8023 करोड़ की बिजली सब्सिडी अटकी, सबसे अधिक बकाया पश्चिम-मध्य क्षेत्र का

743
Electricity Rates Relief
Electricity Rates

8023 करोड़ की बिजली सब्सिडी अटकी, सबसे अधिक बकाया पश्चिम-मध्य क्षेत्र का

भोपाल:प्रदेश की तीनों ही विद्युत वितरण कम्पनी को राज्य सरकार ने अब तक 8 हजार 23 करोड़ रुपए की सब्सिडी का भुगतान नहीं किया है। सबसे अधिक सब्सिडी की राशि मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कम्पनी की बकाया है। इन हालातों में कम्पनियां कर्मचारियों को पेंशन और अन्य आर्थिक सेवाएं दे पाने में असहज महसूस कर रही है और इसके चलते इन विद्युत वितरण कम्पनियों की ओर से घाटे के चलते टैरिफ बढ़ाने को लेकर विद्युत नियामक आयोग में याचिका विचाराधीन है।

ऊर्जा विभाग के अफसरों के अनुसार प्रदेश की तीनों ही विद्युत वितरण कम्पनियों को सरकार की ओर से संबल योजना और इंदिरा ज्योति गृह योजना में सब्सिडी दी जा रही है और इसके बदले लाखों उपभोक्ताओं को सस्ती बिजली प्रदाय की जा रही है। सरकार की इस योजना का असर वितरण कम्पनियों की आर्थिक स्थिति पर पड़ रहा है।

सूत्रों का कहना है कि तीनों ही विद्युत वितरण कम्पनियों में पूर्व क्षेत्र विद्युत वितरण कम्पनी जबलपुर को राज्य शासन की ओर से अभी 933.17 करोड़ रुपए की सब्सिडी दिया जाना बाकी है। इसी तरह मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कम्पनी भोपाल को 3807.97 करोड़ और पश्चिम क्षेत्र विद्युत वितरण कम्पनी इंदौर को 3282.02 करोड़ रुपए सरकार की ओर से मिलना बाकी है। कुल 8023.16 करोड़ रुपए की सब्सिडी राशि का भुगतान न होने से कम्पनियों की बिजली की व्यवस्था करने के लिए वसूली पर जोर देने के साथ कर्ज लेने को मजबूर होना पड़ रहा है। इसके साथ ही उपभोक्ता पर टैरिफ भार बढ़ाने कर कर्ज कम करने के लिए भी कम्पनियों ने ऊजा विभाग के माध्यम से विद्युत नियामक आयोग को प्रस्ताव दिया है जिस पर जनवरी में अलग-अलग सुनवाई के बाद फैसला लिया जाएगा। समय पर सब्सिडी भुगतान नहीं होने का सीधा असर प्रदेश के ईमानदार बिजली उपभोक्ताओं पर पड़ना तय माना जा रहा है क्योंकि कम्पनियां अपने खर्चों की भरपाई के लिए हर माह बगैर सब्सिडी बिल चुकाने वाले उपभोक्ताओं पर वसूली के लिए दबाव बनाती हैं।