Kissa-A-IAS: Kanishak Kataria: 1 करोड़ का पैकेज छोड़ UPSC दी और रैंक 1 हासिल की! 

3373

Kissa-A-IAS: Kanishak Kataria: 1 करोड़ का पैकेज छोड़ UPSC दी और रैंक 1 हासिल की! 

प्रतिभा कभी किसी अच्छे समय का मोहताज नहीं होती, जहां भी मौका मिलता है, उसकी चमक सामने आ ही जाती है। कुछ ऐसी ही कहानी राजस्थान के रहने वाले आईआईटी-बॉम्बे के छात्र रहे कनिष्क कटारिया की है। यूपीएससी परीक्षा क्रेक करने की उनकी जर्नी किसी प्रेरणा से कम नहीं। कनिष्क का ध्यान यूपीएससी परीक्षा पास करने पर इतना फोकस था कि उन्होंने अपनी लाखों की सैलरी वाली नौकरी छोड़ने का फैसला किया और 2019 में ऑल इंडिया रैंक 1 हासिल करने में सफल रहे।

Kissa-A-IAS: Kanishak Kataria: 1 करोड़ का पैकेज छोड़ UPSC दी और रैंक 1 हासिल की! 

कनिष्क राजस्थान के कोटा के रहने वाले हैं। उनकी स्कूली शिक्षा सेंट पॉल सीनियर सेकेंडरी स्कूल से हुई। वे पढाई में अच्छे थे और उन्हें आईआईटी जेईई (2010) में 44वीं रैंक मिली। वे कंप्यूटर साइंस में बीटेक और एप्लाइड स्टैटिस्टिक्स में बीटेक पूरा करने के लिए इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (आईआईटी) बॉम्बे चले गए। आईआईटी की पढाई के बाद उन्होंने अपने करियर की शुरुआत दक्षिण कोरिया की मशहूर इलेक्ट्रॉनिक्स कंपनी सैमसंग में डेटा साइंटिस्ट के तौर पर की। लेकिन, मन नहीं लगा तो कुछ साल बाद भारत लौट आए और बेंगलुरु में एक अमेरिकी स्टार्टअप कंपनी जॉइन की। कनिष्क बताते हैं कि कहीं न कहीं उनके मन में एक इच्छा थी कि वे यूपीएससी परीक्षा पास कर अपने पिता और चाचा की तरह सिविल सर्विस में जाएं।

Kissa-A-IAS: Kanishak Kataria: 1 करोड़ का पैकेज छोड़ UPSC दी और रैंक 1 हासिल की! 

कनिष्क को इस नौकरी से लाखों का पैकेज मिल रहा था। लेकिन, उन्होंने नौकरी छोड़कर यूपीएससी परीक्षा की तैयारी करने का फैसला किया। उन्होंने कुछ महीने दिल्ली के एक कोचिंग सेंटर में पढ़ाई की और सेल्फ स्टडी के लिए कोटा चले आए। UPSC मेंस के लिए उन्होंने रोज 13-14 घंटे पढ़ाई की। मेंस एग्जाम से 2 महीने पहले उन्होंने खुद को सोशल मीडिया से पूरी तरह से दूर कर लिया था। उन्होंने रिजल्ट के बारे में कभी ज्यादा नहीं सोचा, केवल परीक्षा और तैयारी पर फोकस किया। आखिरकार उनकी कड़ी मेहनत रंग लाई और UPSC-2019 में ऑल इंडिया रैंक-1 हासिल की और IAS अधिकारी बन गए।

Kissa-A-IAS: Kanishak Kataria: 1 करोड़ का पैकेज छोड़ UPSC दी और रैंक 1 हासिल की! 

*पिता भी IAS अधिकारी* 

WhatsApp Image 2024 09 22 at 8.18.20 PM

पिता के लिए इससे बढ़कर खुशी की बात और क्या होगी कि बेटा उन्हीं के नक्शे कदम पर चलकर कामयाब हो। उनके पिता सांवरमल प्रमोटी IAS हैं। जबकि, कनिष्क पहले प्रयास में यूपीएससी-2019 के टॉपर बन गए। पिता-पुत्र की यह IAS जोड़ी 2023 में वेतन श्रृंखला के मामले में एक साथ पदोन्‍नत हुई। यह जानकारी खुद IAS कनिष्क कटारिया ने सोशल मीडिया पर दी। कनिष्क कोटा जिले के रामगंज मंडी में एसडीओ (SDM) के पद के बाद CEO जिला पंचायत अलवर रहे। वर्तमान में वे राजस्थान सरकार में पर्सनल डिपार्टमेंट (DoP) में ज्वाइंट सेक्रेटरी हैं। कनिष्क कटारिया के पिता सांवरमल संभाग आयुक्त भरतपुर हैं।

Kissa-A-IAS: Kanishak Kataria: 1 करोड़ का पैकेज छोड़ UPSC दी और रैंक 1 हासिल की! 

*सपोर्ट के लिए गर्लफ्रेंड को धन्यवाद* 

कनिष्क ने UPSC क्लियर करने के बाद अपनी इस सफलता के लिए गर्लफ्रेंड सोनल को धन्यवाद दिया। दरअसल, कनिष्क ने जब यूपीएससी परीक्षा की तैयारी का मन बनाया, तो गर्लफ्रेंड ने उनका साथ दिया। यही वजह थी कि कनिष्क विदेश में एक करोड़ रुपए का पैकेज छोड़कर भारत लौट आए और पहले ही प्रयास में परीक्षा पास कर एक बड़ा मुकाम हासिल किया। कनिष्क ने कहा ‘ये बहुत ही आश्चर्यजनक पल हैं। मैंने कभी नहीं सोचा था कि इस परीक्षा में मुझे टॉप रैंक मिलेगी। मैं अपने माता-पिता, बहन और अपनी गर्लफ्रेंड को मदद और सपोर्ट के लिए धन्यवाद देता हूं।’

Author profile
Suresh Tiwari
सुरेश तिवारी

MEDIAWALA न्यूज़ पोर्टल के प्रधान संपादक सुरेश तिवारी मीडिया के क्षेत्र में जाना पहचाना नाम है। वे मध्यप्रदेश् शासन के पूर्व जनसंपर्क संचालक और मध्यप्रदेश माध्यम के पूर्व एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर रहने के साथ ही एक कुशल प्रशासनिक अधिकारी और प्रखर मीडिया पर्सन हैं। जनसंपर्क विभाग के कार्यकाल के दौरान श्री तिवारी ने जहां समकालीन पत्रकारों से प्रगाढ़ आत्मीय रिश्ते बनाकर सकारात्मक पत्रकारिता के क्षेत्र में महती भूमिका निभाई, वहीं नए पत्रकारों को तैयार कर उन्हें तराशने का काम भी किया। mediawala.in वैसे तो प्रदेश, देश और अंतरराष्ट्रीय स्तर की खबरों को तेज गति से प्रस्तुत करती है लेकिन मुख्य फोकस पॉलिटिक्स और ब्यूरोक्रेसी की खबरों पर होता है। मीडियावाला पोर्टल पिछले सालों में सोशल मीडिया के क्षेत्र में न सिर्फ मध्यप्रदेश वरन देश में अपनी विशेष पहचान बनाने में कामयाब रहा है।