Scholarship Scam of 2.5 Cr : सहायक आयुक्त ने 2.5 करोड़ की छात्रवृत्ति का गबन किया, FIR दर्ज!
Dindori : जिले के आदिवासी विकास विभाग के तत्कालीन सहायक आयुक्त अमरसिंह उइके सहित अन्य के खिलाफ कोतवाली पुलिस ने बुधवार शाम ढाई करोड़ से ज्यादा के शासकीय धन के गबन और धोखाधड़ी सहित अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज किया है। सहायक आयुक्त के पद पर डिंडौरी में पदस्थ रहने के दौरान अमर सिंह उइके ने बड़ी अनियमितता की थी। वे फिलहाल सिवनी जिले में पदस्थ है।
अमरसिंह ने आदिवासी और हरिजन वर्ग के छात्र छात्राओं की छात्रवृत्ति को आपस में मिलकर बांटकर हजम गया था। इस मामले में कलेक्टर विकास मिश्रा के सख्त निर्देश के बाद वर्तमान सहायक आयुक्त संतोष शुक्ला की शिकायत के बाद पुलिस ने आरोपियों के विरुद्ध गबन का मामला दर्ज किया। आरोपी अमर सिंह सहित अन्य के विरुद्ध धारा 420, 409, 34 के तहत मामला दर्ज किया गया है।
लोकायुक्त भोपाल द्वारा मामले को संज्ञान में लेने के बाद कलेक्टर विकास मिश्रा ने भी इसे गंभीरता से लेते हुए सख्त निर्देश देकर आरोपी की विरुद्ध मामला दर्ज कराया है। कलेक्टर ने बताया कि इस तरह के घोटाले करने वालों को किसी भी हाल में बख्शा नहीं जाएगा।
पुलिस अधीक्षक अखिल पटेल ने बताया कि इस मामले में जो भी शामिल होंगे उनके विरुद्ध भी हर हाल में मामला दर्ज कर गिरफ्तार करते हुए सख्त कार्रवाई की जाएगी। बताया गया कि बंद हो गए 7 खातों से यह राशि निकालकर घोटाला किया था।
फरार हो गए अमरसिंह
बताया गया कि अमर सिंह वर्तमान में सिवनी जिले में सहायक आयुक्त के पद पर ही पदस्थ हैं। सिवनी कार्यालय में पदस्थ कर्मचारियों के मुताबिक मामला दर्ज होने की सूचना के बाद से ही वे मौके से फरार हो गए। पुलिस ने बताया कि इस मामले में विस्तृत जांच कर आरोपियों की संख्या और बढ़ेगी।
ढाई करोड़ से अधिक का गबन
सहायक आयुक्त संतोष शुक्ला के आवेदन के अनुसार तत्कालीन सहायक आयुक्त अमर सिंह उईके ने 25 फरवरी 2019 से 21 जनवरी 2021 के दौरान एससी / एसटी राज्य छात्रवृत्ति योजना, एससी पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना, अनुसूचित जनजाति छात्रवृति योजना, रेड क्रॉस, खेल मद, भारत स्काउट एवं गाइड योजना कुल मिलाकर 2 करोड़ 59 लाख 97 हजार, 5 सौ 77 रुपए साजिश करके विभिन्न व्यक्तियों, संस्थाओं / दुकानदारों को भुगतान कर शासकीय राशि का गबन कर लिया है।
इसके अलावा कंप्यूटर ऑपरेटर और सहायक ग्रेड 3 के कुल 28 कर्मचारियों की अनियमित नियुक्ति आदेश जारी किए गए थे। तत्कालीन सहायक आयुक्त आदिवासी विकास विभाग अमरसिंह उईके के कार्यकाल के दौरान कार्यालय में बैंक खातों की कैशबुक शाखा प्रभारियों ने संधारित की है।