
Car terror in France: ओलेरॉन द्वीप पर शख्स ने 35 मिनट तक पैदल यात्रियों को रौंदा, गिरफ़्तारी पर बोला- “अल्लाहु अकबर”
Île d’Oléron: फ्रांस के शांत और खूबसूरत अटलांटिक तटीय इलाके ओलेरॉन द्वीप (Île d’Oléron) में बुधवार सुबह एक दिल दहला देने वाली घटना घटी। यहां एक व्यक्ति ने अपनी कार से करीब 35 मिनट तक अलग-अलग जगहों पर पैदल चलने वालों और साइकिल सवारों को टक्कर मारी। इस हमले में कम से कम पांच लोग घायल हुए, जिनमें से दो की हालत गंभीर बताई जा रही है।
घटना सुबह लगभग 8:40 बजे (स्थानीय समय) शुरू हुई। चश्मदीदों के अनुसार आरोपी अपनी गाड़ी को तेज रफ्तार से चलाते हुए लगातार राहगीरों को निशाना बनाता रहा। स्थानीय पुलिस ने करीब आधे घंटे की मशक्कत के बाद उसे पकड़ लिया। गिरफ्तारी के दौरान आरोपी ने ‘अल्लाहु अकबर’ के नारे लगाए, जिससे घटना का माहौल और भी तनावपूर्ण हो गया।
फ्रांस के गृह मंत्री लॉरेंट नुनेज़ ने पुष्टि की कि आरोपी की उम्र लगभग 35 वर्ष है और वह स्थानीय मछुआरा बताया गया है। मंत्री के अनुसार, “गिरफ्तारी के बाद प्रारंभिक जांच में पाया गया कि आरोपी पहले कुछ सामान्य अपराधों जैसे नशे में वाहन चलाने और ड्रग्स के मामलों में शामिल रहा है, लेकिन वह किसी आतंकी निगरानी सूची में नहीं था।”
पुलिस जांच से यह भी पता चला है कि आरोपी ने घटना के दौरान अपनी कार में आग लगाने की कोशिश की थी, जिसके बाद पुलिस ने उसे टेज़र गन का इस्तेमाल कर काबू किया। गृह मंत्री ने बताया कि आरोपी के घर से कुछ धार्मिक संदर्भ वाली सामग्री मिली है और ‘स्व-चरमपंथी बनने’ (self-radicalisation) की संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता। फिलहाल यह जांच का विषय है कि यह हमला किसी आतंकी मकसद, मानसिक अस्थिरता या व्यक्तिगत कारणों से प्रेरित था।

घायल लोगों में से एक व्यक्ति को स्थानीय सांसद के सहयोगी के रूप में पहचाना गया है, जिससे मामला और गंभीर हो गया है। वर्तमान में ला रोशेल (La Rochelle) के अभियोजक कार्यालय द्वारा पूरे प्रकरण की जांच की जा रही है। हालांकि फ्रांस का एंटी-टेररिज्म विभाग अभी इस मामले को अपने हाथ में नहीं ले रहा है; जांच के निष्कर्षों के बाद ही आगे का फैसला होगा।
इस घटना ने 2016 के नीस ट्रक हमले की याद ताजा कर दी है, जब एक चरमपंथी ने भीड़ पर ट्रक चढ़ा दिया था और 86 लोगों की मौत हुई थी। हालांकि ओलेरॉन की यह घटना उतनी बड़ी नहीं है, लेकिन फ्रांस में फिर से ‘वाहन से हमला’ जैसी घटनाओं को लेकर सुरक्षा एजेंसियों में चिंता बढ़ गई है।

स्थानीय प्रशासन ने द्वीप पर आपात सहायता सेवाओं को सक्रिय कर दिया है और क्षेत्र में सुरक्षा बलों की तैनाती बढ़ा दी गई है। फ्रांसीसी मीडिया में इसे एक “संवेदनशील और संभावित रूप से उग्रवादी घटना” माना जा रहा है।
फिलहाल जांच जारी है, और फ्रांस के अधिकारी यह पता लगाने में जुटे हैं कि यह हमला किसी अकेले अस्थिर व्यक्ति की हरकत थी या इसके पीछे कोई संगठित मकसद छिपा है।




