Budget 2024 : अंतरिम बजट से ज्वेलरी सेक्टर में निराशा- सराफा एसोसिएशन के प्रदेश महासचिव देवीलाल सोनी!
Ratlam : वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा लोकसभा चुनाव के पूर्व अंतरिम बजट प्रस्तुत किया गया जिसमें महिलाओं, युवाओं, गरीबों एवं किसान आदि सभी वर्गों के हितों को ध्यान में रखा गया, किंतु अरबों खरबों रुपए प्रतिवर्ष का राजस्व देने वाले छोटे एवं मझोले सराफा व्यापारियों एवं हस्तशिल्प कारीगरों के हित में कोई योजना प्रस्तावित नहीं की गई। नतीजा यह हैं कि आगामी लोकसभा चुनाव के पूर्व सर्राफा व्यापारियों एवं कारीगरों में निराशा व्याप्त हैं। यह बात मध्य प्रदेश सराफा एसोसिएशन के सचिव देवीलाल सोनी ने मीडियावाला के संभागीय ब्यूरोचीफ रमेश सोनी से दूरभाष पर चर्चा करते हुए कहीं!
देवीलाल सोनी ने बताया कि भारत सरकार के खजाने में सोना एक ऐसी धातु हैं जिसके आयात से बड़ी मात्रा में सरकार इंपोर्ट ड्यूटी के रूप में राजस्व प्राप्त होता हैं। जिसे कम करने की मांग ज्वेलरी सेक्टर विगत कई वर्षों से कर रहा हैं। सरकार को विदेशी मुद्रा बचाने के लिए इसके शुल्क में कमी करना वक्त की दरकार है जिससे छोटे मध्य व्यापारी एवं हस्तशिल्पियो, आयातित सोने से विदेशी चुनौतियों का सामना करते हुए गुणवत्तापूर्ण आभुषणों का निर्माण करके देश के विदेशी मुद्रा भंडार को भी बढ़ा सकें।
भारत सरकार ने विश्वकर्मा योजना के अंतर्गत भी स्वर्ण आभूषणों के निर्माण एवं कला को प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से शामिल किया हैं। किंतु आज तक देश भर में कहीं भी विश्वकर्मा योजना अंतर्गत ट्रेनिंग सेंटर एवं उससे संबंधित किसी भी प्रकार का लाभ सराफा व्यवसाय से जुड़े स्वर्णकार कारीगरों को प्राप्त नहीं हुआ हैं।
बता दे कि वित्त वर्ष 2023-24 में अप्रेल से दिसंबर माह तक पिछले वर्ष हुए आयात के मुकाबले 26.7% की वृद्धि दर्ज की गई है। जिसका अंतरराष्ट्रीय बाजार मुल्य 35.95 अरब डॉलर है, जबकि हमारे देश में अभी वैवाहिक खरीददारी की वजह से अंतिम तिमाही में और अधिक वृद्धि होगी।