Marriage of Minor Stopped : नाबालिग का विवाह रोका, लड़की अड़ी रही

16 साल की लड़की का 29 साल के युवक से प्रेम विवाह सगाई में बदला

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Indore : पटेल नगर के हबलानी परिसर एक नाबालिग की शादी को रोका गया। लड़की के माता-पिता ने बताया कि लड़की की उम्र 16 वर्ष है और दूल्हे की 29 वर्ष है और वे अपनी मर्जी से शादी कर रहे हैं।

शिकायत मिलने पर बाल विवाह विरोधी उड़नदस्ता प्रभारी, लाडो अभियान कोर ग्रुप, चाइल्ड लाइन और जूनी इंदौर पुलिस मौके पर पहुंचे पर शादी रुकवाई। अंत में शादी समारोह सगाई में बदल गया।

हबलानी परिसर में जब दस्ता पहुंचा तो वहां पर मेहमान जमा होने लगे थे बारात की भी तैयारी पूरी हो गई थी। किंतु, दस्ते के पहुंचने के बाद कार्यवाही की जानकारी मिलने पर तुरंत बैंड वालों को वापस भेज दिया गया। न तो कोई आयोजन हो सका और न बारात निकली।

नाबालिग वधू ने बताया कि वह यह शादी अपनी मर्जी से कर रही है उन दोनों का प्यार पिछले 2 साल से चल रहा है। जब उड़नदस्ता प्रभारी महेंद्र पाठक ने बाल विवाह प्रतिषेध अधिनियम की जानकारी दी और चाइल्ड लाइन की सुनीता राय महिला एवं बाल विकास विभाग के क्षेत्रीय परियोजना अधिकारी मनोज डांगे ने उसे समझाया कि यह विवाह अभी नहीं हो सकता।

इस पर नाबालिग कहने लगी कि शादी नहीं हुई तो क्या लिव इन में रह लेगी। दल ने इस तरह से रहने की अनुमति देने से भी इनकार कर दिया।

बाल विवाह को लेकर जब दल सदस्य परिजनों को समझाई दे रहे थे, तो हबलानी परिसर के संचालक और रसोई बनाने वाले भी वहां उपस्थित थे।

उन्हें बाल विवाह में सेवाएं देने पर होने वाली सजा और जुर्माना की जानकारी देने पर उन्होंने सेवाएं देने से मना कर दिया।

अधिनियम की धारा 11 में बाल विवाह में शामिल होने वालो पर की जाने वाली कार्रवाई की जानकारी पाकर मेहमान भी धीरे-धीरे वहां से निकल गए। रात के समय मात्र 50 मेहमान ही सगाई समारोह में नजर आए।

परिसर संचालक ने तुरंत ही आयोजकों को बुलाकर कहा कि यह शादी नहीं हो सकती। सगाई के लिए ही अनुमति रहेगी। उन्होने तुरंत ही निगरानी के लिए गार्ड को भी वहां बैठा दिया।

लाडो अभियान कोर ग्रुप सदस्य देवेंद्र कुमार पाठक ने बताया कि समझाने के बाद परिजन मान गए और विवाह को निरस्त करते हुए सगाई समारोह आयोजित किया। सगाई के दौरान भी दल सदस्य मौके पर उपस्थित रहे कहीं सगाई के बहाने विवाह न हो। इसे लेकर देर रात तक नजर रखी गई।

परिजनों ने शपथ पत्र देकर कहा है कि जब तक बालिका की उम्र विवाह के योग्य नहीं होती, तब तक उसका विवाह नहीं करेंगे। उन्होंने बताया कि बालिका के माता-पिता ने भी प्रेम विवाह किया था इसलिए वे इसके विरोध में नहीं है।