Film Reviews: मिली में चूक गए हैं रहमान और जावेद अख्तर ! 

केवल जाह्नवी कपूर के भरोसे है यह फिल्म !

Film Reviews: मिली में चूक गए हैं रहमान और जावेद अख्तर ! 
Film Reviews 

मिली में चूक गए हैं रहमान और जावेद अख्तर ! 

‘मिली’ एक सर्वाइवल थ्रिलर फिल्म है। जान बचाने का संघर्ष ! फिल्म देखकर लगा कि इसमें एआर रहमान संगीत जगत में अपने सर्वाइवल के लिए काम कर रहे हैं और जावेद अख्तर जबरन गाने लिख लिख कर हाजिरी दिखा रहे हैं। इस फिल्म के ट्रेलर में ही दिखा दिया गया कि हीरोइन किसी फ्रीजर रूम  जैसी जगह में कैद हो गई है और अपनी जिंदगी बचाने के लिए संघर्ष कर रही है।  यही कहानी है फिल्म की।  अगर आप यह फिल्म नहीं देखेंगे तो भी कोई फर्क नहीं पड़ेगा।
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यह फिल्म कोई आपके मनोरंजन के लिए नहीं बनाई गई है।  बोनी कपूर ने इसे  प्रोड्यूस किया है अपनी बेटी जाह्नवी  कपूर की प्रतिभा को दिखाने के लिए। इसीलिए फिल्म में सनी कौशल, संजय सूरी, अनुराग अरोड़ा , हसलीन कौर, विक्रम कुमार और मनोज पाहवा जैसे कलाकारों को लिया गया जो जाह्नवी से कम मशहूर हैं। जाह्नवी की प्रतिभा को देखिए और घर आ जाइये।
तीन साल पहले बनी मलयालम फिल्म हेलेन का हिन्दी रूपांतरण है मिली।  बोनी कपूर ने उसी डायरेक्टर माथुकुट्टी जेवियर से ही इसका डायरेक्शन भी करवाया है।मलयालम जानने वालों का कहना है कि हिंदी की फिल्म मलयालम की हीरोइन से बेहतर है। बेजान गीत-संगीत वाली इस फिल्म का मुख्य आकर्षण है इस फिल्म के मेकअप मेन द्वारा किया गया जाह्नवी कपूर का मेकअप।  माइनस 17 डिग्री वाले फ्रीजर रूम में बंद होने के बाद किसी इंसान का शरीर किस तरह धीरे-धीरे करके नीला पड़ने लगता है यह बहुत ही बारीकी से प्रदर्शित किया गया है। जाह्नवी को देखकर दर्शक ठंडा पड़ने लगता है।
सिनेमा घर में जाकर टिकट खरीद कर यह फिल्म देखना पैसे की बर्बादी है। मैंने किये हैं।  आप मत करना। जाना मत।
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डॉ. प्रकाश हिन्दुस्तानी

डॉ. प्रकाश हिन्दुस्तानी जाने-माने पत्रकार और ब्लॉगर हैं। वे हिन्दी में सोशल मीडिया के पहले और महत्वपूर्ण विश्लेषक हैं। जब लोग सोशल मीडिया से परिचित भी नहीं थे, तब से वे इस क्षेत्र में कार्य कर रहे हैं। पत्रकार के रूप में वे 30 से अधिक वर्ष तक नईदुनिया, धर्मयुग, नवभारत टाइम्स, दैनिक भास्कर आदि पत्र-पत्रिकाओं में कार्य कर चुके हैं। इसके अलावा वे हिन्दी के पहले वेब पोर्टल के संस्थापक संपादक भी हैं। टीवी चैनल पर भी उन्हें कार्य का अनुभव हैं। कह सकते है कि वे एक ऐसे पत्रकार है, जिन्हें प्रिंट, टेलीविजन और वेब मीडिया में कार्य करने का अनुभव हैं। हिन्दी को इंटरनेट पर स्थापित करने में उनकी प्रमुख भूमिका रही हैं। वे जाने-माने ब्लॉगर भी हैं और एबीपी न्यूज चैनल द्वारा उन्हें देश के टॉप-10 ब्लॉगर्स में शामिल कर सम्मानित किया जा चुका हैं। इसके अलावा वे एक ब्लॉगर के रूप में देश के अलावा भूटान और श्रीलंका में भी सम्मानित हो चुके हैं। अमेरिका के रटगर्स विश्वविद्यालय में उन्होंने हिन्दी इंटरनेट पत्रकारिता पर अपना शोध पत्र भी पढ़ा था। हिन्दी इंटरनेट पत्रकारिता पर पीएच-डी करने वाले वे पहले शोधार्थी हैं। अपनी निजी वेबसाइट्स शुरू करने वाले भी वे भारत के पहले पत्रकार हैं, जिनकी वेबसाइट 1999 में शुरू हो चुकी थी। पहले यह वेबसाइट अंग्रेजी में थी और अब हिन्दी में है।

डॉ. प्रकाश हिन्दुस्तानी ने नरेन्द्र मोदी के प्रधानमंत्री बनने पर एक किताब भी लिखी, जो केवल चार दिन में लिखी गई और दो दिन में मुद्रित हुई। इस किताब का विमोचन श्री नरेन्द्र मोदी के प्रधानमंत्री बनने के एक दिन पहले 25 मई 2014 को इंदौर प्रेस क्लब में हुआ था। इसके अलावा उन्होंने सोशल मीडिया पर ही डॉ. अमित नागपाल के साथ मिलकर अंग्रेजी में एक किताब पर्सनल ब्रांडिंग, स्टोरी टेलिंग एंड बियांड भी लिखी है, जो केवल छह माह में ही अमेजॉन द्वारा बेस्ट सेलर घोषित की जा चुकी है। अब इस किताब का दूसरा संस्करण भी आ चुका है।