सतपुड़ा राष्ट्रीय उद्यान और सतपुड़ा टाइगर रिजर्व 524 वर्ग किलोमीटर में फैला है, बोरी वन्यजीव अभयारण्य और पचमढ़ी वन्य जीवन अभयारण्य निकट हैंसतपुड़ा राष्ट्रीय उद्यान भारत के मध्य प्रदेश राज्य के अंतर्गत होशंगाबाद ज़िले में स्थित है। अपने आसपास बोरी और पचमढ़ी अभयारण्य के साथ, यह १, ४२७ वर्ग कि॰मी॰ का अद्वितीय मध्य भारतीय पार्वत्य देश पारिस्थितिकी तंत्र प्रदान करता है। यह 1981 में स्थापित किया गया था।
हाल ही में सतपुड़ा टाइगर रिजर्व की मढ़ई रेंज में बाइक से गश्ती कर रहे डिप्टी रेंजर और चौकीदार के सामने अचानक बाघों का एक समूह आ गया। एक साथ तीन बाघों को देख गश्त कर रहे डिप्टीरेंजर और चौकेदार के होश उड़ गए। एक टाइगर डिप्टी रेंजर और चौकीदार के करीब आने लगा तो उनके लिए जान बचाना मुश्किल हो गया .
दोनों ने तत्काल बाइक खड़ी की और जंगल सफारी कर रहे सैलानियों की जिप्सी में जा कर बैठेऔर जान बचाई .इसके साथ ही उधर बाधों के समूह ने बाइक को घेर लिया। बाघिन ने बाइक को सूंघा, उसके चक्कर लगाए। फिर कुछ मिनट बाद बाघिन अपने दो शावकों के साथ दूसरी ओर चली गई। इसके बाद डिप्टी रेंजर बाइक लेकर मढ़ई ऑफिस आए। वहां मौजूद सैलानियों और रेंजर ने अपने मोबाइल में ये पूरा नजारा रिकॉर्ड कर लिया।
सतपुड़ा टाइगर रिजर्व के मढ़ई-चूरना रेंज में पर्यटकों को बाघों केदिखाई दे रहे हैं। तीन दिन पहले मंगलवार शाम 5 बजे भी एक साथ तीन बाघ पर्यटकों को दिखे। पर्यटक जिप्सियों से जंगल सफारी पर थे। जिप्सियों के बीच बाइक से डिप्टी रेंजर एलएस पटेल गश्ती पर निकले थे। पर्यटकों ने बाघों को देखा और पटेल को आवाज लगाकर सतर्क किया। लगभग 25 मीटर की दूरी पर तीन बाघ पटेल की तरफ बढ़ रहे थे। डिप्टी रेंजर तत्काल बाइक खड़ी कर दौड़कर जिप्सी में बैठ गए। इसके बाद एक बाघ जिप्सी की ओर बढ़ा तो चालक ने वाहन को पीछे किया। जंगल की नौकरी कर रहे अधिकारी कर्मचारी कई बार इस रोमांचक भयभीत करती स्थिति से दो चार होते है .