MP में चुनावी साल में कर्मचारियों को मिल सकती है बड़ी सौगात,जून से बढ़ाया जा सकता है 4 प्रतिशत महंगाई भत्ता

वित्त विभाग ने की तैयारी

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MP में चुनावी साल में कर्मचारियों को मिल सकती है बड़ी सौगात,जून से बढ़ाया जा सकता है 4 प्रतिशत महंगाई भत्ता

भोपाल। मध्य प्रदेश में चुनावी साल में कर्मचारियों को बड़ी सौगात मिल सकती है। माना जा रहा है कि राज्य सरकार इसी माह में कभी भी 4 प्रतिशत महंगाई भत्ता बढ़ा सकती है। महंगाई भत्ता बढ़ाने की मांग कर रहे कर्मचारियों को मध्‍य प्रदेश सरकार 42 प्रतिशत की दर से भत्ता दे सकती है। यह वृद्धि जून के वेतन, जो जुलाई में मिलेगा, से दी जा सकती है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार केंद्र सरकार द्वारा अपने कर्मचारियों को वर्तमान में 42% महंगाई भत्ता दिया जा रहा है और जुलाई में यह 4% और बढ़ने की पूरी पूरी संभावना है। मध्य प्रदेश की बात करें तो यहां पर कर्मचारियों को अभी 38% महंगाई भत्ता दिया जा रहा है। सरकार चाहती है कि केंद्र सरकार जब फिर से महंगाई भत्ता बढ़ाएंगी उसके पहले राज्य सरकार अपने कर्मचारियों को 4% महंगाई भत्ता बढ़ा दे ताकि वह फिलहाल केंद्र के समान हो जाए।

सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार वित्त विभाग ने अपने स्तर पर इसकी तैयारी कर ली है। इस संबंध में अंतिम निर्णय मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान द्वारा शीघ्र ही लिया जाएगा।

प्रदेश में नियमित, अध्यापक और पंचायतकर्मियों को मिलाकर साढ़े सात लाख कर्मचारी हैं। सातवां वेतनमान प्राप्त कर्मचारियों को जनवरी 2023 से 38 प्रतिशत की दर से महंगाई भत्ता मिल रहा है। जबकि, केंद्र सरकार इस अवधि में 42 प्रतिशत के हिसाब से भत्ता दे रही है।

छठवां वेतनमान प्राप्त कर्मचारियों को एक जनवरी से 212 प्रतिशत की दर से महंगाई भत्ता मिल रहा है। कर्मचारी संगठन काफी समय से केंद्रीय कर्मचारियों की तरह महंगाई भत्ता देने की मांग कर रहे हैं।

इसके लिए बजट में प्रावधान भी किया गया है। पिछले माह महंगाई भत्ता बढ़ाए जाने की संभावना थी लेकिन सरकार ने निर्णय नहीं लिया है। जबकि, केंद्रीय कर्मचारियों के महंगाई भत्ते में जुलाई में फिर वृद्धि संभावित है। इससे कर्मचारियों में नाराजगी बढ़ सकती है। इसे देखते हुए महंगाई भत्ता बढ़ाने की तैयारी की है।

सरकार यदि कर्मचारियों का महंगाई भत्ता और पेंशनर की महंगाई राहत में वृद्धि का निर्णय कर भी लेती है तो भी पेंशनर को फिलहाल उसका लाभ मिलेगा, इसमें संशय बना हुआ है। अभी प्रदेश के साढ़े चार लाख से अधिक पेंशनर को 33 प्रतिशत की दर से ही महंगाई राहत मिल रही है। इसमें पांच प्रतिशत की वृद्धि के लिए सरकार निर्णय ले चुकी है पर निर्णय पर आज तक अमल नहीं हो पाया।