प्रसव पीड़िता को लेकर जा रहे वाहन का ईंधन खत्म, महिला की जान पर बन आई

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कुंवर पुष्पराज सिंह की रिपोर्ट

*बागली (देवास)।* शुक्रवार से मध्यप्रदेश सरकार अपनी एंबुलेंस सेवाओं का विस्तार करते हुए एकीकृत रेफरल ट्रांसपोर्ट प्रणाली को लोकार्पित किया। वहीं गुरुवार को बागली में जननी एक्सप्रेस सेवा में गंभीर चूक सामने आई। जिस कारण एक गर्भवती महिला की जान पर बन आई। दरअसल बागली के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र से एक प्रसव पीड़िता को गंभीर अवस्था में देवास के जिला चिकित्सालय रैफर किया गया था। लेकिन उसको लेकर जा रहे जननी एक्सप्रेस वाहन में दो बार ईंधन खत्म हो गया।

एक बार एक समाजसेवी ने तो दूसरी बार पीड़िता के भाई ने ईंधन भरवाया तब कहीं जाकर जननी एक्सप्रेस देवास पहुंची और देर शाम जिला चिकित्सालय में सिजेरियन प्रसव हुआ। मामले की जब पड़ताल की गई तो स्थानीय जिम्मेदार एकदूसरे पर जिम्मेदारी डालने लगे। जानकारी के अनुसार पानकुआ निवासी सुनीता डाबर पति पुष्पेंद्र मंडलोई को बुधवार को डिलीवरी के लिए पुंजापुरा ले गए थे, जहां से गुरुवार को उसे बागली सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र भेजा गया।।जहां पर गंभीर स्थिति होने के कारण उसे जिला चिकित्सालय देवास रैफर किया गया।

सुनीता के भाई भादर डाबर ने बताया कि गुरुवार को देवास जिला अस्पताल के लिए रैफर कर दिया। बागली से 6 किलोमीटर का सफर तय किया ही था कि गुनेरा नदी के पास वाहन

में डीजल खत्म हो गया। वहां पर गुनेरा निवासी हरेंद्रसिंह सैंधव ने 200 रुपए का डीजल भरवाया

इसके बाद 2 किलोमीटर चलते ही फिर से चापड़ा नाके के पास डीजल खत्म हो गया। इसके बाद फिर मैं चापड़ा पेट्रोल पम्प से 100 रुपए डीजल नहीं डलवाया। का डीजल लाया। तब कहीं जाकर जननी एक्सप्रेस पम्प तक पहुंची। डीजल खत्म होने के दौरान मेरी बहन दर्द से तड़प रही थी, लेकिन न ही बागली अस्पताल से कोई मदद के लिए आया और न ही किसी ने डीजल पहुंचाया। जननी एक्सप्रेस के ड्राइवर राकेश पवार ने बताया कि दो दिन पहले डीजल डलवाया था। इसके बाद अब तक किसी ने डीजल नहीं भरवाया।

*इस गाड़ी से हमारा कोई लेना-देना नहीं*

बागली सीबीएमओ विष्णुलता उइके ने बताया कि इस गाड़ी से हमारा कोई लेना-देना नहीं है। यह भोपाल से चलती है। ठेकेदारी व्यवस्था है इस कारण उन्हीं लोगों से चर्चा कीजिए।

सिजेरियन डिलिवरी हुई

प्रसव पीड़िता के पति पुष्पेंद्र ने बताया कि जिला अस्पताल में सिजेरियन डिलिवरी हुई।

*गंभीर चूक है*

अधिवक्ता गगन शिवहरे ने बताया कि महिला की स्थिति गंभीर थी इसलिए सामान्य प्रसव नहीं हुआ। उसे समय से देवास रैफर किया लेकिन व्यवस्था में हुई इस गंभीर चूक के चलते ईंधन खत्म होने से वाहन समय से नहीं पहुंच सका। इस प्रकार की कमियों को दूर किया जाना चाहिए आज तो देवयोग से जान बच गई। हो सकता है कि अगली बार कोई हादसा हो जाए।