

तत्काल बुकिंग : नई व्यवस्था से सीटें मिलीं खाली,ई-आधार से लोगों के लिए खुली टिकट खिड़की, दलालों की बुकिंग उतरी पटरी से
भोपाल। भोपाल स्टेशन व आरकेएमपी पर हाल ही में तत्काल टिकट की कालाबाजरी करते हुए कई लोग पकड़े गए थे। जिसके चलते यात्रियों को तत्काल टिकट भी नहीं मिल पा रहे थे। लेकिन हाल ही में भारतीय रेलवे की ओर से तत्काल टिकट बुकिंग प्रणाली में किए गए बदलाव का असर अब साफ दिखाई देने लगा है। भोपाल से मुंबई, दिल्ली, लखनऊ समेत प्रमुख शहरों के लिए चलने वाली ट्रेनों में वर्षों बाद पहली बार तत्काल कोटे में सीटें खाली दिखाई दे रही हैं। इससे इमरजेंसी में यात्रा करने वालों को बड़ी राहत मिली है। पहले जहां बुकिंग खुलते ही कुछ मिनटों में ही सभी सीटें भर जाती थीं, वहीं अब बुकिंग के घंटे बाद भी यात्रियों को सीटें मिल रही हैं। रेलवे अधिकारियों के अनुसार, तत्काल कोटे में सीटों की उपलब्धता लगभग दोगुनी हो गई है।
पाबंदी का असर
– एक जुलाई से लागू नियमों के तहत तत्काल टिकट बुकिंग को अब ई-आधार ओटीपी आॅथेंटिकेशन से जोड़ा गया है। यानी केवल आधार सत्यापित यूजर्स ही टिकट बुक कर सकते हैं। एजेंटों को पहले 30 मिनट तक बुकिंग से रोका गया है। एसी क्लास के टिकट यात्री सुबह 10 बजे से और एजेंट 10:30 बजे से बुक कर सकते हैं। नॉन-एसी टिकट आम यात्रियों के लिए 11 बजे और एजेंटों के लिए 11:30 बजे से बुक हो रहे हैं।
नई व्यवस्था इस प्रकार है
सुबह 5 से दोपहर 2 बजे के बीच रवाना होने वाली ट्रेनों का चार्ट एक दिन पहले रात 9 बजे तक बनेगा।
दोपहर 2 से रात 11:59 और रात 12 से सुबह 5 बजे के बीच रवाना ट्रेनों का चार्ट रवाना होने से 8 घंटे पहले तैयार होगा।
चार्टिंग समय में बदलाव से राहत
रेलवे ने रिजर्वेशन चार्टिंग प्रक्रिया में बदलाव करते हुए अब ट्रेन की रवानगी से 8 घंटे पहले पहला चार्ट तैयार करना अनिवार्य कर दिया है, पहले यह समय 4 घंटे था। इससे वेटिंग और आरएसी यात्रियों को वैकल्पिक योजना बनाने का समय मिल पाएगा।