विश्व शांति के लिए उज्जैन में अगले महीने होगा 3 दिवसीय वैश्विक यूनाइटेड कॉन्शियसनेस कॉन्क्लेव,22 देशों के विशेषज्ञ होंगे शामिल

विचारक अपने देश का जल और माटी भी ला रहे साथ जिससे महाकाल का किया जाएगा अभिषेक 

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विश्व शांति के लिए उज्जैन में अगले महीने होगा 3 दिवसीय वैश्विक यूनाइटेड कॉन्शियसनेस कॉन्क्लेव,22 देशों के विशेषज्ञ होंगे शामिल

भोपाल। पवित्र शहर और महाकाल की नगरी उज्जैन में 14 से 16 फरवरी 2025 तक तीन दिवसीय वैश्विक यूनाइटेड कॉन्शियसनेस कॉन्क्लेव 2025 का आयोजन किया जाएगा। इस ऐतिहासिक आयोजन में एक चेतना, एक अस्तित्व विषय अंतर्गत 22 से अधिक देशों के विचारक, विद्वान, आध्यात्मिक नेता और जीवन प्रशिक्षक एकजुट होंगे। इस आयोजन का लक्ष्य है कि देश और दुनिया में शांति की संस्कृति स्थापित हो। जिसमें एकता की भावना, कल्याण, सेवा, आध्यात्मिकता और योग, पारिस्थिति, शिक्षा और लोकतंत्र, समावेश और भागीदारी तथा स्थायी अर्थव्यवस्था जैसे विषय शामिल है।

मुख्यमंत्री के संस्कृति सलाहकार श्रीराम तिवारी और वैश्विक संयोजक, यूनाइटेड कॉन्शियसनेस डॉ. विक्रांत सिंह तोमर ने बताया कि यह युद्ध का युग नहीं है। हमें एक पृथ्वी, एक परिवार, एक भविष्य की बात को आत्मसात करना चाहिए। उज्जैन में होंने वाले इस वैश्विक आयोजन के माध्यम से जी 20 मिशन का पालन करते हुए एक चेतना, एक अस्तित्व को बढ़ावा दिया जाएगा। इस आयोजन में कल्पनाशील व्यक्तित्व, प्रतिष्ठित विद्वान, लेखक, आध्यात्मिक गुरु, जीवन कोच, संगीतकार दुनिया के सभी पंच महाद्वीपों से हिस्सा लेंगे। इस आयोजन में 22 देशों से आ रहे विचारक अपने देश का जल और माटी भी साथ ला रहे है। इस जल से महाकाल का अभिषेक किया जाएगा। मिट्टी से पृथ्वी का निर्माण का प्रधानमंत्री को भेंट की जाएगी। एक-एक इंच की लकड़ी भी सभी ला रहे है इन्हें अग्नि में प्रवाहित किया जाएगा।

यह कार्यक्रम आध्यात्मिक कल्याण और व्यक्तिगत विकास करेगा बल्कि वैश्विक स्तर पर एकता, समझ और करुणा को बढ़ावा देगा। यूनाइटेड कॉन्शियसनेस, योगा विद्या-जर्मनी, यूरोपियन योगा फेडरेशन एवं अक्षरा किड्स अकादमी-उज्जैन द्वारा यह आयोजन किया जा रहा है। इसमें महाराजा विक्रमादित्य शोधपीठ, संस्कृति विभाग, मध्यप्रदेश शासन, कालीदास संस्कृत अकादमी एवं विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन भी सहयोग कर रहे है।

उन्होंने बताया कि इस आयोजन के दौरान महाराजा विक्रमादित्य शोधपीठ द्वारा 14 फरवरी को पद्मश्री कैलाश खेर द्वारा विशेष संगीत संध्या एकात्म चेतना अनहद नाद का आयोजन किया जायेगा। यह आयोजन शाम 7 बजे कालिदास संस्कृत अकादमी, उज्जैन में किया जाएगा।

आयोजन का मुख्य उद्देश्य विभिन्न पृष्ठभूमियों से आए व्यक्तियों के लिए एक सामुहिक उत्थान, सामाजिक प्रगति, व्यावसायिक विकास, मानसिक शांति, शारीरिक ऊर्जा, व्यक्तिगत परिवर्तन और सच्चे जीवन के रूप में आध्यात्मिकता की खोज, सभी को अपनाने और आत्मसात करने के लिए एक वैश्विक मंच प्रदान करना है। आयोजन का उद्देश्य आध्यात्मिक मूल्यों को जीवन के विभिन्न पहलुओं में मिलाने और व्यक्तियों को मानवता और ग्रह के उत्थान के लिए योगदान देने के लिए प्रेरित करना है।

इस आयोजन के दौरान एकता की भावना, कल्याण, सेवा की भावना, आध्यात्मिक और योग के माध्यम, परिस्थितिकी, शिक्षा और लोकतंत्र, समावेश और भागीदारी तथा स्थाई अर्थव्यवस्था के माध्यम से शांति की संस्कृति की स्थापना की जाएगी।