Political Earthquake of Audio Tape:पूर्व CM के पूर्व OSD लोकेश शर्मा ने किया बड़ा खुलासा!
जयपुर: राजस्थान में पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार के शासन में हुए फोन टेप कांड के मामले में आज बड़ा खुलासा होने वाला है। पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के ओएसडी रहे लोकेश शर्मा इस ऑडियो कांड का राज उजागर करने वाले है। जुलाई 2023 में जब गहलोत सरकार संकट में थी। तब गहलोत के ओएसडी रहे लोकेश शर्मा ने तीन ऑडियो वायरल किए थे। इन ऑडियो क्लिप से राजस्थान की राजनीति में भूचाल आ गया था। ऑडियो में कथित तौर पर केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत, पूर्व विश्वेंद्र सिंह और दिवंगत नेता भंवर लाल शर्मा सहित कुछ अन्य नेताओं की आवाज होने का दावा किया गया। आरोप यह लगे कि ये नेता गहलोत सरकार को गिराने की साजिश रच रहे थे।
नेताओं के कथित ऑडियो क्लिप सामने आने पर राजनीति में आरोप प्रत्यारोपों के बम फूटने लगे। ऑडियो क्लिप वायरल होने के बाद गहलोत सरकार खुद सवालों के घेरे में फंस गई थी। सवाल यह उठने लगे कि राजस्थान में फोन टैपिंग किसके कहने पर हुई। अगर विशेष परिस्थितियों में जब फोन टैपिंग की जाती है तो इसके लिए नियम बने हुए हैं। सरकार से अनुमति मिलने के बाद गृह विभाग के आदेश पर फोन टैपिंग की जाती है लेकिन नेताओं के फोन टैपिंग मामले में सबने हाथ पीछे खींच लिए। ना तो सरकार ने यह स्वीकार किया कि उनकी ओर से फोन टैपिंग की अनुमति दी गई। उधर गृह विभाग ने भी अनभिज्ञता जता दी।
लोकेश शर्मा के खिलाफ पुलिस ने दर्ज की थी एफआईआर
जालौर लोकसभा सीट पर अपने बेटे वैभव गहलोत के लिए प्रचार कर रहे गहलोत से टिप्पणी के लिए संपर्क नहीं किया जा सका. शेखावत की शिकायत पर दिल्ली पुलिस ने मार्च 2021 में शर्मा के खिलाफ आपराधिक साजिश, आपराधिक विश्वासघात और गैरकानूनी तरीके से टेलीफोन पर बातचीत को इंटरसेप्ट करने के आरोप में एफआईआर दर्ज की थी.
शर्मा ने एफआईआर रद्द करने के लिए दिल्ली उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया था. जून 2021 में, उच्च न्यायालय ने शर्मा के खिलाफ दंडात्मक कार्रवाई पर अंतरिम रोक लगा दी थी. बुधवार को शर्मा ने दावा किया कि उन्होंने गहलोत के निर्देशों का पालन किया और अपराध शाखा द्वारा पूछताछ के बावजूद क्लिप के स्रोत का खुलासा किया.
लोकेश शर्मा ने किया बड़ा खुलासा
शर्मा ने कहा कि 16 जुलाई, 2020 को, तत्कालीन मुख्यमंत्री होटल फेयरमोंट आए, जहां उनके खेमे के कांग्रेस विधायक राजनीतिक संकट के बाद ठहरे हुए थे. वह शाम 4 बजे के आसपास होटल से चले गए. बाद में, मुझे गहलोत के पीएसओ रामनिवास का फोन आया कि वह हैं मुझे मुख्यमंत्री आवास पर बुला रहे हैं.
उन्होंने कहा कि जब वह पहुंचे तो गहलोत ने उन्हें यह पेन ड्राइव दी जिसमें तीन ऑडियो क्लिप और क्लिप की प्रतिलिपि वाला एक पेपर था. उन्होंने मुझसे उन्हें मीडिया में प्रसारित करने के लिए कहा था.
शर्मा ने कहा कि वह घर गए, ऑडियो क्लिप को मीडिया में प्रसारित करने से पहले अपने लैपटॉप और फिर अपने मोबाइल फोन में स्थानांतरित कर लिया. उन्होंने पत्रकारों को लैपटॉप भी दिखाया.