

Explosion in Putin’s Convoy Car : रूसी राष्ट्रपति ब्लादिमीर पुतिन की सुरक्षा में सेंध, काफिले की कार में धमाका, पुतिन सुरक्षित!
Moscow : रूस के राष्ट्रपति ब्लादिमीर पुतिन के काफिले की ऑरस लिमोजिन कार में अचानक जोरदार धमाका हुआ। इसके बाद कार में आग लग गई। घटना रूस की सुरक्षा एजेंसी एफएसबी के मुख्यालय के पास हुई। इसके बाद हड़कंप मच गया। विदेशी मीडिया में खबर है कि पुतिन इस हमले के बाद सुरक्षित हैं और उन्हें कोई चोट नहीं आई।
अब तक मिली रिपोर्ट में यह नहीं बताया गया कि घटना के वक्त कार कौन चला रहा था। बताया जा रहा है कि रूसी राष्ट्रपति पुतिन को 275000 पाउंड वाली लिमोजिन कार काफी पसंद है। भारतीय मुद्रा में यह राशि लगभग ₹3.05 करोड़ होती है। पुतिन ने इसी तरह की कार उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग उन को भी उपहार में दी।
ब्लादिमीर पुतिन ने इस विस्फोट के बाद सीवर की तलाशी से लेकर अपने गार्डों की जांच के आदेश दिए। सोशल मीडिया पर घटना का वीडियो वायरल है। इसमें देखा जा सकता है कि आग इंजन से शुरू और तेजी से पूरी गाड़ी को अपनी चपेट में ले लिया। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, आग इंजन से निकली और फिर वाहन के अंदर तुरंत फैल गई। इस घटना के दौरान आस-पास के रेस्तरां में मौजूद लोग दमकल कर्मियों के आने से पहले मदद के लिए पहुंच गए। वीडियो में वाहन से घना काला धुआं निकलता हुआ दिखाई दिया।
यह घटना निस्संदेह पुतिन की अपनी सुरक्षा के बारे में चिंता को बढ़ाएगी। क्योंकि, वह यूक्रेन के साथ चल रहे संघर्ष के दौरान खुद को सुरक्षित रखने के लिए अतिरिक्त सावधानी बरतते हैं। इस बीच, एफएसओ अधिकारियों को कथित तौर पर उस स्थान के पास छिपे हुए बमों की खोज के लिए कचरा डंप और सीवर नालियों को खोलते हुए देखा गया, जहां राष्ट्रपति पिछले सप्ताह मास्को में एक कार्यक्रम स्थल पर भाषण दे रहे थे। मीडिया रिपोर्टों में कहा गया कि क्रेमलिन के एक करीबी सूत्र ने दावा किया है कि रूस की विशेष सेवाओं द्वारा पहले से ही सख्त सुरक्षा उपायों को अभूतपूर्व स्तर तक बढ़ा दिया गया है।
कीव इंडिपेंडेंट वेबसाइट के अनुसार, जेलेंस्की ने यूरोविजन न्यूज को दिए साक्षात्कार के दौरान कहा कि पुतिन जल्द ही मारे जाएंगे और युद्ध भी समाप्त हो जाएगा। इस धमाके ने रूस-यूक्रेन युद्ध के बीच पुतिन की सुरक्षा को लेकर गंभीर सवाल खड़े करती है। रूसी राष्ट्रपति की सुरक्षा विश्व की सबसे कड़ी सुरक्षा व्यवस्थाओं में से एक मानी जाती है। पुतिन की सुरक्षा दृश्यमान और अदृश्य गार्डों की एक पूरी सेना द्वारा की जाती है। जबकि, इस घटना ने उन व्यवस्थाओं में सेंध लगाने की संभावना को सामने ला दिया है।