HuT’s Conspiracy Exposed : गुपचुप पनपते HuT की साजिश का पर्दाफाश, पुलिस ने कई को धरदबोचा!

कट‌्टरवादी, अतिवादी और आतंकी संगठनों के 16 सदस्य पकड़े गए!

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HuT’s Conspiracy Exposed : गुपचुप पनपते HuT की साजिश का पर्दाफाश, पुलिस ने कई को धरदबोचा!

Bhopal : मध्यप्रदेश ATS ने कट‌्टरपंथी इस्लामिक संगठन हिज्ब उत् तहरीर (HuT) से जुड़े सदस्यों पर देश की सबसे बड़ी कार्रवाई की। ये ड्रोन कैमरे से लक्ष्य और क्षेत्र की रेकी करके अपनी साजिश को अंजाम देते थे। पुलिस ने मंगलवार सुबह एक साथ कई स्थानों पर छापेमारी की और भोपाल से 10, छिंदवाड़ा से 1 और हैदराबाद से 5 सदस्यों को पकड़ा।
पकड़े गए लोगों में जिम ट्रेनर, कम्प्यूटर टेक्नीशियन, दर्जी, ऑटो ड्राइवर आदि के रूप में लोगों के बीच काम करने वाले लोग हैं। गिरफ्तार सदस्यों में एक सदस्य भोपाल के कोहेफिजा में ‘एडुफोरम ट्यूटोरियल्स’ के नाम से कोचिंग सेंटर चला रहा था।

प्रदेश में कट्‌टरवाद के खिलाफ लगातार मुहिम चलाई जा रही है। इसके तहत मध्यप्रदेश ATS ने कट्‌टरपंथी इस्लामिक संगठन हिज्ब उत् तहरीर/ तहरीक- ए– खिलाफत से जुड़े सदस्यों पर मंगलवार सुबह देश की अब तक की सबसे बड़ी कार्रवाई की। भोपाल के शाहजहांनाबाद, ऐशबाग, लालघाटी और पिपलानी क्षेत्र में कार्रवाई करते हुए 10 और छिंदवाड़ा से एक सदस्य को गिरफ्तार किया। साथ ही तेलंगाना की राजधानी हैदराबाद से पांच सदस्यों को अभिरक्षा में लिया गया है। गिरफ्तार किए गए कट्‌टरपंथी संगठन से जुड़े सदस्यों से देश विरोधी दस्तावेज, तकनीकी उपकरण, कट्‌टरवादी साहित्य और अन्य सामग्री जब्त की गई है। पुलिस ने आरोपियों पर यूएपीए (Unlawful Activities (Prevention) Act, 1967 ) एवं अन्य धाराओं में प्रकरण पंजीबद्ध किया है।

हिज्ब उत‌् तहरीर संगठन
हिज्ब उत् तहरीर/ तहरीक-ए-खिलाफत संगठन का नेटवर्क 50 से अधिक देशों में फैला है। इस संगठन पर 16 देशों में प्रतिबंध लग चुका है। यह संगठन भारत में लोकतांत्रिक शासन प्रणाली के स्थान पर इस्लामिक शरिया कानून लाना चाहता है। इसके लिए संगठन ने मध्यप्रदेश में भी गुपचुप तरीके से अपना कैडर तैयार करना प्रारंभ कर दिया था। संगठन से जुड़े सदस्यों का मकसद नवयुवकों को भारत की वर्तमान शासन प्रणाली इस्लाम विरोधी बताकर संगठन से जोड़ना था। संगठन के सदस्य लोगों को भड़काकर और हिंसक कार्रवाई कर खिलाफत कायम करना चाहते थे।

मंगलवार की कार्रवाई
एटीएस ने हिज्ब उत् तहरीर संगठन पर की गई कार्रवाई के दौरान भोपाल से 10 और छिंदवाड़ा से 1 सदस्य को गिरफ्तार किया गया। पुलिस की सूचना पर तेलंगाना पुलिस ने भी हैदराबाद से 5 सदस्यों को पकड़ा। भोपाल से गिरफ्तार किए गए संगठन के सदस्यों में यासिर खान 29 वर्ष निवासी शाहजनाबाद भोपाल (जिम ट्रेनर), सैयद सामी रिजवी 32 वर्ष निवासी मेलेनियम हेबिटेट शहीद नगर, भोपाल (कोचिंग टीचर), शाहरूख निवासी जवाहर कॉलोनी ऐशबाग भोपाल (दर्जी), मिस्बाह उल हक 29 वर्ष निवासी हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी, ऐशबाग, भोपाल (मजदूरी), शाहिद निवासी जवाहर कॉलोनी, ऐशबाग, भोपाल (ऑटो ड्राइवर), सैयद दानिश अली निवासी सोनिया गांधी कॉलोनी, ऐशबाग, भोपाल (सॉफ्टवेयर इंजीनियर), मेहराज अली 25 वर्ष निवासी मसूद भाई का मकान, ऐशबाग, भोपाल (कम्प्यूटर टेक्नीशियन), खालिद हुसैन 40 वर्ष निवासी बारेला गांव लालघाटी भोपाल, (टीचर और व्यवसायी), वसीम खान निवासी उमराव दूल्हा, ऐशबाग, भोपाल, मोहम्मद आलम 35 वर्ष निवासी नूरमहल रोड, चौकी इमामबाड़ा, भोपाल और करीम निवासी छिंदवाड़ा (प्रायवेट नौकरी) हैं। ये लोग आम लोगों के बीच काम करते हुए संदिग्ध गतिविधियों को अंजाम दे रहे थे। गिरफ्तार किए गए कट्‌टरपंथी संगठन से जुड़े सदस्यों से देशविरोधी दस्तावेज, तकनीकी उपकरण, कट‌्टरवादी साहित्य और अन्य सामग्री जब्त की गई है।

प्रदेश में कट्‌टरवादी, अतिवादी और आतंकी संगठनों पर लगातार कार्रवाई जारी है। इसके पूर्व जमात-ए-मुजाहिद्दीन-बांग्लादेश (JMB) और PFI जैसे संगठनों पर भी पुलिस कार्रवाई की जा चुकी है। मार्च 2022 में एटीएस द्वारा जमात-ए-मुजाहिद्दीन बांग्लादेश मॉड्यूल का भंडाफोड़ किया गया था। इस दौरान तीन बांग्लादेशी आतंकवादियों को गिरफ्तार किया गया था। एमपी एटीएस की कार्रवाई के आधार पर देश के अन्य राज्यों में भी कार्रवाई की गई थी। सितंबर 2022 में मप्र पुलिस ने प्रतिबंधित संगठन पीएफआई (PFI)  के 22 सदस्यों को गिरफ्तार करने में सफलता प्राप्त की थी। यह कार्रवाई लगातार जारी है।

प्रशिक्षण, भर्ती और तैयारी 
इस संगठन के सभी गिरफ्तार सदस्य गोपनीय रूप से जंगलों में जाकर क्लोज कॉम्बैट ट्रेनिंग कैंप आयोजित कर निशानेबाजी की प्रैक्टिस करते थे। इस प्रशिक्षण कैंप में हैदराबाद से आए संगठन के दक्ष प्रशिक्षक द्वारा कैंप में शामिल सदस्यों को ट्रेनिंग दी जाती थी । गोपनीय रूप से दर्श (धार्मिक सभा) आयोजित कर भड़काऊ तकरीरें दी जाकर जेहादी साहित्य का वितरण किया जाता था। आरोपियों द्वारा ऐसे नवयुवकों की पहचान की जा रही थी, जो उग्र स्वभाव के हों और उन्हें संगठन के लिए अपनी जान देने में कोई हिचक ना हो । सभी आरोपी आपस में बातचीत करने के लिए डार्क वेब में प्रचलित विभिन्न कम्युनिकेशन ऐप जैसे रॉकेट चैट, थ्रीमा एवं अन्य ऐप का उपयोग करते थे, जिनका उपयोग अधिकतर आतंकी संगठन जैसे ‘आईएसआईएस’ द्वारा भी किया जाता है।

यह थी इनकी योजना 
संगठन की योजना ज्यादा से ज्यादा नवयुवकों को अपने संगठन से जोड़ने और उन्हें हिंदुओं के विरुद्ध जेहाद के लिए तैयार करना है। सदस्यों को संगठन के लिए चंदा एवं संसाधन एकत्रित करने के लिए कहा जाता था। इनकी बड़े शहरों एवं भीड़ भाड़ वाले क्षेत्रों में बड़ी घटना को अंजाम देकर लोगों में भय पैदा करने की मंशा थी। इसके लिए संगठन के सदस्यों द्वारा भारत के बड़े शहरों को चिन्हित किया गया था। वे विभिन्न स्थानों पर ड्रोन से टारगेट और क्षेत्र की रेकी करते थे। रेकी के पश्चात क्षेत्र का नक्शा तैयार कर घटना घटित करने की योजना तैयार कर रहे थे।