Big Scandal: 60 साल के हुए नहीं,1 लाख 16 हजार बुजुर्गो को बांट दी वृद्धावस्था पेंशन
भोपाल:मध्यप्रदेश वाकई अजब है गजब है। सामाजिक न्याय विभाग और जिला प्रशासन के अफसरों ने पूरे प्रदेश में 1 लाख 16 हजार 154 ऐसे लोगों को वृद्धावस्था पेंशन बांट दी जो अभी साठ साल के भी नहीं हुए है। विभाग के प्रमुख सचिव सचिन सिन्हा ने जांच के बाद इन सभी की पेंशन रोक दी है।
प्रमुख सचिव सचिन सिन्हा ने सभी कलेक्टर, जिला पंचायतों के सीईओ, नगर निगम आयुक्त, जनपद पंचायत के सीईओ और नगर पालिका, नगर परिषद के मुख्य नगरपालिका अधिकारियों को पंद्रह जुलाई तक पूरे प्रदेश में इनकी जांच और परीक्षण करने के निर्देश दिए है। उन्होंने अफसरों से कहा है कि जिनकी पेंशन रोकी गई है वे जनसुनवाई, सीएम हेल्पलाईन में शिकायत करेंगे। इसलिए उनकी पुख्ता जांच की जाए यदि कोई पात्र है तो उसकी पेंशन पुन: शुरु की जाए। शिकायत मिलने के बाद यदि पात्र वंचित हुए तो जिम्मेदार अफसरों के खिलाफ कड़ी कार्यवाही की जाएगी।
इन पेंशन योजनाओं में गड़बड़ी- इंदिरा गांधी राष्ट्रीय वृद्धावस्था पेंशन योजना में 1 लाख 8 हजार 6, सामाजिक सुरक्षा वृद्धावस्था पेंशन योजना में 8 हजार 158, विधवाओं को दी जाने वाली मुख्यमंत्री सामाजिक सुरक्षा कल्याणी योजना में 618, इंदिरा गांधी विधवा पेंशन योजना 690, एसएसपी दिव्यांग शिक्षा प्रोत्साहन योजना में 3 और बहु विकलांग मानसिक दिव्यांग को सहायता की योजना में एक अपात्र को योजना का लाभ दे दिया गया।
*अविवाहित और परित्यक्ता थी तो पेंशन ली, बाद में वैवाहिक स्थिति बदली तो अपात्र हो गई-*
अविवाहित महिलाओं और विवाह के बाद परित्यक्ता बनी महिलाओं को भी राज्य सरकार जीवन यापन के लिए पेंशन देती है। कुछ महिलाओं ने इसका लाभ लिया लेकिन बाद में उनकी वैवाहित स्थिति में बदलाव पाया गया फिर भी ये लाभ ले रही थी। मुख्यमंत्री अविवाहित पेंशन योजना में 115, सामाजिक सुरक्षा परित्यक्ता पेंशन योजना मे 12 अपात्र महिलाओं को यह लाभ मिल रहा था। इन सबकी पेंशन रोक दी गई है।
राजगढ़, बालाघाट में सर्वाधिक गोलमाल–
पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजयसिंह के क्षेत्र राजगढ़ में सर्वाधिक 7 हजार 696 अपात्र वृद्धावस्था पेंशन ले रहे थे। बालाघाट जिले में 6 हजार 139 अपात्रों को वृद्धावस्था पेंशन बांट दी गई। पन्ना में 3 हजार 994,सतना में 3 हजार 856, सीधी में 3 हजार 501,पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के छिंदवाड़ा जिले में 3 हजार 487 अपात्र पेंशन ले रहे थे इन पर रोक लगाई गई है। सभी 52 जिलों में गड़बड़ घोटाला सामने आया है।
*अपडेट होंगी जानकारी, पात्र निकले तो फिर मिलेगी पेंशन-* हितग्राहियों के आधार कार्ड से नाम, आयु, लिंग, पता अपडेट किया जाएगा। यदि अपात्र होंने के कारण नाम हटा दिए गए है तो पुन: आवेदन कर सकेंगे। निकाय इसका परीक्षण करेंगे और पात्रता के आधार पर पुन: पेंशन स्वीकृत कर सकेंगे। एरियर्स के लिए पात्र हितग्राहियों का प्रस्ताव जिला कार्यालय के माध्यम से सामाजिक न्याय संचालनालय को भेजा जाएगा।
*इन जिलों में तीन हजार से उपर अपात्र-*
प्रदेश के नौ जिलों में तीन हजार से अधिक अपात्रों को जांच के बाद पेंशन देना बन्द किया गया है। इन जिलों में बड़वानी, बालाघाट,छिंदवाड़ा,पन्ना,रीवा,सतना, सीहोर, सीधी और सिंगरौली जिले शामिल है।