
Battle for Supremacy : क्रिकेट के 2 नामचीन बुकीज के बीच वर्चस्व की जंग, गुंडों की दहशत से थर्राया रहवासी क्षेत्र!
Ratlam : शहर के रहवासी क्षेत्र सेठजी बाजार में बीती रात्रि वर्चस्व को लेकर 2 बड़े क्रिकेट सट्टे के बुकीज- बारीक और मिर्ची के बीच जमकर विवाद हुआ। बताया जा रहा हैं कि दोनों के बीच हुई कहासुनी के बाद मामला इतना बढ़ गया कि रात 8 बजे से 10 बजे तक पूरा बाजार रणक्षेत्र की स्थिति से गुजरा। मौके पर के अनुसार, दोनों पक्षों ने अपने-अपने गुटों के हिस्ट्रीशीटर गुंडों और रंग बाजों को मौके पर बुलवा लिया था। सेठजी के बाजार में उस समय सैकड़ों की भीड़ जमा हो गई थी, जिससे आसपास के रहवासी दहशत में आ गए थे और अपने-अपने घरों के दरवाजे बंद कर घरों में कैद हो गए थे। विवाद की जड़ किसी तीसरे व्यक्ति के रुपए के लेन-देन को लेकर थी। पहले मोबाइल पर गाली-गलौज और धमकी बाजी हुई, जिसके बाद दोनों बुकी आमने-सामने आ गए।

एक गुट में जिम के बॉडीबिल्डरों की टोली थी, तो दूसरी ओर ‘कबाड़ी’ और ‘पव्वा पंवार’ गुट ने मोर्चा संभाल लिया। बताया जाता है कि झगड़े के दौरान बारीक के भाई को चाकू लगने से चोट भी आई है। किसी रहवासी ने इस पूरे घटनाक्रम का वीडियो बनाकर वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों को भेज दिया। इसके बाद संबंधित थाना पुलिस मौके पर पहुंची थी और दोनों बुकीज को थाने ले गई थी। देर रात थाने के बाहर भी भारी भीड़ जमा रही। सूत्र बताते हैं कि दोनों पक्षों के बीच समझौता कराने के लिए कुछ राजनीतिक चेहरों ने भी हस्तक्षेप किया। देर रात तक चली इस कवायद के बाद दोनों बुकीज अपने-अपने घर चले गए। अब सवाल यह उठता है कि क्या चाकूबाजी जैसे गंभीर अपराध में आपसी समझौता कानूनन संभव है? क्या यह समझौता सिर्फ दिवाली तक की ‘शांति’ का दिखावा है? क्या पुलिस ने सिर्फ त्योहार की आड़ में मामले को ठंडे बस्ते में डाल दिया?
सेठजी बाजार के एक प्रतिष्ठित व्यवसायी का कहना था- “इतना भयावह दृश्य पहली बार देखा। जिन लोगों को बुलाया गया। वे किसी भी वक्त बड़ी वारदात कर सकते थे।
शहरवासियों में अब यही चर्चा हैं कि अगर ऐसे आपराधिक तत्वों के बीच केवल ‘समझौते’ से कानून शांत होता रहेगा तो आम लोगों की सुरक्षा किस भरोसे पर टिकी रहेगी???? पुलिस की भूमिका को लेकर उनके मन का संशय साफ जाहिर हो रहा था!





