

कृषकों के हित में सर्वश्रेष्ठ परियोजनाओं में से एक है एफडीपी वाड़ी कार्यक्रम – जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती पाटीदार
एफडीपी वाड़ी कार्यक्रम में मंदसौर जिले में 1200 वाड़ियों की स्थापना हुई
मंदसौर से डॉ घनश्याम बटवाल की रिपोर्ट
मंदसौर। मंदसौर जिले के गरोठ क्षेत्र के गुराडिया नरसिंह गांव में एफडीपी वाड़ी विकास कार्यक्रम की तीन वर्षों की सफल यात्रा का समापन एवं स्थायी हस्तांतरण समारोह आयोजित किया गया। यह कार्यक्रम एचडीएफसी बैंक परिवर्तन पहल के तहत बाएफ संस्था द्वारा जनवरी 2022 से मार्च 2025 तक 50 ग्रामों में संचालित किया गया, जिसका उद्देश्य किसानों को टिकाऊ कृषि और उच्च मूल्य वाली फसलों से जोड़ना था।
मुख्य अतिथि जिला पंचायत अध्यक्षा श्रीमती दुर्गा डॉ. विजय पाटीदार ने कहा कि परियोजना को देश की सर्वश्रेष्ठ योजनाओं में से एक बताते हुए किसानों को संगठित रूप से वैल्यू चेन डेवेलपमेंट पर ध्यान देने की सलाह दी। श्री पवन पाटीदार, राज्य प्रमुख, बाएफ लाइवलीहुड्स, भोपाल ने नाबार्ड के माध्यम से क्षेत्र को एफपीओ के रूप में विकसित करने और मंदसौर के संतरे को राष्ट्रीय पहचान दिलाई जायेगी।
परियोजना की उपलब्धियाँ परियोजना प्रबंधक श्री जे.एल. पाटीदार ने बताया कि एफडीपी वाडी कार्यक्रम के अंतर्गत 1200 वाड़ियों की स्थापना का लक्ष्य था, जिसे तीन वर्षों में चुनौतियों के बावजूद सफलतापूर्वक पूरा किया गया।
इस दौरान किसानों को ड्रिप इरिगेशन, जैविक खाद, प्राकृतिक कीट नियंत्रण तकनीकों और अंतरवर्ती फसल प्रणाली से जोड़ा गया, जिससे उनकी आय में वृद्धि हुई। परियोजना के तहत 182 प्रशिक्षण कार्यक्रम, 270 जागरूकता बैठकें और 43 एक्सपोजर विजिट आयोजित की गईं, जिससे किसानों की क्षमता में अभूतपूर्व वृद्धि हुई। स्थायी हस्तांतरण इस बात का प्रमाण है कि स्थानीय समुदाय और किसानों की भागीदारी से एक सफल एवं टिकाऊ कृषि मॉडल विकसित किया जा सकता है। यह पहल आत्मनिर्भरता और बाजार से जुड़ाव के नए अवसर प्रदान करेगी और किसानों को नई ऊंचाइयों तक पहुँचाने में मदद करेगी।
इस अवसर पर ग्रामीण क्षेत्रों के जनप्रतिनिधि, वाड़ियों के सदस्यों, महिलाओं और अन्य की बड़ी उपस्थिति रही।