Mandsaur News – जिला अस्पताल में उपचार की लापरवाही से बालिका मृत्यु मामले ने तूल पकड़ा, कलेक्टर ने डॉक्टर को दिया नोटिस

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मंदसौर से डॉ. घनश्याम बटवाल की रिपोर्ट

मंदसौर। इंदिरा गांधी जिला चिकित्सालय में सरदर्द की हालत में रविवार दोपहर भर्ती बालिका वंशिका पिता कन्हैयालाल राठौर की कथित उपचार में लापरवाही के चलते शाम को मौत हो गई।

मामले ने तूल पकड़ लिया है। गंभीरता को देखते हुए कलेक्टर गौतमसिंह ने सोमवार शाम ड्यूटी डॉक्टर घनश्याम पाटीदार को तीन दिन में जवाब देने का नोटिस दिया है|

प्राप्त जानकारी के मुताबिक बालिका वंशिका को पिता व परिजन जिला अस्पताल रविवार दोपहर ढाई बजे लाये उसे तीव्र सिरदर्द की शिकायत थी, तब उसके उपचार में उपस्थित नर्स पूजा चौकसे एवं इमरजेंसी में उपलब्ध चिकित्सक द्वारा भर्ती किया गया, बालिका के पिता कन्हैयालाल राठौर के अनुसार अन्य डॉक्टर को बुलाया जाने तक उपचार नहीं मिला, ड्यूटी डॉक्टर को नर्स द्वारा मरीज़ को देखने नहीं दिया गया?

इमरजेंसी में संविदा चिकित्सक डॉ. घनश्याम पाटीदार को काल भेजा गया परन्तु काल अटेंड नहीं करते हुए पूरी तरह उदासीनता और लापरवाही बरती गई । इस बीच बालिका वंशिका की हालत बिगड़ गई और प्रॉपर इलाज के अभाव में शाम को उसकी मृत्यु हो गई।

कांग्रेस पिछड़ा वर्ग प्रकोष्ठ जिला अध्यक्ष दीपकसिंह चौहान ने रविवार को दोपहर को अस्पताल में ड्यूटी डॉक्टर, नर्स, बालिका के पिता से बात की। उपचार में लापरवाही बाबत जिला चिकित्सा अधिकारी, सिविल सर्जन को अवगत कराया। वीडियो रिकॉर्डिंग कर मामले को संज्ञान में लाये परन्तु गंभीरता से ध्यान नहीं दिया गया और अंततः रविवार शाम को मौत हो गई। श्री चौहान के साथ जिला अस्पताल में सोमिल नाहटा, कमलेश सोनी एवं अन्य वरिष्ठ नेता मौजूद रहे और सिविल सर्जन, सी एम एच ओ से बात की।

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मंदसौर विधायक यशपालसिंह सिसोदिया ने कहा कि जिला अस्पताल में उदासीनता और लापरवाही से बालिका की मृत्यु होने की सूचना आहत करने वाली है। अस्पताल प्रबंधन और कलेक्टर ने दोषियों पर कार्यवाही करने की चर्चा हुई है।

सिविल सर्जन डॉ. डी के शर्मा ने बताया कि उन्हें मिली जानकारी के अनुसार बालिका को निजी अस्पताल में इलाज के बाद जिला अस्पताल लाया गया था तब इमरजेंसी वार्ड में चिकित्सक द्वारा देखकर भर्ती किया था। सरदर्द, वॉमिटिंग की शिकायत थी। डॉ. घनश्याम पाटीदार को मरीज़ देखने काल भेजा गया, इसमें लगता है अन्य गंभीर मरीजों को देखने के चलते बालिका को नहीं देख पाए होंगे क्योंकि जिला अस्पताल में चिकित्सक की कमी के चलते एक ही डॉक्टर इमरजेंसी में ड्यूटी कर रहे हैं।

डॉ. शर्मा ने माना कि ड्यूटी नर्स और डॉक्टर के बीच भी कोई समस्या इस मामले में हुई है।

स्थानीय अखबारों, सोशल मीडिया पर जिला अस्पताल में लगातार हो रही लापरवाही, चिकित्सकों की कमी, उपकरणों के संचालन में दक्ष स्टॉफ की कमी, नर्सिंग स्टॉफ द्वारा उपेक्षा आदि की शिकायतें उजागर होती रही, आज की घटना ने फिर सारी पोल खोल कर रख दी।

जिला कलेक्टर गौतमसिंह ने स्थिति की गंभीरता को देखते हुए संविदा चिकित्सक डॉ. घनश्याम पाटीदार को तलब करते हुए स्पष्टीकरण सहित जवाब मांगा है अन्यथा एक पक्षीय कार्यवाही की चेतावनी दी है।

कलेक्टर द्वारा जारी पत्र में स्पष्ट उल्लेख है कि कर्तव्यों का उल्लंघन और उदासीनता के साथ लापरवाही भी सामने आई है। इसके लिए जवाब प्रत्यक्ष में प्रस्तुत करने के निर्देश दिये हैं।

देखिए कलेक्टर द्वारा जारी नोटिस की प्रति-

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