Banana Boy : युवा वैज्ञानिक पर बनेगी बायोपिक, ‘नासा’ का ऑफर ठुकराया!

13 वर्ष की उम्र में केले के थंब से बिजली उत्पादन कर दुनिया को चौंकाया!

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Banana Boy : युवा वैज्ञानिक पर बनेगी बायोपिक, ‘नासा’ का ऑफर ठुकराया!

Bhagalpur : केले पर शोध करने वाले एक वैज्ञानिक पर फिल्म बनाए जाने की तैयारी है। फिल्म का नाम होगा ‘बनाना बॉय!’ युवा वैज्ञानिक गोपाल जी केले के पल्प पर शोध कर रहे हैं। गोपाल ने 13 वर्ष की उम्र में केले के थंब से बिजली उत्पादन कर दुनिया को चौंका दिया था। अब वे केले के थंब से पल्प तैयार कर रहे हैं, जिससे प्लेट और थाली बनती है। इसके साथ ही वे सिंगल यूज प्लास्टिक पर अभी वो काम कर रहे हैं। गोपाल अभी ऐवोन पैफको नामक कंपनी में बतौर साइंटिस्ट कार्यरत है। गोपाल अब तक कई आविष्कार कर चुके हैं।

देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी उनके आविष्कार को न सिर्फ सराहा, बल्कि उनको 2017 में अहमदाबाद स्थित इनोवेटिव फाउंडेशन भेजा था। गोपाल को भारत सरकार के संस्कृति मंत्रालय द्वारा 40 युवा आईकॉन में भी शामिल किया गया था। ‘नासा’ के अंतर्गत काम करना हर वैज्ञानिक का सपना होता है, लेकिन गोपाल ने नासा से मिले ऑफर को ठुकरा दिया था। क्योंकि, उन्हें देश के लिए काम करना था।

गोपाल ने बताया उनका जीवन काफी संघर्ष भरा रहा। एक खपरैल के घर में वह पढ़ाई किया करते थे। यहीं से उन्होंने आविष्कार शुरू किया। यही वजह है कि अब गोपाल पर बायोपिक फिल्म बनने वाली है, जिसका नाम ‘बनाना बॉय’ होगा। गोपाल के परिवार में उनके माता-पिता, दो बहनें व बहनोई है, जिसे गोपाल अपनी सफलता का श्रेय देते हैं। पिता प्रेम रंजन कुमार पेशे से किसान हैं। बेटे की सफलता पर वह फूले नहीं समा रहे। पिता ने कहा कि उसके अविष्कार से वह काफी खुश हैं। केले के पल्प से वो काफी कुछ तैयार कर रहा जो देश के लिए लाभदायक है। गोपाल बचपन में भी बहुत मेहनत करता था। एक खपरैल के मकान में ही सभी रहते थे और वहीं से यह पढ़ाई भी करता था।

जब ‘नासा’ का ऑफर ठुकराया

भागलपुर के ध्रुवगंज खरीक बाजार के रहने वाले गोपाल के लिए यह गर्व की बात है। गोपाल ने बताया कि उन्हें 3 साल पहले गोपनियम एलोई पर ‘नासा’ के साथ काम करने का अवसर मिला था। यदि ये प्रोजेक्ट सफल रहता तो सूर्य का अध्ययन करना बहुत ही आसान हो जाता। गोपनियम एलोई हाफनियम, टेंटिलुनियम, कार्बन और नाइट्रोजन का मिश्रण है। उन्हें इसका आइडिया साइंस फिक्शन पर आधारित एक फिल्म से आया था। लेकिन, बाद में उन्होंने ‘नासा’ का ऑफर ठुकरा दिया। यही नहीं गोपाल ने केले के थंब से बिजली पैदा होने पर आधारित प्रोजेक्ट का पेटेंट 2018 में करा लिया है। युवा वैज्ञानिक ‘पेपर बायो सेल’ और ‘बनाना बायो सेल’ की खोज के बाद 4 साल के लिए भारत सरकार के साथ अनुबंधित हैं और अभी इस अनुबंध का एक साल ही पूरा हुआ है।