ALIRAJPUR धर्मांतरण का आरोप: ग्रामीणों में आक्रोश- पुलिस ने की त्वरित कार्यवाही 

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ALIRAJPUR धर्मांतरण का आरोप: ग्रामीणों में आक्रोश- पुलिस ने की त्वरित कार्यवाही 

 

ALIRAJPUR: मध्य प्रदेश के पश्चिमी सीमांत जनजातीय बहुल अलीराजपुर जिले में आदिवासी महिलाओं के धर्मांतरण का गंभीर मामला सामने आया है। नानपुर पुलिस थाना क्षेत्र ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि कुछ व्यक्तियों ने महिलाओं को लालच और धमकियों के जरिए धर्म बदलने का प्रयास किया। घटना की जानकारी मिलने के बाद आदिवासी समाज में गहरा आक्रोश फैल गया और सैकड़ों ग्रामीण नानपुर थाने पहुंचकर विरोध प्रदर्शन करने को मजबूर हुए।

▪️ इलाज और आर्थिक प्रलोभन

सूचना के अनुसार, यह मामला शनिवार को उजागर हुआ। ग्रामीणों का आरोप है कि लगभग 50 महिलाओं को ईसाई धर्म में परिवर्तित करने का प्रयास किया जा रहा था, और उन्हें आर्थिक रूप से भी बहकाया जा रहा था। प्रभावित लोगों ने बताया कि बीमारी ठीक करने या अन्य लाभ देने के बहाने से उन्हें धर्म परिवर्तन के लिए प्रेरित किया गया।

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▪️थाने में लिखित शिकायत

ग्राम राजावाट निवासी जानु पत्नी बहादुर अवास्या ने अपनी लिखित शिकायत में आरोप लगाया कि आरोपी परमबाई पति तेरसिंह अवास्या ने उन्हें अपने घर बुलाया और ईसा मसीह की प्रार्थना करने के लिए दबाव डाला। जब जानु ने धर्म परिवर्तन से इनकार किया, तो उन्हें धमकी दी गई कि यदि प्रार्थना नहीं की तो उनकी जान को खतरा होगा। फरियादिया ने यह भी कहा कि पास्टर तेरसिंह और उनकी पत्नी पहले भी उन्हें धर्म बदलने के लिए प्रभावित करते रहे हैं।

▪️पुलिस कार्रवाई

आलीराजपुर पुलिस अधीक्षक रघुवंश कुमार सिंह के निर्देशन में नानपुर पुलिस ने मामले में तुरंत कार्रवाई की। फरियादिया की शिकायत पर आरोपी तेरसिंह और परमबाई के खिलाफ जबरन धर्म परिवर्तन के प्रयास में अपराध दर्ज किया गया। पुलिस ने भारतीय दंड संहिता की धारा 196, 299, 351(3) और मध्यप्रदेश धार्मिक स्वतंत्रता अधिनियम, 2021 की धारा 5 के तहत FIR दर्ज कर विवेचना प्रारंभ कर दी है। पुलिस पूरे प्रकरण की निष्पक्ष जांच कर दोषियों को कानून के अनुसार दंडित करने की बात कह रही है।

▪️ग्रामीण प्रतिक्रिया

स्थानीय आदिवासी समाज ने स्पष्ट किया है कि वे किसी भी अवैध धर्मांतरण प्रयास को बर्दाश्त नहीं करेंगे। उन्होंने प्रशासन और पुलिस से मांग की है कि मामले में ठोस कार्रवाई की जाए और भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए कड़ी निगरानी रखी जाए।