Withering Crops : बारिश की खेंच, तेज धूप और बिजली कटौती से मुरझाने लगी फसलें!     

बिजली कटौती से किसान परेशान, चाहे जब कटौती कर दी जाती!

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Withering Crops : बारिश की खेंच, तेज धूप और बिजली कटौती से मुरझाने लगी फसलें!

मनावर से स्वप्निल शर्मा की रिपोर्ट

Manawar (Dhar) : पंद्रह दिनों से क्षेत्र में वर्षा न होने से और तेज धूप के कारण किसानों के खेतों की फसलें मुरझाने लगी है। जिन किसानों के पास सिंचाई करने के साधन उपलब्ध है, उन्हें बिजली कटौती के कारण परेशान होना पड़ रहा है। भरड़पुर के प्रगतिशील किसान रविंद्र पाटीदार ने बताया कि पहले किसानों को विद्युत विभाग ने बारह घंटे बिजली देने कि घोषणा की थी, लेकिन बीच में चाहे जब कटौती कर दी जाती थी। बताया गया कि अब तो मात्र सात घंटे ही बिजली प्रदान की जा रही है। उसमें भी बिजली कब आएगी और कब जाएगी, इसका कोई भरोसा नहीं है।

तेज धूप से फसलें भी मुरझाने लगी है। ग्राम वायल के किसान संदीप पटेल ने बताया कि बारिश को एक महीना होने को है, हमारी सोयाबीन, मक्का, कपास आदि फसलें बिना पानी के और गर्मी के कारण पीली पड़ चुकी है। फसल आने की उम्मीदों पर ही पानी फिर गया है। पटेल ने बताया कि हमने और कई किसानों ने कर्जा कर महंगे दामों पर बीजों की खरीदी की थी।

अब हमारे सिर पर दोबारा बोवनी करने का खतरा मंडरा रहा है। कुएं-तालाबों में जहां पानी है, तो वहां के किसान बिजली कटौती का दंश झेल रहे हैं। किसानों के लिए दोनों तरफ मरण है। सरकार को चाहिए कि जिन खेतों में किसानों की फसल नष्ट हो चुकी है, उनके सर्वे करा कर उन्हें शीघ्र फसल बीमे की राशि का वितरण किया जाना चाहिए।

ग्राम गुलाटी के किसान पन्नालाल गेहलोद ने बताया कि उन्होंने और अन्य कई किसानों ने रविवार को अपने अपने खेतों में उज्जवणी मनाई। खेतों में ही भोजन बनाकर परिवार और मित्रों के साथ बारिश की आस में पूजा कर भोजन ग्रहण किया।