OBC Face Dr Mohan Yadav: संगठन की बात मानकर लौटा दिया था टिकट, MP के मुखिया बनने पर उज्जैन में जश्न का माहौल

विकास पुरुष के रूप में पहचान बनाने वाले उज्जैन के डॉ यादव बने प्रदेश के मुखिया, भाजपा ने एक बार फिर चर्चा में चले नामों से अलग नाम पर लगाई मोहर

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OBC Face Dr Mohan Yadav: संगठन की बात मानकर लौटा दिया था टिकट, MP के मुखिया बनने पर उज्जैन में जश्न का माहौल

उज्जैन से मुकेश भीष्म की रिपोर्ट

उज्जैन:उज्जैन दक्षिण विधानसभा सीट से विधायक मोहन यादव मध्यप्रदेश के नए मुख्यमंत्री होंगे। डॉ यादव के नाम की घोषणा से ही उज्जैन में जश्न का माहौल हो गया। डॉ यादव के घर पर बधाई देने वालों का ताँता लग गया, वहीं टावर चौक सहित शहर के कई इलाकों में समर्थकों एवं नगरवासियों द्वारा द्वारा जमकर आतिशबाज़ी की गई । चुनाव के दरमियाँ डॉक्टर यादव ने कहा था कि उज्जैन में हर बार सिंहस्थ में भाजपा की ही सरकार रहती है और इसलिए उज्जैन में 2028 में होने वाले सिंहस्थ में भी भाजपा की ही सरकार रहेगी।

यादव ने अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद् से अपने राजनीति करियर की शुरुआत की। यादव विद्यार्थी परिषद में कई पदों पर रहे हैं।छात्र राजनीति की शुरुआत करने वाले यादव को 1986 में विभाग प्रमुख की जिम्मेदारी दी गई।
डॉ मोहन यादव 2013 में पहली बार उज्जैन दक्षिण सीट से विधायक चुने गए थे। इसके बाद 2018 और 2023 का चुनाव भी जीते। 2 जुलाई 2020 को उन्हें शिवराज कैबिनेट में उच्च शिक्षा मंत्री बनाया गया। 1965 में उज्‍जैन में पूनमचंद यादव के घर जन्‍मे मोहन यादव एमए, पीएचडी हैं। उनकी शादी सीमा यादव से हुई है। दो बेटे और एक बेटी हैं।

मुख्यमंत्री के रूप में अपने नाम की घोषणा के बाद मोहन यादव ने कहा- मैं पार्टी का एक छोटा सा कार्यकर्ता हूं। प्यार और सहयोग के लिए पार्टी की राज्य और केंद्रीय कार्यकारिणी को धन्यवाद दिया । उन्होंने कहा मैं अपनी जिम्मेदारी पूरी तरह से निभाऊंगा।

वहीं, उनकी पत्नी सीमा यादव ने कहा- मेहनत का फल अच्छा होता है। हमारी खुशी का ठिकाना नहीं है। भगवान महाकाल ने मेहनत का फल दिया है।

डॉ मोहन यादव को 2003 में बड़नगर से चुनाव के लिए नाम भी घोषित कर दिया गया था लेकिन स्थानीय नेताओं और कार्यकर्ताओं ने विरोध के कारण संगठन की बात मान कर टिकिट वापस लौटा दिया था ।

2013 में उन्हें उज्जैन दक्षिण सीट से टिकट मिला और वे चुनाव जीत गए। तब से लगातार इसी सीट से जीत रहे हैं। इस बार तीसरी बार विधायक चुने गए हैं।

जीवन परिचय
नाम – डॉ. मोहन यादव
जन्म – 25 मार्च 1965 उज्जैन शिक्षा – बीएससी, एलएलबी, एमबीए, पीएचडी (राजनैतिक शास्त्र)) तीसरी बार उज्जैन दक्षिण विधान सभा से लगातार निर्वाचित, पूर्व दायित्व: केबिनेट मंत्री, उच्च शिक्षा विभाग, जुलाई 2020 से उच्च शिक्षा मंत्री के रूप में देश में पहली बार मप्र में राष्ट्रीय शिक्षा नीति का सफल क्रियान्वयन, 54 नए महाविद्यालय खोले सन् 2004-2010 में उज्जैन विकास प्राधिकरण के अध्यक्ष (राज्य मंत्री दर्जा)। सन् 2011-2013 में मध्यप्रदेश राज्य पर्यटन विकास निगम, भोपाल के अध्यक्ष (केबिनेट मंत्री दर्जा)। भा.ज.पा. की प्रदेश कार्यकारिणी के सदस्य. सन् 2013-2016 में भा.ज.पा. के अखिल भारतीय सांस्कृतिक प्रकोष्ठ के सह-संयोजक। उज्जैन के समग्र विकास हेतु अप्रवासी भारतीय संगठन शिकागो (अमेरिका) द्वारा महात्मा गांधी पुरस्कार और इस्कॉन इंटरनेशनल फाउंडेशन द्वारा सम्मानित। मध्यप्रदेश में पर्यटन के निरंतर विकास हेतु सन् 2011-2012 एवं 2012-2013 में राष्ट्रपति द्वारा पुरस्कृत. सन् 2013 में चौदहवीं विधान सभा के सदस्य निर्वाचित। सन् 2018 में दूसरी बार विधान सभा सदस्य निर्वाचित. दिनांक 2 जुलाई,. 2020 को मंत्री बने। 2023 में तीसरी बार विधानसभा सदस्य निर्वाचित,आज मुख्यमंत्री चुने गए। छात्र राजनीति – अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद में प्रदेश के विभिन्न पदों पर रहे, राष्ट्र्रीय महामंत्री के पद के दायित्वों का निर्वाहन, माधव विज्ञान महाविद्यालय में 1982 में छात्र संघ के संयुक्त सचिव तथा 1984 में छात्रसंघ अध्यक्ष निर्वाचित। सामाजिक क्षेत्र- 2006 में भारत स्काउट एवं गाइड के जिलाध्यक्ष, मध्यप्रदेश ओलंपिक संघ के प्रदेश उपाध्यक्ष, 2007 में अखिल भारतीय कुश्ती महासंघ के प्रदेश अध्यक्ष, वर्ष 1992, 2004 एवं 2016 सिंहस्थ उज्जैन केन्द्रीय समिति के सदस्य, वर्ष 2000-2003 तक विक्रम विश्वविद्यालय के कार्य परिषद (सिंडीकेट) सदस्य के दायित्व का निर्वाहन तथा शिक्षा, स्वास्थ्य, विकलांग पुनर्वास केन्द्रों में सक्रिय भागीदारी। राजनैतिक क्षेत्र – सन् 1982 में माधव विज्ञान महाविद्यालय छात्रसंघ के सह-सचिव एवं 1984 में अध्यक्ष. सन् 1984 में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद उज्जैन के नगर मंत्री एवं 1986 में विभाग प्रमुख। सन् 1988 में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद मध्यप्रदेश के प्रदेश सहमंत्री एवं राष्ट्रीय कार्यकारिणी के सदस्य और 1989-90 में परिषद की प्रदेश इकाई के प्रदेश मंत्री तथा सन् 1991-92 में परिषद के राष्ट्रीय मंत्री. सन् 1993-95 में राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ, उज्जैन नगर के सह खण्ड कार्यवाह। सायं भाग नगर कार्यवाह एवं 1996 में खण्ड कार्यवाह और नगर कार्यवाह। सन् 1997 में भारतीय जनता युवा मोर्चा की प्रदेश कार्य समिति के सदस्य। सन् 1998 में पश्चिम रेलवे बोर्ड की सलाहकार समिति के सदस्य. सन् 1999 में भारतीय जनता युवा मोर्चा के उज्जैन संभाग प्रभारी, सन् 2000-2003 में भा.ज.पा. के नगर जिला महामंत्री एवं सन् 2004 में भा.ज.पा. की प्रदेश कार्यसमिति के सदस्य। सन् 2004 में सिंहस्थ, मध्यप्रदेश की केन्द्रीय समिति के सदस्य। सन् 2008 से भारत स्काउट एण्ड गाइड के जिलाध्यक्ष। धार्मिक क्षेत्र – विक्रमोत्सव-चैत्र शुक्ल प्रतिपदा पर उज्जैन के सम्राट विक्रमादित्य द्वारा आरंभ विक्रम संवत पर प्रारंभ होने वाले भारतीय नववर्ष मनाने की परंपरा, विगत 11 वर्षों से प्रतिवर्ष भव्य उत्सव शिप्रा तट पर आयोजित किया जाता है, धार्मिक आयोजनों में सक्रिय भागीदारी निभाते हुए भारतीय संस्कृति, तीज, त्यौहार, रीति-रिवाज के पारंपरिक आयोजनों में शामिल होकर साहित्यिक, सांस्कृतिक, कला, विज्ञान, पुरातत्व, वेद ज्योतिष से जुडने हेतु जनमानस को अभिप्रेरित किया। साहित्य: विक्रमाँदित्य शोधपीठ का गठन, लेखन: उज्जैयनी का पर्यटन, विश्वकाल गणना के केंद्र डोंगला प्रकाशन: संकल्प शुभकृत, क्रोधी, विश्वावसु, पराभव आदि पुस्तकों का प्रकाशन विदेश यात्रा: अमेरिका, इंग्लैंड, जर्मनी, जापान, बैंकाक, थाईलैंड, चीन, नेपाल, बर्मा, भूटान, म्यांमार, अरब देशों की यात्रा की है।