मोदी का बजट, शिव का विकास, राव का जात और कांग्रेस का घर-घर चलो पर फोकस …

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पांच राज्यों में चुनाव की चर्चा बजट के मुकाबले फिलहाल फीकी पड़ रही है। उत्तर प्रदेश से यह खबरें सामने आई हैं कि योगी का पर्चा भरवाने शाह साथ जाएंगे तो कांग्रेस ने अखिलेश यादव के खिलाफ खड़ी महिला प्रत्याशी का टिकट वापस ले लिया है। मध्यप्रदेश में ओरछा और दतिया से चर्चा है कि उमा भारती कह रही हैं कि 14 फरवरी को हवन-पूजन करेंगी।
उसके बाद शराबबंदी पर बोलेंगीं और पार्टी उत्तर प्रदेश-उत्तराखंड जहां भी भेजेगी, वहां प्रचार के लिए जाएंगीं। तो उन्होंने कहा है कि उत्तरप्रदेश में सपा-बसपा सब बैकफुट पर हैं, भाजपा पिछले चुनाव से ज्यादा सीट जीतकर सरकार बनाएगी। तो यह दावा भी किया कि जिस तरह आजादी के बाद कांग्रेस का बोलबाला रहा, वही बात अब भाजपा पर लागू होती है। फिलहाल तो आम बजट के अगले दिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भाजपा कार्यकर्ताओं से कहा है कि बजट के बारे में लोगों को जागरूक करें।
मध्यप्रदेश में विभागीय समीक्षा करते हुए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने विकास पर फोकस किया है। तो भाजपा बूथ विस्तारक अभियान में प्रदेश प्रभारी मुरलीधर राव ने जात और अखबार-पत्रकार पर बयान देकर फिर अपनी प्रभावी उपस्थिति दर्ज कराई है। वहीं कांग्रेस का घर चलो, घर-घर चलो अभियान दूसरे दिन जारी रहा।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को देश भर के पार्टी कार्यकर्ताओं को आत्मनिर्भर अर्थव्यवस्था को लेकर बजट के बारे में संवाद किया। मोदी ने कहा कि आम बजट में केन-बेतवा लिंक परियोजना मध्यप्रदेश और उत्तरप्रदेश के बुंदेलखंड क्षेत्र के लिए बेहद महत्वपूर्ण साबित होगी। इस परियोजना से किसानों को भरपूर लाभ होगा।
किसानों के खेतों तक पानी पहुंचाने का यह आधुनिक युग का भागीरथ काम है। अब बुंदेलखण्ड के खेतों में हरियाली आयेगी। उन्होंने कहा कि सेवा भाव से हम गरीबों की सेवा में जुटे हैं, उसे देश देख रहा है। हम सभी कार्यकर्ताओं का दायित्व है कि सरकार की योजनाओं के बारे में लोगों को ज्यादा से ज्यादा जागरूक करें। बजट के बारे में लोगों को जागरूक करते हुए इसका लाभ नीचे तक पहुंचे, इसकी चिंता करें।
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बुधवार को कई विभागों की समीक्षा कर विकास पर फोकस किया। कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति का तेजी से क्रियान्वयन हो। ट्रेनिंग को संस्थागत रूप दें। सीएम राइज़ स्कूल का सफल क्रियान्वयन सुनिश्चित हो। नई शिक्षा नीति के क्रियान्वयन में हम कौनसे नम्बर पर हैं, इसे ध्यान में रखकर काम करते जाएं। बताया कि योग आयोग का गठन जल्द करेंगे।
40 हजार करोड़ का बजट घर-घर जल पहुंचाने के लिए खर्च कर रहे हैं। लोगों को पूरी योजना की जानकारी हो। बड़ी चुनौती और अवसर हमारे सामने केन-बेतवा लिंक की है, उसे प्रमुखता से लेना चाहिए। इसका बड़ा लाभ मध्यप्रदेश को मिलने जा रहा है।विश्वास जताया कि मध्यप्रदेश के बेटे गजब ढा देंगे। 76000 विद्यार्थियों ने जैविक खेती को चुना है, यह बड़ी बात है। नई स्टार्टअप नीति और एक्यूबेशन को जोड़कर काम करें।
हर गांव में बच्चो के पास खेल का मैदान हो। हर आंगनवाड़ी का अपना भवन होना चाहिए। हर गांव में 100 से ज्यादा लाडलियाँ होंगी, उनके साथ हमें कनेक्ट करना है। लाडली लक्ष्मी योजना – 2 भी जल्द सामने आएगी। हेल्थ और महिला बाल विकास विभाग मिलकर काम करें।  मंत्रियों-अफसरों को साथ में बैठाकर शिवराज ने विकास पर सामूहिक तौर पर चर्चा की और नसीहतें भी दीं।
वहीं भाजपा के बूथ विस्तारक अभियान में प्रदेश प्रभारी मुरलीधर राव की इंदौर में नसीहत फिर चर्चा का विषय बन गई। उन्होंने कहा कि बूथ विस्तारक समिति में हर जाति का प्रतिनिधि शामिल हो। और अखबार-पत्रकार पर टिप्पणी कर दी कि जो कहता हूं, वह छापते नहीं और जो नहीं कहता वह छाप देते हैं। इनके बिना काम नहीं चल सकता और यह होते हैं तब भी हाल वही होता है कि शादी न करो तो भी परेशानी और करो तो भी। खैर राव खुलकर बैटिंग करते हैं और चर्चा में बने रहना उन्हें बखूबी आता है।
तो प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने देवास में टेकरी पर दर्शन करने के बाद एक फरवरी को घर चलो, घर-घर चलो अभियान की शुरुआत कर दी है। दूसरे दिन भी अभियान उत्साहपूर्वक चला। कांग्रेस का घर चलो, घर-घर चलो अभियान जनता से संवाद का महाअभियान है। इसका मुख्य लक्ष्य कांग्रेस सदस्यता अभियान, मतदाता सूची का सत्यापन, भाजपा की नाकामी को बेनक़ाब करना और कांग्रेस के कार्यों को जनता तक पहुंचाना है। भाजपा की नाकामी को कांग्रेस कितना बेनकाब कर पाती है, यह देखना है। फिलहाल भाजपा का फोकस कांग्रेस के अभियान की नाकामी को उजागर करने की है। ऐसे कई वीडियो वायरल कर वह बखूबी अंजाम देने में जुटी है।
तो राजनैतिक गतिविधियां लगातार जोर पकड़ रही हैं। चर्चा यह भी रही कि गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा की केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया से मुलाकात हुई है। मुलाकात का मुद्दा कुछ भी हो, लेकिन चर्चा तो खूब होती ही है। सो मोदी, शिवराज, राव और नाथ का अपने-अपने काम पर फोकस रहा और आरोप-प्रत्यारोप का दौर भी जारी है।