
IAS Beela Venkatesan Passes Away: चर्चित IAS अधिकारी बीला वेंकटेशन का निधन!
भारतीय प्रशासनिक सेवा (IAS) की सीनियर अधिकारी बीला वेंकटेशन का बुधवार (24 सितंबर) को ब्रेन ट्यूमर से लंबे समय तक जूझने के बाद निधन हो गया। उन्होंने 56 वर्ष की उम्र में चेन्नई स्थित अपने घर पर आखिरी सांस लीं.
चेन्नै: तमिलनाडु में स्तब्ध कर देने वाली घटना सामने आई है। राज्य कैडर की तेजतर्रार आईएएस डॉ. बीला वेंकटेशन ने कोविड काल में महामारी से लड़ाई की अगुवाई थी। उन्होंने बतौर आईएएस और डॉक्टर होकर हजारों लोगों की जिंदगी बचाई थी, लेकिन खुद उन्होंने 56 साल की उम्र दुनिया छोड़ दी। 1997 बैच की आईएएस अधिकारी के एकाएक निधन से हर कोई स्तब्ध है। ये बीला वेंकटेशन ही थीं, जिन्होंने कोविड काल में तब्लीगी जमात को टारगेट करने का विरोध किया था।

पेशे से डॉक्टर बीला 1997 बैच की IAS अधिकारी थीं। उनके पिता वेंकटेशन एक रिटायर आईपीएस अधिकारी थे। जबकि उनकी मां रानी वेंकटेशन तूतीकोरिन जिले की सथंकुलम विधानसभा सीट से पूर्व विधायक थीं। उन्होंने अपने पति राजेश दास से तलाक ले लिया था। बाद में अपना नाम बदलकर बीला वेंकटेशन कर लिया।
फिलहाल, वह ऊर्जा विभाग में सचिव के रूप में कार्यरत थीं। बीला वेंकटेशन 2020 में कोविड-19 महामारी के दौरान तमिलनाडु में एक जाना-पहचाना नाम बन गई थीं। उन्होंने जब स्वास्थ्य सचिव का पद संभाला तभी चर्चा में आ गईं। बाद में वह अपनी डेली प्रेस कॉन्फ्रेंस के माध्यम से जनता के बीच एक जाना-पहचाना चेहरा बन गईं। COVID-19 के दौरान उनके काम की हर तरफ तारीफ हुई थी।
रिपोर्ट के मुताबिक, उनकी दो बेटियां हैं। बीला की मां रानी वेंकटेशन नागरकोइल की मूल निवासी हैं। वह एक वरिष्ठ कांग्रेस नेता और पूर्व विधायक थीं। उनके पिता एस.एन. वेंकटेशन रिटायर स्पेशल DGP थे। डॉ. बीला वेंकटेशन ने मद्रास मेडिकल कॉलेज (MMC) से MBBS की पढ़ाई पूरी की। पेशे से डॉक्टर उन्होंने 1997 में सिविल सेवा परीक्षा पास की। तमिलनाडु ट्रांसफर होने से पहले वह बिहार और बाद में झारखंड में भी तैनात रहीं।
आईएएस एसोसिएशन ने भी दुख जताया-
बीला वेंकटेशन के निधन पर आईएएस एसोसिएशन ने भी दुख जताया है। एसोसिएशन ने लिखा है कि डॉ. बीला वेंकटेशन के असामयिक निधन से अत्यंत स्तब्ध और दुःखी हैं। एक प्रतिष्ठित अधिकारी जिन्होंने उन्होंने करुणा और प्रतिबद्धता के साथ नेतृत्व किया। तमिलनाडु की स्वास्थ्य सचिव के रूप में खासतौर पर कोविड-19 के दौरान अच्छा काम किया। स्वास्थ्य, ऊर्जा, मत्स्य पालन और आपदा प्रबंधन में उनके योगदान ने एक अमिट विरासत छोड़ी है। उनका निधन सेवा के लिए एक अपूरणीय क्षति है। बीला वेंकटेशन की मौत ब्रेन ट्यूमर के कारण हुई। चेन्नै में गुरुवार को उनकी दोनों बेटियों ने अंतिम विदाई दी। तमिलनाडु के सीएम एम के स्टलिन और राज्यपाल आर एन रवि ने बीला वेंकटेशन के निधन पर शोक व्यक्त किया है
Deeply shocked & saddened by the untimely passing of Dr. Beela Venkatesan, IAS (TN:1997).
A distinguished officer, she led with compassion & commitment — most memorably as Tamilnadu’s Health Secretary during COVID-19. Her contributions across health, energy, fisheries & disaster… pic.twitter.com/kn17iQp3yS
— IAS Association (@IASassociation) September 25, 2025
कोरोना महामारी के दौरान स्वास्थ्य सचिव के रूप में रही। उनके बाद यह जिम्मेदारी जे राधाकृष्णन को दी गई थी। जब 2020 की शुरुआत में महामारी भारत पहुंची थी। तब वेंकटेशन स्वास्थ्य सचिव थीं। तब्लीगी जमात ने तूल पकड़ा था तब उन्हाेंने एक इंटरव्यू में कहा था कि हिंदुत्व समूहों ने इसे एक सांप्रदायिक मुद्दे के रूप में इस्तेमाल किया था। बीला ने कहा था कि मैं दोहराती हूं। किसी महामारी को सांप्रदायिक रंग न दें। कोई भी संक्रमण या बीमारी नहीं चाहता। तब वह रोज प्रेस कॉन्फ्रेंस करती थीं। डॉक्टरों ने कहा कि उनके मेडिकल प्रशिक्षण ने उन्हें नौकरशाही की अव्यवस्था से निपटने में मदद की। निजी जीवन उनहोंने 1992 में एक आईपीएस अधिकारी राजेश दास से शादी की थी। दोनों अलग हो गए।





