CBI ने भ्रष्टाचार मामले में 2 संयुक्त संचालकों सहित 4 को किया गिरफ्तार, ₹60 लाख नगद बरामद

702

CBI ने भ्रष्टाचार मामले में 2 संयुक्त संचालकों सहित 4 को किया गिरफ्तार, ₹60 लाख नगद बरामद

नई दिल्ली: CBI ने भ्रष्टाचार मामले में कॉरपोरेट मामलों के मंत्रालय के दो संयुक्त संचालकों सहित चार लोगों को गिरफ्तार किया है। CBI ने दिल्ली, मुंबई और चेन्नई में आरोपियों के परिसरों पर तलाशी के दौरान लगभग 60 लाख रुपये नकद भी बरामद किए. इन लोगों पर आलोक इंडस्ट्रीज द्वारा अवैध और अनैतिक व्यावसायिक गतिविधियों की जांच के दौरान फाइलों में पक्षपात दिखाने के लिए कथित तौर पर रिश्वत लेने के आरोप हैं।

सीबीआई ने चारों के खिलाफ भ्रष्टाचार का मामला दर्ज किया है. ये चार आरोपी कॉरपोरेट मामलों के मंत्रालय के संयुक्त निदेशक मंजीत सिंह, कॉरपोरेट मामलों की वरिष्ठ तकनीकी सहायक रूही अरोड़ा, कॉरपोरेट मामलों के मंत्रालय के संयुक्त निदेशक पुनीत दुग्गल और निजी संस्था आलोक इंडस्ट्रीज एसोसिएट के रेशमा रायजादा है.

सीबीआई ने अपनी FIR में कॉरपोरेट मामलों के मंत्रालय के उपरोक्त नामित अधिकारियों और निजी व्यक्तियों पर भ्रष्टाचार में लिप्त होने का आरोप लगाया है. साथ ही कॉरपोरेट मामलों के मंत्रालय की जांच किए जा रहे केस में पक्षपात करने के लिए व्यक्तियों से रिश्वत लेने का आरोप है.

CBI की FIR में आगे कहा गया है कि ऋषभ रायजादा आधिकारिक परिसमापक (MOCA) पुनीत दुग्गल के संपर्क में थे. रेशम रायज़ादा ने अहमदाबाद में दुग्गल को रिश्वत की रकम पहुंचाई. रूही अरोड़ा ने कथित तौर पर मंजीत सिंह को इस मामले में रेशम रायजादा की मदद करने के लिए राजी किया.

CBI ने खुलासा किया कि पुनीत दुग्गल ने रूही अरोड़ा को 27 जुलाई को फोन कर बताया कि सिंह को दी जाने वाली चार लाख की रिश्वत पैसा उनके (दुग्गल) आवास पर पहुंचा दिया गया है.

CBI ने भ्रष्टाचार और अवैध गतिविधियों में संलिप्त होने, साजिश रचने और अवैध व अनैतिक व्यावसायिक गतिविधियों से संबंधित मामले में मंत्रालय की जा रही जांच से संबंधित आलोक इंडस्ट्रीज की फाइलों में अनुग्रह के लिए निजी व्यक्ति से रिश्वत लेने के आरोप में गिरफ्तार किया है.