तमिल ऐक्टर-पॉलिटीशियन खुशबू सुंदर का पिता के खिलाफ दिया गया बयान सुर्खियों में है। एक इंटरव्यू के दौरान खुशबू ने बताया था कि 8 साल की उम्र से उनके पिता उनका यौन शोषण कर रहे थे।
उन्होंने बताया था कि किस तरह उनके पिता उनकी मां और उनके साथ दरिंदगी करते रहे। खुशबू के इस बयान पर तरह-तरह की प्रतिक्रियाएं आईं। लोगों ने उनके साहस की सराहना भी की। बाद में खुशबू ने इस पर कुछ और भी कहा।
अत्याचारी को शर्मिंदा होना चाहिए
खुशबू सुंदर ने पिता के अत्याचार को जिस हिम्मत के साथ दुनिया के सामने रखा, उसकी हर कोई तारीफ कर रहा है। स्टेटमेंट चर्चा में आने के बाद खुशबू ने एएनआई से कहा, मैंने कोई चौंकाने वाला बयान नहीं दिया है। मैंने ईमानदारी के साथ अपनी बात रखी और मैंने जो कहा उस पर जरा भी शरम नहीं है। अत्याचार करने वाले को शर्मिंदा होना चाहिए। मुझे इस बारे में बोलने में इतने साल लग गए, मुझे लगता है कि महिलाओं को इस बारे में बोलना चाहिए।
7 साल तक सहा शोषण
खुशबू ने बरखा दत्त के साथ प्रोग्राम We The women में बचपन में हुए यौन शोषण पर खुलकर बात की थी। उन्होंने कहा था, मुझे लगता है कि जब किसी बच्चे का शोषण होता है तो घाव जीवनभर रहते हैं, चाहे वो लड़का हो या लड़की। मेरी मां की शादी बहुत शोषण वाली रही। उस आदमी को शायद लगता था कि अपनी पत्नी, बच्चों को पीटना और अपनी इकलौती बेटी का यौन शोषण करना उसका जन्मसिद्ध अधिकार है। जब मेरा शोषण शुरू हुआ तो मैं महज 8 साल की थी। खुशबू ने बताया कि वह 15 साल की उम्र तक इसके खिलाफ बोलने की हिम्मत नहीं जुटा पाई थीं। उन्हें लगता था कि उनकी मां उनका यकीन नहीं करेंगी। वजह यह थी कि वह ऐसे माहौल में बड़ी हुई थीं जहां पति को देवता समझा जाता था।
खुशी है कि छोड़ गए पिता
खुशबू को इस बात की भी खुशी है कि उन्होंने शोषण के खिलाफ आवाज उठाई और उनके पिता छोड़कर चले गए। उन्होंने कहा कि अगर वह साथ होते तो वह यहां तक कभी न पहुंच पातीं। खुशबू फिल्म एक्टर, प्रोड्यूसर, टीवी प्रजेंटर हैं। उन्होंने डीएमके जॉइन की इसके बाद कांग्रेस चली गईं और वहां पार्टी की प्रवक्ता बनीं। इसके बाद उन्होंने बीजेपी का दामन थामा।