Cyclist Ankur Tanwar : आईटी प्रोफेशनल्, ज्योतिषाचार्य और साइकिलिस्ट अंकुर तंवर का धार में स्वागत किया!
धार से छोटू शास्त्री की रिपोर्ट
Dhar : धर्म और भक्ति का संदेश लेकर आईटी प्रोफेशनल, ज्योतिषाचार्य और साइकिलिस्ट अंकुर तंवर पुणे से 900 किलोमीटर की सायकल यात्रा कर शुक्रवार को धार पहुंचे। उनका शाम 4 बजे शहर के लालबाग में सुप्रभात क्लब एवं विभिन्न संगठनों द्वारा स्वागत किया गया।
धार जिला पत्रकार संघ के अध्यक्ष पंडित छोटू शास्त्री ने अंकुर तंवर जैसे युवा आईटी प्रोफेशनल का स्वागत करते हुए कहा कि आप जैसी युवा तरूणाई से ही भारत का भविष्य उज्जवल है। सर्व ब्राह्मण समाज के जिला कार्यकारी अध्यक्ष पंडित धर्मेन्द्र जोशी ने कहा कि अंकुर तंवर ने कोविड के समय राष्ट्रहित में जो संकल्प लिया था, वह देश के अन्य युवाओं के लिए प्रेरणादायी है।
बावीसा ब्राह्मण समाज के अध्यक्ष पंडित गोटू शुक्ला ने संबोधित किया। इस अवसर पर धार जिला क्रिकेट एसोसिएशन के अध्यक्ष प्रदीप जोशी, प्रकृति वात्सल्य गौशाला के सलिल यादव, करूण जोशी, निलेश जोशी, पवन अग्रावत उपस्थित थे।
इस अवसर पर अंकुर तंवर ने अपनी यात्रा संबंधित अनुभव भी साझा करें। पुणे से अंकुर तंवर अपनी साइकिल यात्रा में धार तक करीब 900 किलोमीटर से अधिक की यात्रा कर चुके हैं। वे इस यात्रा में अकेले ही चल रहे है।
इस साइकिल यात्रा के लिए उन्हें कोविड के दौरान मोटिवेशन मिला, जब सारे लोग परेशान थे तब उन्होंने मातारानी से प्रार्थना की थी। उन्होंने सोचा कि सब ठीक हो जाने पर वो कोशिश करेंगे कि इस पुणे से सड़क मार्ग पर पैदल यात्रा कर रास्ते में सभी देवी माताओं के दर्शन करते हुए अपने गृह नगर आलीराजपुर के समीपस्थ ग्राम मालवई की चामुंडा देवी जायेंगे। किन्तु अब वह पैदल यात्रा की जगह साइकिल यात्रा से इस अभियान को पूरा कर रहे हैं। वे आईटी प्रोफेशनल है, किन्तु देवी माताजी के परम भक्त होने से अब तक पुणे से नासिक, सप्तश्रृंगी, चाँदवड माँ रेणुका, धूलिया, माँ बिजासन सेंधवा, खलघाट में माँ नर्मदा के दर्शन कर इंदौर में माँ अन्नपूर्णा, देवास की माँ चामुण्डा के बाद उज्जैन में बाबा महाकाल के दर्शन करेंगे।
फिर उज्जैन से धार में कालिका माता के दर्शन करेंगे। यहाँ से होते हुए वे बाग़ में माता बागेश्वरी के दर्शन के बाद अपने गृह नगर आलीराजपुर के पास ग्राम मालवई में चामुण्डा माता के दर्शन कर अपनी एकल साइकिल यात्रा का समाप्त करेंगे।
उन्होंने बताया कि वे आलीराजपुर निवासी है तथा आईटी विशेषज्ञ हैं। वर्तमान में वे पुणे में कार्यरत है। वे 6 वर्ष तक अमेरिका में भी रहे है। हस्तरेखा और ज्योतिष के अच्छे जानकार है तथा ऑनलाइन काउंसिलिंग भी करते है। उन्हें आचार्य अंकुर की उपाधि प्राप्त है। अमेरिका में रहने के दौरान उन्होंने कैंसर सोसायटी आफ अमेरिका के एक डोनेशन कैम्प में लगभग 100 व्यक्तियों की पाम (हस्त) रीडिंग की थी तथा प्राप्त 10 हजार डॉलर भी कैंसर सोसायटी को दे दिए थे।
वे 22 और 42 किलोमीटर की मेराथन भी कर चुके हैं। जब भी समय मिलता है, तब वृद्धाश्रम और बच्चों के आश्रम में जाकर उनकी सेवा करते हैं। कविता सृजन उनका शौक है तथा पिछले वर्ष उनकी कविता संग्रह ‘मैं, कल आज और कल : जीवंत अनुभूतियां’ पुस्तक भी प्रकाशित हुई।