Dragon of Corruption : नीमच में भ्रष्टाचार की जांच की मांग को लेकर अजगर की तरह रेंगता हुआ पहुंचा एक युवक!

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Dragon of Corruption : नीमच में भ्रष्टाचार की जांच की मांग को लेकर अजगर की तरह रेंगता हुआ पहुंचा एक युवक!

उसका आरोप है कि पंचायत में गड़बड़ी की शिकायत पर शासन, प्रशासन के कोई कार्रवाई नहीं की!

देखिए, नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार की ‘एक्स’ पोस्ट!

Neemuch : जिले की कांकरिया तलाई पंचायत में निर्माण और विकास कार्यों के नाम पर तत्कालीन सरपंच और उसके पति पर करोड़ों के भ्रष्टाचार के आरोप गांव के मुकेश प्रजापति ने लगाए। मुकेश का कहना है कि उसने तथ्यों के साथ लोकायुक्त को भी शिकायत की, मुख्यमंत्री को भी अवगत कराया। लेकिन, नीमच प्रशासन से लेकर शासन तक कोई कार्रवाई नहीं कर रहा। इस मामले में नेता प्रतिपक्ष और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता उमंग सिंघार ने ‘एक्स’ पर प्रतिक्रिया व्यक्त की।

 

भ्रष्टाचार के खिलाफ जांच की मांग के हजारों आवेदन और सबूतों के दस्तावेज देने के बाद भी कार्रवाई नहीं होता देखकर मुकेश ने अनोखा तरीका निकाला। उसने आवेदनों और सबूतों के कागजों की लंबी माला बनाकर खुद पर लपेट ली और अजगर की तरह रेंगता हुआ कलेक्ट्रेट पहुंचा। उसने नवागत कलेक्टर से उसने जांच और सख्त कारवाई की मांग की।

CEO भी भ्रष्टाचार में लिप्त

मुकेश कहना है कि केवल कांकरिया तलाई में सवा करोड़ का भ्रष्टाचार हुआ, जिसके सबूत पेश किए, लेकिन इसकी जांच में भी भ्रष्टाचार हो रहा है। मुकेश ने तत्कालीन जिला पंचायत CEO गुरुप्रसाद के भी भ्रष्टाचार में लिप्त होने के आरोप लगाए और ED की जांच की मांग की। कलेक्ट्रेट में जब मुकेश प्रजापति आवेदनों की पूंछ बनाकर अजगर की तरह रेंगता हुआ आया तो उसके कपड़े भी फट गए। मुकेश को इस तरह से देख तमाशबीनों की भारी भीड़ जुट गई।

दोबारा जांच के आदेश

मुकेश को देख SDM ममता खेड़े और अन्य अधिकारी पहुंचे। उन्होंने मुकेश को समझाने का प्रयास किया। लेकिन, मुकेश का यही कहना था कि इतनी बार आने पर भी उसकी कोई सुनवाई नहीं हो रही। उसे न्याय चाहिए. मुकेश ने जिले के नवागत कलेक्टर हिमांशु चंद्रा को पूरा मामला बताया। कलेक्टर ने दोबारा पूरे मामले की जांच के निर्देश दिए।

मंदसौर में भी एक ने यही किया

मुकेश प्रजापति भ्रष्टाचार के अजगर के एक प्रतीक के रूप में सरकारी तंत्र को चेताने आया। उसका कहना है कि समय रहते कार्रवाई नहीं हुई तो यह अजगर व्यवस्था को निगल जाएगा। पड़ोसी जिले मंदसौर में भी इसी तरह एक पीड़ित किसान समस्या की सुनवाई न होने पर जनसुनवाई में जमीन पर लेटता हुआ पहुंचा था। जब यह मामला सरकार तक पहुंचा था।