INCOVACC Launch:देश को मिला कोरोना के खिलाफ एक नया नेजल वैक्सीन

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INCOVACC Launch:देश को मिला कोरोना के खिलाफ एक नया नेजल वैक्सीन

26 जनवरी को भारत बायोटेक की देश की पहली नेजल वैक्सीन लॉन्च की गई है. यह वैक्सीन देश मेंकोरोनाके खिलाफ जंग में बहुत ही मददगार साबित होगी.

केंद्रीय स्वस्थ्य मंत्री डॉक्टर मनसुख मंडाविया और साइंस और टेक्नोलॉजी मंत्री जितेंद्र सिंह ने यह वैक्सीन लॉन्च की है. इस वैक्सीन का नाम iNCOVACC रखा गया है. यह पूरी दुनिया की पहली कोरोना वायरस की नेजल वैक्सीन है. इस वैक्सीन को कोवैक्सीन और कोवीशील्ड के डोज लेने वाले लोग बूस्टर डोज के तौर पर ले सकेंगे.

मंडाविया और सिंह ने यह वैक्सीन एक इवेंट के दौरान लॉन्च की है. यह वैक्सीन प्राइवेट हॉस्पिटल्स में 800 रुपये प्रति शॉट के हिसाब से उपलब्ध होगी वहीं सरकारी हॉस्पिटल्स के लिए यह सिर्फ 325 रुपये प्रति शॉट के हिसाब से उपलब्ध कराई जाएगी. बता दें कि इस वैक्सीन को लॉन्च करने के लिए पहले ही भारत बायोटेक ने सूचना जारी की थी. हैदराबाद स्थित भारत बायोटेन ने इस वैक्सीन को वॉशिंगटन स्कूल ऑफ मेडिसिन के साथ मिलकर डेवलप किया है. नाक के जरिए स्प्रे करके ली जाने वाली यह वैक्सीन प्राइमरी और बूस्टर डोज के तौर पर ली जा सकती है.

भारत सरकार से पिछले साल 23 दिसंबर को इस वैक्सीन को उपयोग के लिए मंजूरी दी थी. लॉन्चिंग से पहले यह बताया गया था कि इस वैक्सीन को सबसे पहले प्राइवेट हॉस्पिटल्स में उपलब्ध कराया जाएगा. बाकी दो वैक्सीन की तरह ही इस वैक्सीन के डोज लगवाने के लिए कोविन वेबसाइट से ही स्लॉट बुक किया जा सकेगा. यहां जानिए इस नेजल वैक्सीन के जबरदस्त फायदे…

कैसे कराएं स्लॉट बुक

https://www.cowin.gov.in/ वेबसाइट पर जाएं. कोविन में लॉगिन करने के लिए अपने रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर डालें. अगरआप पहले से यहां रजिस्टर्ड हैं, तो OTP का उपयोग करके लॉगिन करें. CoWIN लॉगिन करने के बाद शेड्यूल ऑप्शन सर्च करें. यहां आप दो तरीकों से पिनकोड या जिले के नाम का उपयोग करके टीकाकरण केंद्र सर्च करें. इसके बाद अपनी सेंटर चुनें और नेजल वैक्सीन बूस्टर डोज के लिए अपनी पसंदीदा तारीख और समय चुनें फिर इसे कंफर्म करें. इसके बाद आपकों iNCOVACC की बुकिंग के लिए पेमेंट करना होगा. पेमेंट हो जाने के बाद iNCOVACCके लिए आपका स्लॉट बुक हो जाएगा.

  1. नेजल वैक्सीन वह वैक्सीन होती है जिसे सीधे नाक के जरिए दिया जाता है. इसे किसी को भी बहुत ही आसानी से दिया जा सकता है. इसमें इंट्रानेजल वैक्सीन कहा जाता है. अब किसी को भी इसका डोज देने के लिए किसी तरह के इंजेक्शन लगाने की जरूरत नहीं पड़ेगी.
  2. इस नेजल वैक्सीन की खासियत यह है कि इसे सामान्य तौर पर कोरोना की बूस्टर डोज के तौर पर या फिर प्राइमरी वैक्सीन के तौर पर दिया जा सकता है. कोवैक्सीन और कोवीशील्ड दोनों ही वैक्सीन के लेने वालों के लिए यह नेजल वैक्सीन बूस्टर के तौर पर दी जा सकती है.
  3. यह खास वैक्सीन इन्फेक्शन और ट्रांसमिशन के खिलाफ भी बहुत असरदार साबित होगी. इसे नाक के जरिए दिया जाता है इसलिए यह सीधे तौर पर उस जगह असर करेगी जहां पर कोरोना का वायरस सबसे तेजी से फैलता है. इसलिए यह माना जा रहा है कि यह पहले की वैक्सीन की तुलना में ज्यादा असरदायक होगी. वहीं इसे इंजेक्शन के जरिए दिया जाता है तो इंजेक्शन के जरिए फैलने वाले इन्फेक्शन का खतरा भी इसमें काफी कम हो जाएगा.
  4. इस वैक्सीन को लगाने के लिए हेल्थ वर्कर्स को ट्रेनिंग देने की जरूरत नहीं पड़ेगी. क्योंकि इसे सीधे तौर पर नाक से दिया जाना है. वहीं इसका दूसरा बड़ा फायदा ये होगा कि इसके स्टोरेज की समस्या भी कम होगी. फिलहाल जिन वैक्सीन को लगाया जा रहा है उनके स्टोरेज के लिए सरकार को काफी मशक्कत करनी पड़ रही है.
  5. इससे पहले जो वैक्सीन लगाई जा रही है उसकी एक शीशी में कई डोज होते हैं जो कि एक बार खुलने के बाद ज्यादा समय तक नहीं चलती है. वहीं इसका यह फायदा होगा कि वैक्सीन का वेस्टेज भी कम होगा. वहीं यह नाक के जरिए सीधे अंदर जाएगी तो नाक से फैलने वाला संक्रमण का खतरा भी कम होगा.