Rained & Power Went Off : आंधी, पानी से बिजली गुल, कर्मचारी फोन नहीं उठाते!
Indore : कुछ दिनों से बेमौसम बारिश हो रही है। बारिश और आंधी कुछ मिनटों की ही होती है, लेकिन बारिश शुरू होते ही कई-कई घंटे तक बिजली गुल कर दी जाती है। ऐसा सिर्फ दिन ही नहीं रात में भी हो रहा है। इससे लोग परेशान हो रहे हैं। बोर्ड परीक्षा दे रहे छात्र सबसे ज्यादा परेशान हैं। वहीं बिजली कंपनियों के झोनल कार्यालय और अधिकारी लोगों के फोन तक उठाना उचित नहीं समझते।
जानकारी के अनुसार बेमौसम बारिश लगभग पूरे शहर में हो रही है। जैसे ही बारिश शुरू होती है, शहर के कई हिस्सों में बिजली कंपनी के कर्मचारी बत्ती गुल कर देते है। दिन हो या रात कंपनी कर्मचारी कभी भी ऐसा करने से बाज नहीं आते। पश्चिम क्षेत्र के रहवासी और कारोबारी इस अघोषित विद्युत कटौती से ज्यादा परेशान है। पूर्वी शहर के अनुपात में पश्चिमी क्षेत्र में कहीं अधिक कॉलानियां और व्यावसायिक क्षेत्र हैं।
शनिवार-रविवार की दरमियानी रात करीब 2 बजे भी बारिश शुरू होते ही बिजली गुल हो गई, जो करीब साढ़े 3 बजे लौटी। इस दौरान आधी रात को लोगों की नींद उड़ा दी गई। सुदामा नगर, द्रविड़ नगर, स्कीम नंबर-71, खातीवाला टैंक, सिंधी कॉलोनी, राजेंद्र नगर, समाजवादी इन्दिरा नगर. उषा नगर, लाबरिया भेरु केशरबाग रोड, संगम नगर सहित अन्य कई ऐसे क्षेत्र हैं, जहां आधी रात को अघोषित कटौती की गई।
परीक्षा देने वाले ज्यादा परेशान
अघोषित विद्युत कटौती से सबसे ज्यादा परेशान 10-12वीं की बोर्ड परीक्षाएं दे रहे छात्र हैं। अचानक बिजली गायब होने के कारण उनकी नींद खुल जाती है और नींद खराब होने के कारण पेपर खराब हो रहे हैं। अचानक बिजली गुल हो जाने से दिनचर्या पर भी खासा असर पड़ रहा है।
फोन ही नहीं लगता
लोगों ने बताया कि बिजली जाने के बाद जब बिजली कंपनी के झोनल कार्यालय पर फोन लगाओ तो लैंडलाइन फोन तो लगातार व्यस्त आता रहता है। बिजी टोन लगातार कई घंटे तक सुनाई देती रहती है। ऐसा लगता है कि ऑपरेटर ने हैंडसेट फोन से उठाकर एक साइड रख दिया हो। ऐसा सिर्फ बिजली जाने पर ही नहीं होता आम दिनों में भी कभी बिजली कंपनी के झोनल कार्यालय के लैंड लाइन नंबर पर कॉल करो तो लाइन हमेशा बिजी ही आती रहती है।
एक व्यक्ति ने बताया कि वास्तविकता क्या है यह पता लगाने के लिए मैंने गुमास्ता नगर झोनल कार्यालय के फोन रूम के सामने ही खड़े होकर कॉल किया तब भी लाइन व्यस्त आती रही। जब वहां बैठे ऑपरेटर से इस बारे में पूछा तो उसने कहा कि हमें नहीं मालूम ऐसा क्यों हो रहा है। उसने दोबारा फोन लगाने का कहा तो फोन तुरंत लग गया। ऐसा लगा उसने फोन में कुछ किया हो। अधिकारी भी मोबाइल पर कॉल रिसीव नहीं करते।