G 20 Summit: PM मोदी ने विदेशी नेताओं का स्वागत कोणार्क व्हील का प्रदर्शन कर किया!

जानिए, इसके पीछे क्या है भारत का महान संदेश!

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G 20 Summit: PM मोदी ने विदेशी नेताओं का स्वागत कोणार्क व्हील का प्रदर्शन कर किया!

New Delhi : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज G-20 Summit में भाग लेने आए सभी विदेशी अतिथियों का ‘भारत मंडपम’ में स्वागत हाथ जोड़कर और ओडिशा के कोणार्क मंदिर के चक्र (व्हील) का प्रदर्शन कर किया। मंच पर भारतीय विज्ञान और भारतीय संस्कृति का वैश्विक संयोजन दिखाई दिया। कोणार्क चक्र का निर्माण 13वीं शताब्दी में राजा नरसिम्हादेव-(प्रथम) के शासनकाल में किया गया था।

कोणार्क का चक्र की समय के कालचक्र के साथ प्रगति और निरंतर परिवर्तन का प्रतीक है। ये लोकतांत्रिक आदर्शों के लचीलेपन और समाज में प्रगति के प्रति प्रतिबद्धता को भी दर्शाता है। यह पहिया लोकतंत्र के शक्तिशाली प्रतीक के रूप में भी कार्य करता है।

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इसका खगोलीय महत्व

कहा जाता है कि मंदिर के वास्तुकारों ने धूप घड़ी बनाने के लिए खगोल विज्ञान के अपने ज्ञान का उपयोग किया था। इसका डिज़ाइन जटिल गणितीय गणनाओं पर आधारित है, जो पृथ्वी के घूमने और सूर्य, चंद्रमा और सितारों की गतिविधियों को ध्यान में रखता है। यह घड़ी दिन, वर्ष और सूर्य की गति को ट्रैक कर सकता है।

कोणार्क धूप घड़ी का उपयोग सूर्य की स्थिति के आधार पर दिन के सटीक समय की गणना के लिए किया जाता था। यह चक्र अविश्वसनीय सटीकता के साथ तैयार किया गया था। इसकी जटिल डिजाइन में सूरज की रोशनी को इसके माध्यम से गुजरने और छाया डालने की व्यवस्था दी। इसका उपयोग सटीक समय निर्धारित करने के लिए किया जा सकता था। यह भी कहा जाता है कि कोणार्क का यह चक्र जीवन, मृत्यु और पुनर्जन्म के चक्र का प्रतीक है।