रतलाम से रमेश सोनी की रिपोर्ट
रतलाम. रतलाम के नगर निगम में किसी भी व्यक्ति को कोई काम करवाना है, तो आसानी से पुरा हों जाना आपका सौभाग्य है, और नहीं हुआ तो चक्कर लगाते लगाते आपकी चप्पलों के तले घिस जाना हर हाल में संभव है।
शहर के एक सेवानिवृत्त, अधिकारी के साथ भी ऐसा ही हो रहा था, जो वृद्धावस्था में पिछले दो सालों से अपने निवास के नामांतरण को लेकर निगम के चक्कर लगाते लगाते थक हार चुके थे।
यह बात नवनिर्वाचित महापौर प्रहलाद पटेल तक पहुंची तो उन्होंने उसी समय इस संदर्भ में संपत्ति कर विभाग में पहुंच कर वहां के हालात देखें तो विभाग की कई टेबलों पर अधिकारी को नदारद देखकर उन्होंने नाराजगी जताई। नामांतरण की फाइल रोकने पर उन्होंने अधिकारियों को लताड़ लगाई कि आप लोग काम करने के लिए बैठे हैं या मजे लेने के लिए?
बता दें कि महापौर प्रहलाद पटेल दोपहर लगभग 12:00 बजे अचानक संपत्ति कर विभाग में पहुंचे थे। रतलाम जनसंपर्क विभाग से सेवानिवृत्त एक अधिकारी उनके पास शिकायत लेकर पहुंचे थे कि 2 साल से उनका नामांतरण का प्रकरण अटका हुआ हैं और उन्हें चक्कर लगवाए जा रहे हैं।
शिकायत मिलने पर महापौर प्रहलाद पटेल स्वयं संपत्ति कर विभाग में पहुंच गए और नामांतरण अटकाने की वजह जानना चाही। यहां कई टेबल पर कर्मचारी को अनुपस्थित देख पटेल नाराज हुए। पटेल ने निगमायुक्त से भी फोन पर इस मामले को लेकर चर्चा की। महापौर ने नामांतरण की फाइल का निराकरण कर उन्हें पहुंचाने के निर्देश उपस्थित कर्मचारियों को दिए। उन्होंने संबंधित अधिकारी को निर्देश दिए कि अब नामांतरण की फाइल का समय पर निराकरण कर उन्हें अवगत कराया जाए। ऐसे में दो वर्षों से चक्कर लगाने वाले वृद्ध को नामांतरण को लेकर आस बंधी है।