‘देवी अहिल्या’ के ‘दरबार हॉल’ हुए ‘मोहन कैबिनेट’ के फैसले बनेंगे ‘मील का पत्थर’…

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‘देवी अहिल्या’ के ‘दरबार हॉल’ हुए ‘मोहन कैबिनेट’ के फैसले बनेंगे ‘मील का पत्थर’…

कौशल किशोर चतुर्वेदी

इंदौर में राजवाड़ा के दरबार हॉल में लोकमाता देवी अहिल्याबाई होल्कर के 300 वें जयंती वर्ष पर उनके आदर्शत्र और मूल्यों को समर्पित मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की अध्यक्षता में हुई मंत्रि-परिषद की बैठक के फैसले मध्यप्रदेश के विकास में मील का पत्थर साबित होंगे। यह विशेष नहीं है कि मंत्रि-परिषद ने 3 हजार 867 करोड़ रूपये की योजना और निर्माण कार्यों की स्वीकृति दी, बल्कि यह महत्वपूर्ण है कि यह फैसले पूरे प्रदेश का स्वरूप बदलकर रखने वाले हैं। मंगलवार 20 मई 2025 की तारीख इतिहास में दर्ज हो गई है।

 

मंत्रि-परिषद ने “मध्यप्रदेश महानगर क्षेत्र नियोजन एवं विकास अधिनियम-2025” को स्वीकृत करने का निर्णय लिया हैं। अधिनियम-2025 लागू होने के बाद “महानगर योजना समिति” एवं “महानगर क्षेत्र विकास प्राधिकरण” का गठन किया जा सकेगा। साथ ही प्रदेश में “इंदौर-उज्जैन-देवास-धार” एवं “भोपाल-सीहोर-रायसेन-विदिशा-ब्यावरा (राजगढ़)” के लिए महानगर योजना समिति एवं महानगर क्षेत्र विकास प्राधिकरण का गठन राज्य सरकार द्वारा किया जा सकेगा। और यह महानगर मध्यप्रदेश को दिल्ली-मुंबई की तर्ज पर इंदौर और भोपाल महानगर की सौगात प्रदान करेंगे। महानगर क्षेत्र की विकास योजना में ऐसे क्षेत्र की भौगोलिक आवश्यकता अनुसार शैक्षणिक, औद्योगिक, स्वास्थ्य आदि क्षेत्रों में विकास हो सकेगा, जिससे कि रोजगार एवं आर्थिक विकास संभव हो सकेगा। इस अकेले फैसले ने देवी अहिल्या की नगरी इंदौर में हुई इस कैबिनेट बैठक को इतिहास में दर्ज कर दिया है। इंदौर में हुई इस कैबिनेट बैठक का एक पहलू यह भी है कि डॉ. मोहन यादव ने प्रभारी मंत्री के दायित्व का फर्ज भी पूरा कर दिया।

मंत्रि-परिषद ने ‘ओंकारेश्वर में एकात्म धाम परियोजना अंतर्गत किये जाने वाले कार्यों हेतु सूचकांक में छूट प्रदाय किये जाने और आचार्य शंकर संग्रहालय “अद्वैत लोक” के निर्माण के लिए पुनरीक्षित लागत राशि 2195 करोड़ 54 लाख रूपये की स्वीकृति प्रदाय की है। इस राशि से अद्वैत लोक (संग्रहालय), आचार्य शंकर अंतर्राष्ट्रीय अद्वैत वेदान्त संस्थान, अद्वैत निलयम, परियोजना सूचना केंद्र, शंकर सेतु और अभय घाट का निर्माण किया जाएगा। यह अद्वैत लोक जब पूरा होगा, तब महाकाल लोक की तरह ही वहां पर्यटकों की संख्या में चमत्कारिक बढोतरी देखने को मिलेगी।

मंत्रि-परिषद ने प्रदेश के युवाओं को रोजगार से जोड़ने के लिए लोकमाता देवी अहिल्याबाई होल्कर प्रशिक्षण कार्यकम योजना की सैद्धांतिक स्वीकृति दी। इसमें युवाओं के लिए कौशल विकास कार्यक्रम संचालित किए जाएंगे। योजना में जरूरतमंद व्यक्ति बैंक ब्याज में एक हजार रुपए प्रतिवर्ष छूट के साथ पूरे जीवनकाल के लिए अधिकतम 10 हजार रूपये प्रति व्यक्ति ऋण के ब्याज पर छूट प्राप्त कर सकेगा। प्रतिवर्ष योजना पर लगभग 100 करोड़ रूपए का व्यय किया जायेगा।

मंत्रि-परिषद ने मुख्यमंत्री शहरी स्वच्छता मिशन कार्यक्रम की वित्तीय वर्ष-2028-29 तक निरंतरता की स्वीकृति दी। इसमें आगामी 4 वित्तीय वर्षों 2025-26, 2026-27, 2027-28 और 2028-29 के लिए राज्यांश राशि 167 करोड़ 74 लाख रूपये और निकाय अंशदान राशि 59 करोड़ 31 लाख रूपये, कुल राशि 227 करोड़ 5 लाख रूपये का व्यय अनुमानित है। योजना में राशि का प्रयोग प्रदेश के नगरीय निकायों में सेप्टिक टैंक से निकलने वाले स्लज के परिवहन के लिए डी-स्लजिंग वाहन, सीवर लाईन की सफाई के लिए सफाई उपकरणों, ठोस अपशिष्ट के संग्रहण एवं परिवहन के लिए वाहन तथा नगरीय निकायों में कार्यरत सफाई मित्रों के लिए व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण एवं पीपीई किट के लिए अनुदान प्रदान कर तकनीकी रूप से सक्षम बनाया जायेगा। तो प्रदेश के 04 औद्योगिक क्षेत्र में 249 करोड़ 66 लाख रूपये की लागत से वर्किंग वीमेन हॉस्टल के निर्माण की स्वीकृति दी।

प्रभारी मंत्री के रूप में मोहन यादव मंत्रि-परिषद ने महाराजा यशवंत राव चिकित्सालय परिसर इंदौर और चिकित्सा महाविद्यालय रीवा के उन्नयन के लिए 1095 करोड़ रूपये की प्रशासकीय स्वीकृति दी है। स्वीकृति अनुसार महात्मा गांधी स्मृति चिकित्सा महाविद्यालय, इंदौर से संबद्ध महाराजा यशवंतराव चिकित्सालय परिसर में 773 करोड़ 7 लाख रूपये से प्रस्तावित नवीन चिकित्सालय भवन, मिनी ऑडिटोरीयम, नर्सिंग हॉस्टल, पार्किंग एवं बाह्य विकास कार्य आदि का निर्माण किया जाएगा। रीवा में श्याम शाह चिकित्सा महाविद्यालय में ओ.पी.डी. ब्लॉक, मेटरनिटी ब्लॉक, स्टॉफ क्वार्टर, नर्सिंग कॉलेज तथा हॉस्टल एवं अन्य कार्य के लिए 321.94 करोड़ रूपये की स्वीकृति प्रदान की गई है।

तो यह माना जा सकता है कि सादगी की प्रतिमूर्ति देवी अहिल्या के दरबार में राजसी साफे में बैठा ‘मोहन यादव’ का मंत्रिमंडल ‘विरासत के साथ विकास’ का नया इतिहास लिख चुका है। मेट्रो की तरह अब तेज रफ्तार में मेट्रोपॉलिटन के विकास का नया अध्याय आकार लेगा। ‘देवी अहिल्या’ के ‘दरबार हॉल’ में हुए ‘मोहन कैबिनेट’ के फैसले ‘मील का पत्थर’ बनेंगे …प्रदेश के एक नए युग और मोहन विजन के साक्षी भी बनेंगे…।