MP News:ऑनलाईन एजुकेशन में हर हफ्ते पांच हजार साइबर अटैक, गृह मंत्रालय अलर्ट

दिए नौ बिन्दुओं पर सुरक्षा के निर्देश

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MP News:ऑनलाईन एजुकेशन में हर हफ्ते पांच हजार साइबर अटैक, गृह मंत्रालय अलर्ट
भोपाल: कोरोना काल में बढ़े आॅनलाई एजुकेशन के दौरान साईबर अटैक का खतरा भी बढ़ गया है। शिक्षा के क्षेत्र में हर सप्ताह 5 हजार 196 साइबर अटैक हो रहे है। इसको लेकर केन्द्रीय गृह मंत्रालय ने चिंता जताई है।  मंत्रालय ने साइबर अटैक से बचने के लिए नौ बिन्दुओं पर सुरक्षात्मक उपाय करने के निर्देश जारी किए है।
शिक्षा विभाग ने सभी  जिला शिक्षा अधिकारियों ,सभी जिला परियोजना अधिकारियों को इस संबंध में निर्देश जारी किए है। आॅनलाईन एज्युकेशन वर्तमान में भी अनिवार्य बनता जा रहा है। कोविड आपदा में आॅनलाईन  उपयोग बढ़ता जा रहा है। इसलिए विद्यार्थियों में साइबर सिक्योरिटी के संबंध में संवेदनशीलता लाना जरुरी हो गया है। गृह मंत्रालय ने साइबर अटैक की जानकारी और सिक्योरिटी के सुझाव सभी शिक्षकों, विद्यार्थियों और अभिभावकोें को देने के निर्देश दिए है।
इस तरह हो रहा साइबर अटैक-
 असुरक्षित वीडियो कांफ्रेस के दौरान अनाधिकृत व्यक्तियों द्वारा शाब्दिक उत्पीड़न, अपमाजनक शब्दों का उपयोग और अश्लील विषयवस्तु को प्रदर्शित किया जाता है। साइबर अटैक करने वाले सोशल इंजीनियरिंग व्यूह रचनाओं का उपयोग कर पीड़ित को धोखा देने के लिए उनकी व्यक्तिगत जाकारियां प्राप्त कर रुपये चोरी करे, पहचान चोरी करने का काम करते है। साइबर क्रिमिनल मैसेज चोरी करा, कैमरा हैक करना, पिक्चर में व्यक्ति को बदल देने का काम करते है।
साइबर स्क्वेटिंग के अंतर्गत  साइबर क्रिमिनल अपराधियों द्वारा विद्यालय के जैसी वेबसाईट बनाकर दुर्भावनापूर्ण लिंक या अटैचमेंट दिये जाते है और उनको डाउनलोड करने को कहा जाता है।
ईमेल स्पूफिंग में विद्यार्थी सोचता है कि स्कूल से मेल आया है जबकि कूट ई मेल होता है और इस ई-मेल में निजी जानकारी मांगी जाती है या दुर्भावापूर्ण वेबसाईट, अटैचमेंट पर जाने को कहा जाता है। इस लिंक, वेबसाईट पर जो पर सिस्टम हेंग हो जाता है या सिस्टम का डेटा चोरी हो जाता है। इसका उपयोग साइबर क्रिमिनल  रुपया जबरन वसूली करने में कर सकते है।
 साइबर सिक्योरिटी के लिए ये उपाय करने निर्देश-
हमेशा ई-मेल और पासवर्ड को रिव्यू करे और मजबूत करते रहे। स्ट्रांग पासवर्ड का उपयोग करे जिससे सरलता से कोई उस तक ना पहुंच सके। फायरवॉल एक सिक्यूरिटी डिवाईस है इसको आपके सिस्टम पर उपयुक्त तरीके से कनफिगर करना चाहिए। आपरेटिंग सिस्टम और एप्लीकेशन को हमेशा अपडेट रखना चाहिए। सभी को विद्यालय का फोन नंबर रखना चाहिए जिससे वेबलिंक और डिवाईस जो मिली है उसकी सुरक्षा के संबंध में सवाल किए जा सके।
 एंटी वाइरस सॉफ्टवेयर अपडेट होना चाहिए तथा नेटवर्क को नियमित स्कैन करना चाहिए। कक्षा में जब कैमरे का उपयोग नहीं हो तो उसे कवर करके रखना चाहिए। यदि मशीन इन्फेक्टेड हो गई है तो आगे डेमेज रोकने के लिए उसे अलग कर देना चाहिए। किसी भी तरह के साइबर अटैक होंने पर साइबर क्राइम डॉट जीओवी डॉट इन पोर्टल पर रिपोर्ट करे सायबरदोस्त से फेसबुक एवं ट्विटर पर सेफ्टी टिप्स ले सकते है।