खंडवा-बुरहानपुर की रिपोर्ट पहुंची AICC

लोकसभा उपचुनाव के बाद कमलनाथ ने हटा दिए थे अरुण यादव समर्थक जिला अध्यक्ष

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भोपाल.खंडवा लोकसभा उपचुनाव की हार के बाद से ही प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ और प्रदेश कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष अरुण यादव के बीच ठीक-ठाक नहीं चल रहा है। इसके चलते एआईसीसी ने इस लोकसभा क्षेत्र के खंडवा और बुरहानपुर जिले के संगठन और गुटबाजी को लेकर रिपोर्ट तलब की थी। जो अब एआईसीसी के पास पहुंच गई है। इस रिपोर्ट के बाद अब दोनों जिलों में कई और कांग्रेस के नेताओं पर संगठन की गाज गिर सकती है।

कमलनाथ और अरुण यादव के बीच चल रही खींचतान की जानकारी दिल्ली तक पहुंचने के बाद हाल ही में यहां पर प्रदेश के सह प्रभारी एवं एआईसीसी के सचिव सीपी मित्तल दो दिन इन दो जिलों में रहे। वे 8 जनवरी को बुरहानपुर पहुंचे। पहले उन्होंने शहर जिला कांग्रेस के वरिष्ठ कांग्रेस नेताओं और उसके बाद पार्टी कार्यकर्ताओं से वन-टू-वन चर्चा की। इसके बाद उन्होंने बुरहानपुर ग्रामीण जिला कांग्रेस के पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं से वन-टू-वन चर्चा की। इसके बाद उन्होंने अगले दिन 9 जनवरी को खंडवा शहर और इसके बाद खंडवा ग्रामीण के कांग्रेस नेताओं और कार्यकर्ताओं की बैठक की।

सूत्रों की मानी जाए तो उन्होंने इन चारों संगठनात्मक जिलों की बैठकें के बाद एक रिपोर्ट बनाई है, जो उन्होंने एआईसीसी को दी है। इस रिपोर्ट में इन दोनों जिलों की उपचुनाव से लेकर अब तक की स्थिति की रिपोर्ट है। अब इन दोनों जिलों में चल रही राजनीतिक उठापटक पर एआईसीसी संज्ञान ले सकता है।

इनको हटाया था-
खंडवा लोकसभा के चुनाव में कांग्रेस को मिली हार के बाद प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने खंडवा शहर के जिला अध्यक्ष इंदल सिंह ठाकुर, खंडवा ग्रामीण के अध्यक्ष ओंकार पटेल के साथ ही बुरहानपुर शहर के अध्यक्ष अजय रघुवंशी और बुरहानपुर ग्रामीण के अध्यक्ष किशोर महाजन को हटा दिया था। ये सभी अरुण यादव समर्थक माने जाते हैं।