रेत माफिया हुआ बेखौफ, गुंडागर्दी पर हुआ उतारू, नायब तहसीलदार को जान से मारने की दी धमकी

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इटारसी। अब यदि तुमने मेरी ट्राली पकड़ी तो जान से मार दूंगा। यह धमकी सरेआम रेत माफिया ने नायब तहसीलदार , इटारसी को दे डाली और रेत की ट्राली पकडऩे गये अमले में शामिल नगर सैनिक से मारपीट तक करने की कोशिश की। नायब तहसीलदार की शिकायत पर पुलिस ने ट्रैक्टर चालक और ट्रैक्टर मालिक के खिलाफ रेत चोरी, धमकाने का मामला पंजीबद्ध किया है। ज्ञात रहे कि कुछ भ्रष्ट अधिकारियों की ही शह पर रेत माफियाओं के हौसले अब इतने बुलंद हो चुके हैं। वे रेत पकडऩे वाले अमले पर अब हमला करने और जान से मारने की धमकी देने पर उतारू हो गये हैं। ऐसा ही एक ताजा मामला सामने आया है , जब रेत पकडऩे गये नायब तहसीलदार विनय प्रकाश ठाकुर और नगर सैनिक संतोष चौरे से मारपीट का प्रयास और जान से मारने की धमकी दी गई है। अपने साथ हुई घटना की शिकायत नायब तहसीलदार विनय प्रकाश ठाकुर और नगर सैनिक संतोष चौरे ने इटारसी थाने में दर्ज करायी है। मामला कल 25 सितंबर को दोपहर का बताया जाता है। जब नायब तहसीलदार विनप्रकाश ठाकुर और नगर सैनिक संतोष चौरे ने फोरलेन पुलिया पर रेत से भरी ट्रैक्टर ट्राली पकड़ी तो ट्रैक्टर चालक और उसके मालिक प्रदीप पिता बिहारीलाल पाल 26 वर्ष और लक्ष्मण पिता दिनेश एक्के 20 वर्ष निवासी कांदई पथरोटा ने रास्ते में रोककर नायब तहसीलदार और नगर सैनिक को गाली देकर जान से मारने की धमकी दी। पुलिस के अनुसार 25 सितंबर को रामपुर गुर्रा मोड़ पर एक बिना नंबर की ट्रैक्टर ट्राली जो अवैध रेत से भरी थी, उसे रोका गया। ट्रैक्टर ट्राली के ड्राइवर लक्ष्मण एक्के पिता दिनेश एक्के 20 साल निवासी कांदई पथरोटा को पकड़ा, तो उसने बताया ट्रैक्टर मालिक प्रदीप पाल पिता बिहारी लाल पाल 26 साल,निवासी कांदई पथरोटा के कहने पर वह अवैध रेत का परिवहन कर रहा है।

नायब तहसीलदार ने मौके पर पटवारी लोकेश ठाकरे और नगर सैनिक संतोष चौरे की ओर से रेत से भरी ट्राली को जब्त कर इटारसी कृषि उपज मंडी में खड़ी करने को कहा। इसी दौरान लोहारिया रामपुर मोड़ पर ट्रैक्टर मालिक प्रदीप पाल आ गया और ड्राइवर लक्ष्मण के साथ रास्ता रोककर ट्रैक्टर ट्राली को नहीं जाने दिया और गाली देते हुए जान से मारने की धमकी दी। ट्रैक्टर मालिक ने नगर सैनिक संतोष चौरे के साथ मारपीट की कोशिश भी की। उसने धमकी दी कि अगली बार से मेरी ट्रैक्टर ट्राली पकड़ी तो जान से मार दूंगा। इटारसी पुलिस ने नायब तहसीलदार की लिखित शिकायत के आधार पर ट्रैक्टर मालिक और ट्रैक्टर चालक के खिलाफ धारा 379, 294, 341, 353, 186, 506, 34 के तहत मामला दर्ज कर आरोपियों की तलाश शुरू कर दी है। दरअसल प्रशासन के छापों में निरंतरता नहीं है। कोई एक अधिकारी जब मर्जी आए अवैध रेत उत्खनन रोकने पहुंच जाता है, जबकि इसके लिए टीम बनाकर लगातार छापेमारी होनी चाहिए। खनिज, राजस्व और पुलिस को मिलकर ऐसी कार्रवाई को अंजाम देना चाहिए ताकि रेत माफियाओं के हौसले पस्त हो जाएं, लेकिन कुछ भ्रष्ट अधिकारियों के अपने हित भी उनसे जुड़े होने से ये तीनों विभाग अपने-अपने स्तर से इस तरह की कार्रवाई करके रेत माफियाओं पर लगाम लगाने की केवल रस्म अदायगी ही करते हैं। इस तरह की कार्रवाई से तो कभी रेत चोरी रुकने वाली नहीं है, वही हो रहा है। बल्कि कतिपय अधिकारियों के संरक्षण में इस तरह की घटनाएं बढ़ रहीं हैं। ज्ञात रहे कि प्रतिदिन ही ऐसी ट्रैक्टर ट्रालियां के द्वारा अवैध परिवहन की खबरें सोशल मीडिया पर पोस्ट होती रहती हैं। सूत्रों के अनुसार नई गरीबी लाइन के रेलवे अंडरपास से हर रोज आधा दर्जन से अधिक ट्रैक्टर-ट्रालियां निकलती हैं, लेकिन जब से अंडरब्रिज शुरु हुआ है, कभी भी प्रशासन की कार्रवाई होते नहीं दिखी है। रामपुर पुलिस थाने के सामने से प्रतिदिन अवैध रेत की ट्रालियां निकलती हैं, जिनको रोज आसानी पकड़ा जा सकता है, पर जनचर्चा के अनुसार रेत चोर तो सरे आम बोलते फिरते हैं कि उनसे कहां, कितनी वसूली होती है। रेत महंगी होने का एक कारण भी यही बताया जाता है। इतने आरोप लगने के बावजूद भी कभी इन विभागों के जिम्मेदार अधिकारियों को नहीं लगता कि वे निर्णायक व प्रभावी कार्रवाई करना शुरु करें। मीडिया के बाद अब जनप्रतिनिधियों को ही मुख्यमंत्री की तरह आगे आकर कठोर कार्यवाही करानी होगी। विपक्ष को भी आगे आना होगा। तभी ऐसे माफिया पर लगाम कस पाएगी।