क्या है’Hit and Run’ पर नया कानून जिसके खिलाफ विरोध-प्रदर्शन कर रहे हैं ट्रांसपोर्टर?

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क्या है ‘Hit and Run’ पर नया कानून जिसके खिलाफ विरोध-प्रदर्शन कर रहे हैं ट्रांसपोर्टर?

देश भर में कई ट्रांसपोर्टर और ऑटो ड्राइवर एसोसिएशन हिट एंड रन की घटनाओं को लेकर नए कानून के खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। दरअसल, बीते दिनों भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) के स्थान पर अब भारतीय न्याय संहिता लाई गई है।

इसके तहत ऐसे वाहन चालकों के लिए 10 साल तक की सजा या सात लाख रुपये तक के जुर्माने का प्रावधान किया गया है जो लापरवाही भरी ड्राइविंग के चलते गंभीर सड़क हादसे का कारण बनते हैं और बिना पुलिस या किसी प्रशासनिक अधिकारी को जानकारी दिए भाग जाते हैं।

 

पहले था दो साल के कारावास का प्रावधान

पहले ऐसे मामलों में आईपीसी के तहत दो साल तक की सजा का प्रावधान था। इस कानून को लेकर निजी ट्रांसपोर्ट ऑपरेटर्स का दावा है कि यह कानून चालकों को हतोत्साहित करता है और इसके तहत मिलने वाली सजा अन्यायपूर्ण हो सकती है।

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उन्होंने यह दावा करते हुए कानून को वापस लेने की मांग की है कि घायल व्यक्ति को अस्पताल ले जाने की कोशिश में ड्राइवर मॉब लिंचिंग (भीड़ हिंसा) का शिकार हो सकते हैं।

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नए कानून पर पहले चर्चा करनी चाहिए थी

ऑल इंडिया मोटर एंड गुड्स ट्रांसपोर्ट एसोसिएशन के अध्यक्ष राजेंद्र कपूर ने इन प्रदर्शनों को लेकर कहा कि हमारी सरकार से केवल इतनी मांग है कि फैसला हमारे हिस्सेदारों के साथ विचार-विमर्श करने के बाद लिया जाना चाहिए। इस बारे में किसी के साथ कोई चर्चा नहीं हुई और न किसी से कुछ पूछा गया।

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कपूर ने आगे कहा कि अब भ्रम की स्थिति बन गई है। लोग नए कानून के बारे में पूरी तरह से जागरूक नहीं हैं। गृह मंत्री अमित शाह ने केवल लोकसभा में नए कानून पर बात की। मंत्री भी अभी पूरी तरह से नए कानून को नहीं जानते हैं। हालांकि, उन्होंने कहा कि उनकी एसोसिएशन ने कोई प्रदर्शन नहीं किया गया है।

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मध्य प्रदेश में चालकों ने किया चक्का जाम

बता दें कि इसे लेकर देश के विभिन्न राज्यों में प्रदर्शन हुए। मध्य प्रदेश में इस कानून के खिलाफ निजी बस और ट्रक चालकों ने चक्का जाम कर दिया। छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में भी इसी तरह का विरोध-प्रदर्शन किया गया। वहीं, प्रदर्शन के चलते महाराष्ट्र के नागपुर में पेट्रोल पंपों पर लोगों की लंबी कतारें लगी देखी गईं।

इसके साथ ही ऑल जम्मू एंड कश्मीर ऑयल टैंकर्स एसोसिएशन के सदस्यों ने भी इस कानून के विरोध में प्रदर्शन किया। पटियाला में भी पेट्रोल पंपों पर लंबी कतारें देखी गईं। भोपाल में बस चालक अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले गए हैं। वहीं, सोमवार को ट्रक चालकों ने आगरा-दिल्ली राष्ट्रीय हाईवे को भी जाम कर दिया था।