक्टर से अवगत कराया था।
जिला कलेक्टर जयति सिंह ने कहा कि इस दुर्भाग्यपूर्ण मामले में नेशनल हेल्थ मिशन की एमडी को अवगत कराते हुए हमने पत्र लिखा है और स्ट्रिक्ट कार्रवाई और वेंडर बदलने की अनुशंसा की है। उन्होंने बताया कि संबंधित कंपनी के अधिकारियों को बड़वानी बुलाया गया है।




