Cheated by Pretending to Make Him an IAS : युवक को IAS बनाने का झांसा देकर 7 लोगों ने ₹38 लाख ठगे, अब पुलिस के चंगुल में आए!

सीडीओ, डीएम, एसडीएम पद पर नियुक्ति का झांसा दिया, पुलिस में शिकायत न करने की धमकी भी दी!

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Cheated by Pretending to Make Him an IAS : युवक को IAS बनाने का झांसा देकर 7 लोगों ने ₹38 लाख ठगे, अब पुलिस के चंगुल में आए!

Sultanpur (UP) : आईएएस बनाने का झांसा देकर उत्तर प्रदेश के सुल्तानपुर में एक वकील, उसके बेटे और 5 अन्य लोगों ने लगभग 38 लाख रुपए की ठगी की। आरोपियों ने फर्जी एडमिट कार्ड, नकली अप्लाइंटमेट लेटर और फर्जी सरकारी सील लगाकर ठगी की। मामले की जांच जारी है। एसपी के निर्देश पर कोतवाली में आरोपियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है।

ठगी के शिकार प्रांजल त्रिपाठी ने बताया कि उन्होंने 2022 में यूपीएससी की प्रारंभिक परीक्षा दी थी। इस दौरान उनकी मुलाकात कूरेभार के पिपरी साईं नाथपुर निवासी वकील बजरंग द्विवेदी के पुत्र प्रणव द्विवेदी से हुई। प्रणव उनके घर आने-जाने लगा और उसने परिवार का विश्वास जीत लिया। प्रणव ने दावा किया कि उसके कई केंद्रीय मंत्रियों से संबंध हैं। वह कई लोगों को आईएएस-पीसीएस बनवा चुका है।

प्रणव ने 18 जनवरी 2023 को लखनऊ में प्रांजल को यूपीएससी मेन्स और इंटरव्यू का एडमिट कार्ड दिया। इस पर प्रांजल की फोटो लगी थी। आरोपी ने अलग-अलग बैंक खातों में पैसे मंगवाए। उसने अपने पिता बजरंग के खातों में 26.50 लाख, पड़ोसी मनीष दूबे के खाते में 7 लाख, मित्र श्रेयांश अग्रहरि के खाते में 80 हजार और दीपक पटेल की दुकान पर 2 लाख रुपए मंगवाए। इसके अलावा गूगल पे से 10,500 रुपये की ठगी की।

प्रणव ने अपने साथी राज मिश्रा के जरिए भारत सरकार की मुहर वाला फर्जी नियुक्ति पत्र भी दिया। इस पर नियुक्ति की तारीख 22 जून 2023 अंकित थी। हालांकि, वह नियुक्ति कराने में असफल रहा। आरोपी प्रणव ने अगस्त 2024 में पीड़ित के पड़ोसी मनीष दूबे को कूरेभार पेट्रोल पंप पर भारत सरकार की फर्जी मुहर वाला नियुक्ति पत्र दिलवाया। प्रणव ने पीड़ित को सीडीओ, डीएम, एसडीएम जैसे पदों पर नियुक्ति का झांसा दिया। उसने मीडिया या पुलिस में शिकायत न करने की धमकी भी दी और कहा कि ऐसा करने पर मंत्री और उनके पुत्र पूरे परिवार की हत्या करवा देंगे।

दिसंबर 2024 में प्रणव ने पीड़ित की बलेनो कार गिरवी रखने का प्रस्ताव रखा। उसने एक योजना बनाई जिसमें पैसों के लेन-देन से बड़ा ट्रांजैक्शन स्टेटमेंट तैयार किया जाना था। इसके लिए वह कभी पड़ोसी आशीष दूबे की डिजायर कार से आकर पैसों का बैग ले जाता तो कभी मनीष दूबे के माध्यम से पैसे मंगवाता। इस तरह 12-14 लाख रुपए का ट्रांजैक्शन स्टेटमेंट तैयार हुआ। अब प्रणव के पिता बजरंग इसी स्टेटमेंट के आधार पर पैसे देने का दावा कर रहे हैं। प्रणव ने कई फर्जी आरटीजीएस स्लिप भी भेजीं।

आरोपियों ने पीड़ित को कई बार लखनऊ में होटल और दीपक तिवारी के फ्लैट पर हफ्तों तक रुकवाया। शिकायतकर्ता के अनुसार, आरोपियों ने उनके परिवार से करोड़ों रुपए की ठगी की है। परिवार ने यह राशि कर्ज लेकर और गहने बेचकर जुटाई थी। प्रांजल का आरोप है कि आरोपी उन्हें आधी रात को पैसों के लिए बुलाते थे। लेकिन, खुद कभी नहीं आते थे। प्रणव द्विवेदी ने एक फर्जी एग्रीमेंट बनाकर पैसे न लौटाने की धमकी भी दी। शिकायतकर्ता के पास सभी चैट, स्क्रीन शॉट, कॉल रिकॉर्डिंग और बैंक स्टेटमेंट मौजूद हैं।

प्राजंल ने मामले की शिकायत एसपी कुंवर अनुपम सिंह से की। जिनके आदेश पर प्रणव द्विवेदी, बजरंग द्विवेदी, मनीष द्विवेदी, आशीष द्विवेदी, राज मिश्रा, श्रेयांश अग्रहरि और दीपक पटेल पर मामला दर्ज हुआ है। अपर पुलिस अधीक्षक अखंड प्रताप सिंह ने बताया कि कोतवाली नगर में एक व्यक्ति की शिकायत पर आईएएस बनाने के नाम पर 38 लाख की ठगी का मुकदमा दर्ज हुआ। इसकी जांच जारी है। प्रथम दृष्टया मामला संदिग्ध प्रतीत हो रहा है। बाकी साक्ष्य के आधार पर अग्रिम कार्रवाई की जाएगी। आरोपियों के गिरोह की आशंका है। यह भी पता लगाया जा रहा कि इन लोगों ने कितने युवकों को इस तरह का झांसा देकर ठगा है।