
भोपाल के 2.64 लाख वाहनों का रिकार्ड पोर्टल में नहीं अपडेट, दोबारा नंबर प्लेट लगवाने से लगेगा 20 करोड़ तक का फटका
भोपाल: भोपाल जिले में परिवहन विभाग की लापरवाही एक बार फिर सुर्खियों में है। जिले के करीब 2.64 लाख वाहनों का रिकॉर्ड ‘वाहन पोर्टल’ में अपडेट नहीं हुआ है, जिसके चलते वाहन मालिकों को भारी आर्थिक नुकसान झेलना पड़ रहा है। जानकारी के अनुसार, जिन वाहन चालकों ने एक दशक पहले उत्सव लिंक लिमिटेड कंपनी से अपने वाहनों में हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट (एचएसआरपी) लगवाई थी, उनके नंबर पोर्टल पर अपडेट नहीं हैं। इस वजह से इन वाहनों का रजिस्ट्रेशन रिन्यूअल और फिटनेस सर्टिफिकेट सहित अन्य कामों के लिए परेशान होना पड़ रहा है। मजबूरन में उन्हें दोबारा पैसे खर्च करके एचएसआरपी लगवाकर अपने नंबर को अपलोड करवा पड़ रहा है।
सूत्रों के अनुसार, कुछ साल पहले स्मार्ट चिप कंपनी ने एनआईसी (नेशनल इंफॉर्मेटिक्स सेंटर) को वाहनों का डेटा तो उपलब्ध कराया, लेकिन उसमें हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट से जुड़ी जानकारी नहीं दी गई। इसके कारण परिवहन विभाग का डिजिटल रिकॉर्ड अधूरा रह गया। परिणामस्वरूप, जिन वाहन मालिकों ने पहले ही नंबर प्लेट लगवा ली थी, उन्हें अब दोबारा नई प्लेट बनवाने के लिए 500 से 1000 रुपए तक खर्च करने पड़ रहे हैं।
*ऐसे लग रहा आम वाहन मालिक को चूना*
अनुमान है कि जिले के इन 2.64 लाख वाहन मालिकों को नंबर प्लेट दोबारा लगवाने में कुल मिलाकर 13 से 20 करोड़ रुपए तक का अतिरिक्त खर्च उठाना पड़ सकता है। विशेषज्ञों का कहना है कि यदि एनआईसी और परिवहन विभाग समय पर डेटा एकीकृत कर लेते, तो लोगों को यह नुकसान नहीं झेलना पड़ता।
*परिवहन विभाग की गलती भुगत रहे हैं वाहन मालिक*
वाहन मालिकों का कहना है कि विभाग की गलती का खामियाजा उन्हें भुगतना पड़ रहा है। कई लोग बीते महीनों से रजिस्ट्रेशन रिन्यूअल और फिटनेस सर्टिफिकेट के लिए दफ्तरों के चक्कर काट रहे हैं। ‘पोर्टल पर रिकॉर्ड नहीं है’ कहकर अधिकारियों द्वारा आवेदन वापस कर दिए जा रहे हैं। वहीं, आनलाइन प्रक्रिया पूरी न होने से हजारों वाहन चालक परेशान हो रहे हैं।
*धीमी गति से हो रहा है काम, लगेगा अभी और समय*
इस मामले में परिवहन विभाग के अधिकारियों का दावा है कि रिकॉर्ड अपडेट करने का काम जारी है, लेकिन इसमें तकनीकी दिक्कतें आ रही हैं। विभाग के पास पुराने डेटा का बैकअप उपलब्ध नहीं होने के कारण काम धीमी गति से चल रहा है। हालांकि, वाहन मालिकों का आरोप है कि इस मुद्दे पर कोई ठोस पहल नहीं की जा रही है और आम जनता को अनदेखा किया जा रहा है।
*परिवहन विभाग खुद करे अपना रिकार्ड अपडेट*
अब वाहन मालिकों की मांग है कि विभाग स्वयं रिकॉर्ड अपडेट करे और उन वाहन चालकों से अतिरिक्त शुल्क न वसूले जिन्होंने पहले ही नियमों के अनुसार नंबर प्लेट लगवा ली थी। यदि जल्द समाधान नहीं हुआ, तो यह मामला बड़े पैमाने पर विरोध और कानूनी कार्रवाई का रूप ले सकता है। फिलहाल भोपाल जिले में यह समस्या हजारों वाहन चालकों के लिए बड़ी सिरदर्द बन गई है।




