Fraud with NRI : रूसी कौंसलेट ने अपने नागरिक के साथ हुई धोखाधड़ी को लेकर DGP को लिखा!

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Fraud with NRI : रूसी कौंसलेट ने अपने नागरिक के साथ हुई धोखाधड़ी को लेकर DGP को लिखा!

आरोप है कि कारोबारी के साझेदार ने गौरव अहलावत की कंपनी पर कब्जा कर लिया!

Indore : इंदौर में रहने वाले एनआरआई रूसी नागरिक गौरव अहलावत के साथ हुई धोखाधड़ी के मामले ने तूल पकड़ लिया। दूतावास के बाद अब कौंसलेट जनरल ऑफ द रशियन फेडरेशन ने इस मामले पर संज्ञान लिया है। मुंबई में रशिया के कौंसलेट जनरल ने मध्य प्रदेश पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) से दखल की अपील की।

विदेशी नागरिक के साथ उनके साझेदार संजय जेसवानी द्वारा की गई जालसाजी का मामला अंतरराष्ट्रीय सुर्खियां बटोर रहा है। आरोप है कि कारोबारी के साझेदार जीआरवी बिस्किट कंपनी के संचालक संजय जेसवानी ने गौरव अहलावत कंपनी पर कब्जा कर लिया है। उन्होंने इंदौर पुलिस से शिकायत दर्ज कराने की कोशिश की। आरोप है कि रूसी नागरिक की पुलिस ने सुनवाई नहीं की।

रूसी दूतावास ने मामले का संज्ञान लेते हुए गौरव अहलावत को इंदौर पुलिस से संपर्क करने के लिए पत्र भी जारी किया। पत्र में साफ कहा था कि स्थानीय पुलिस के उचित कार्रवाई नहीं करने पर गौरव अहलावत मुंबई में महावाणिज्य दूतावास से संपर्क करें। पुलिस मामले को लेकर जांच करने की बात करती रही। अब मुंबई स्थित कौंसलेट जनरल ऑफ द रशियन फेडरेशन ने पुलिस से मामले में एफआईआर दर्ज करने का आग्रह किया है।

रूसी नागरिक से धोखाधड़ी

पीड़ित गौरव अहलावत ने बताया कि इंदौर के कारोबारी संग साझेदारी की थी। व्यवसायी ने कथित रूप से कंपनी पर कब्जा कर गौरव अहलावत को बाहर कर दिया। उन्होंने कहा कि इंदौर में रहकर कारोबार शुरू किया। लेकिन, मेरे साथी ने मेरी कंपनी पर कब्जा कर लिया। मैंने पुलिस से शिकायत दर्ज कराने की कोशिश की। पुलिस से मदद नहीं मिलने पर दूतावास को मामले की जानकारी दी।

एसोसिएशन ऑफ इंडस्ट्रीज मध्य प्रदेश भी गौरव अहलावत के समर्थन में आई है। गौरव का कहना है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से प्रेरित होकर सोनीपत में फैक्ट्री शुरू करने के बाद कारोबार का विस्तार करने इंदौर आए थे। अब इंदौर में धोखाधड़ी का शिकार होना पड़ा है। लिहाजा पुलिस आयुक्त से शिकायत दर्ज कराई है। अहलावत ने पुलिस से जल्द न्याय दिलाने की मांग की।

जनसुनवाई में भी शिकायत

रूसी एनआरआई ने कन्फेक्शनरी कारोबारी के खिलाफ कलेक्ट्रेट की जनसुनवाई में भी शिकायत की। इसमें बताया गया कि कारोबारी ने उनके साथ करोड़ों की शेयर्स की धोखाधड़ी की और उन्हें तीन दिन तक बंधक बनाकर रखा। एनआरआई ने कारोबारी पर जान से मारने की धमकी के आरोप भी लगाएं।

पोस्टर दिखाकर कार्यवाही की मांग

गौरव अहलावत ने आरोप लगाया कि 10 सितंबर को जेसवानी ने उनकी कंपनी के 99% शेयर्स को नकली दस्तावेजों के जरिए आरओसी में ट्रांसफर कर अपने नाम करवा लिया। इसके बाद उनका शेयर घटाकर 23% कर दिया गया। इस धोखाधड़ी के बाद कंपनी पर अहलावत के अधिकार सीमित हो गए। ऐसे में वो डिसिजन मेकर नहीं बनते।