भारतीय राजनीति में इतिहास बनाएंगे यह लोकसभा चुनाव परिणाम…

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भारतीय राजनीति में इतिहास बनाएंगे यह लोकसभा चुनाव परिणाम…

आज यानि 4 जून 2024 का दिन भारतीय राजनीति में महत्वपूर्ण दिनों में शामिल होने जा रहा है। यह इक्कीसवीं सदी में भारतीय लोकतंत्र के पांचवें लोकसभा चुनाव के परिणाम का दिन है। देश की राजनीति पर नजर डालें तो बीसवीं सदी में चुनी गई एनडीए सरकार के प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने इक्कीसवीं सदी के हाथों में राष्ट्र को सौंपा था। वहीं इक्कीसवीं सदी के पहले लोकसभा चुनाव 2004 में हुए, तब सोनिया गांधी के नेतृत्व में यूपीए ने सत्ता छीन ली थी। और मनमोहन के प्रधानमंत्रित्व काल में दस साल तक यूपीए सत्ता में रही। इसके बाद 2014 में हुए इक्कीसवीं सदी के भारत के तीसरे लोकसभा चुनाव में नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में एनडीए ने यूपीए से सत्ता छीनकर मोदी युग की शुरुआत की। और राजनीति का यह मोदी युग फिलहाल जारी है। अब 4 जून 2024 के परिणामों पर सबकी नजर है। परिणाम इस बात पर मुहर लगाएंगे कि मोदी युग जारी रहेगा या नहीं? यह परिणाम यह बताएंगे कि मोदी नेतृत्व के पिछले दो चुनावों की तरह भाजपा पूर्ण बहुमत पाएगी या नहीं? यह परिणाम यह बताएंगे कि क्या मोदी के अलावा भी भाजपा का कोई दूसरा चेहरा प्रधानमंत्री पद पर नजर आ सकता है, जिस तरह मध्यप्रदेश सरकार में मुखिया बतौर मोहन का चेहरा नजर आया? तो यह भी एक सवाल है कि कहीं पूरी तरह से सरकार बदलने की नौबत तो नहीं आ गई, जिससे राहुल गाँधी को फील गुड हो सके। खैर बस रात बाकी है और 4 जून की सुबह का सूरज बहुत कुछ बयां करने वाला है। किसी की उम्मीदें पूरी होंगीं तो किसी का दिल टूटेगा। पर लोकसभा चुनाव का जो भी परिणाम होगा, वह भारतीय राजनीति में इतिहास बनाने वाला होगा।
पहली संभावना यह है कि एग्जिट पोल्स के मुताबिक भाजपा बहुमत में आए और एनडीए चार सौ पार हो जाए। तब नरेंद्र भाई मोदी लगातार तीसरी बार प्रधानमंत्री बनकर भारतीय राजनीति में ऐसे पहले गैर कांग्रेसी होने का रिकार्ड बनाकर इतिहास रच देंगे। इक्कीसवीं सदी में इसकी पुनरावृत्ति हो सके, इसकी संभावना भी धूमिल रहेगी। दूसरी संभावना यह है कि उम्मीदों के विपरीत भाजपा को निराशा हाथ लगे और भाजपा बहुमत न पा सके और एनडीए बहुमत में रहे। तब भी इतिहास बनेगा। पहला यदि एनडीए का नेतृत्व मोदी करते रहेंगे और तीसरी बार प्रधानमंत्री पद की शपथ लेंगे। दूसरा राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की राय में कोई दूसरा चेहरा प्रधानमंत्री पद के लिए काबिल समझा जाएगा। तब भी इतिहास बनेगा और मोदी की नई भूमिका पर सबकी नजरें टिकी रहेंगी। तीसरी संभावना यह है कि एनडीए अल्पमत में रहे और यूपीए को बहुमत हासिल हो। तब भी इतिहास बनेगा। क्योंकि बिना लहर के ऐसे परिणाम एक बार फिर भारतीय लोकतंत्र को चौंकाने वाले रहेंगे। तब फिर भारतीय मतदाता की नजरों से बदलाव के विभिन्न कारकों का अध्ययन किया जाएगा। तब एक बार फिर विकास, राष्ट्र और धर्म के पहलू कटघरे में खड़े नजर आएंगे। तब पूरे देश में एक समुदाय का मतदाता छला सा और ठगा सा महसूस करेगा। और तब ईवीएम पर भी अलग-अलग नजरिए से चर्चा होगी।
पर संभावना यही है कि स्थितियां जस की तक रहेंगी और नरेंद्र मोदी तीसरी बार लगातार भाजपा बहुमत की एनडीए सरकार के मुखिया रहेंगे। तब इतिहास चुनाव परिणाम तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि आगामी पांच साल मोदी के मन के सभी कामों को पूरा होते देखेगा। तब वन नेशन वन इलेक्शन, तब आधार आधारित संपत्ति का ब्यौरा, तब समान नागरिक संहिता, तब जम्मू-कश्मीर को राज्य का दर्जा मिलना, तब पीओके और अक्साई चिन पर भारत का कब्जा, तब और भी बहुत कुछ होने की संभावनाओं पर नजरें रहेंगी। इसके अलावा नरेंद्र मोदी ने जिसकी कल्पना मोदी ने 45 घंटे के ध्यान में की होगी। इसीलिए 2024 लोकसभा चुनाव का परिणाम इतिहास बनाने वाला है, क्योंकि इसमें यह तस्वीर साफ हो जाएगी कि देश मोदी के संग चलना चाहता है या देश मोदी से किनारा कर रहा है। चुनाव का परिणाम इतिहास बनाने वाला है क्योंकि यह तस्वीर साफ होगी कि देश मोदी के दस साल के कामों पर अपनी मुहर लगा रहा है अथवा नकार रहा है। चुनाव का परिणाम इतिहास बनाने वाला है, क्योंकि यह दृश्य साफ होगा कि धर्म और राष्ट्रभक्ति देश के मतदाताओं को रास आ रही है या निराश कर रही है। कुछ भी हो, पर 4 जून 2024 के परिणाम इसलिए भी इतिहास बनाएंगे क्योंकि यह देश की दिशा और दशा तय करके रहेंगे। इसलिए भी इतिहास बनाने वाले हैं क्योंकि यह नीति व नियति के साथ होंगे या फिर इससे जुदा होंगे। इसलिए भी इतिहास बनाने वाले हैं क्योंकि राम मंदिर का निर्माण मंजूर कर मतदाता कृष्ण के मुस्कराने को मंजूरी देता है या फिर मंजूरी के खिलाफ है।
बात बस इतनी सी है कि 4 जून 2024 के लोकसभा चुनाव के परिणाम इतिहास बनाने वाले हैं। यह बताने वाले हैं कि भारतीय मतदाता की सोच मोदी से मेल खा रही है अथवा नहीं। यह बताने वाले हैं कि मतदाताओं के मन में राहुल गांधी के लिए जगह है या नहीं। तीसरी बार मोदी को प्रधानमंत्री बनाकर भी यह चुनाव इतिहास बनाएंगे और इससे इतर भी इतिहास बनना तय है…।
ऐतिहासिक जन्मदिन प्रभात का
मध्यप्रदेश में एक राजनेता के जन्मदिन को 2024 लोकसभा चुनाव के परिणाम की तारीख ने ऐतिहासिक बना दिया है। वह राजनेता हैं प्रभात झा। वह मध्यप्रदेश के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष हैं और पूर्व राज्यसभा सांसद भी रहे हैं। विशेष दिन होने की वजह से प्रभात झा ने इसे मनाने का फैसला किया है। वह इसे ऐतिहासिक जन्मदिन मान रहे हैं, जब एग्जिट पोल के मुताबिक परिणाम आएंगे और इतिहास बनाएंगे। सामान्य तौर पर वह जन्मदिन मनाने के पक्षधर नहीं रहे हैं। उनका मानना है कि अटल और नरेन्द्र मोदी में कई समानताएं हैं। बस मोदी की लकीर अब अटल जी से भी लंबी हो गई है। और मोदी के बराबर फिलहाल कोई नहीं है।